NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
स्वास्थ्य
भारत
राजनीति
कोविड-19 संकट : यूक्रेन में फंसे 101 भारतीय विद्यार्थी स्वदेश लौटे
स्वदेश लौटे यात्रियों में मध्यप्रदेश के साथ ही छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र, राजस्थान, बिहार, असम और तमिलनाडु के मेडिकल विद्यार्थी हैं जो यूक्रेन के अलग-अलग संस्थानों में पढ़ रहे थे।
भाषा
14 Jul 2020
यूक्रेन में फंसे 101 भारतीय विद्यार्थी स्वदेश लौटे

इंदौर (मध्यप्रदेश): कोविड-19 के प्रकोप के कारण यूक्रेन में लम्बे समय से फंसे 101 भारतीय विद्यार्थियों को लेकर एअर इंडिया का विशेष विमान मंगलवार सुबह यहां देवी अहिल्याबाई होलकर अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे पर उतरा।

स्थानीय हवाईअड्डे की निदेशक अर्यमा सान्याल ने बताया कि एअर इंडिया का विशेष विमान यूक्रेन के बोरिस्पिल अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से उड़कर भारतीय मानक समय के मुताबिक सुबह पांच बजकर आठ मिनट पर इंदौर पहुंचा।

उन्होंने बताया कि यूक्रेन में फंसे 101 भारतीय विद्यार्थियों की इस उड़ान के जरिये स्वदेश वापसी हुई है।

इस बीच, कोविड-19 की रोकथाम के लिये इंदौर जिले के नोडल अधिकारी अमित मालाकार ने बताया कि स्थानीय हवाई अड्डे पर स्क्रीनिंग के दौरान इनमें से किसी भी यात्री में कोविड-19 के लक्षण नहीं मिले हैं।

उन्होंने बताया कि स्वदेश लौटे यात्रियों में मध्यप्रदेश के साथ ही छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र, राजस्थान, बिहार, असम और तमिलनाडु के मेडिकल विद्यार्थी हैं जो यूक्रेन के अलग-अलग संस्थानों में पढ़ रहे थे। ये विद्यार्थी कोविड-19 के संकट के कारण लम्बे समय से अपने घर लौटना चाह रहे थे।

मालाकार ने बताया कि इनमें इंदौर के 20 विद्यार्थी शामिल हैं जिन्हें शहर के एक होटल में बनाये गये पृथक-वास केंद्र में सात दिन के लिये ठहराया गया है। अन्य प्रदेशों के यात्रियों को उनके घरों के लिये रवाना किया गया है।

Coronavirus
COVID-19
ukraine
101 students returned home

Related Stories

कोरोना अपडेट: देश में कोरोना ने फिर पकड़ी रफ़्तार, 24 घंटों में 4,518 दर्ज़ किए गए 

कोरोना अपडेट: देश में 24 घंटों में 3,962 नए मामले, 26 लोगों की मौत

कोरोना अपडेट: देश में 84 दिन बाद 4 हज़ार से ज़्यादा नए मामले दर्ज 

कोरोना अपडेट: देश में कोरोना के मामलों में 35 फ़ीसदी की बढ़ोतरी, 24 घंटों में दर्ज हुए 3,712 मामले 

कोरोना अपडेट: देश में पिछले 24 घंटों में 2,745 नए मामले, 6 लोगों की मौत

कोरोना अपडेट: देश में नए मामलों में करीब 16 फ़ीसदी की गिरावट

कोरोना अपडेट: देश में 24 घंटों में कोरोना के 2,706 नए मामले, 25 लोगों की मौत

कोरोना अपडेट: देश में 24 घंटों में 2,685 नए मामले दर्ज

कोरोना अपडेट: देश में पिछले 24 घंटों में कोरोना के 2,710 नए मामले, 14 लोगों की मौत

कोरोना अपडेट: केरल, महाराष्ट्र और दिल्ली में फिर से बढ़ रहा कोरोना का ख़तरा


बाकी खबरें

  • नीलांजन मुखोपाध्याय
    यूपी: योगी 2.0 में उच्च-जाति के मंत्रियों का दबदबा, दलितों-पिछड़ों और महिलाओं की जगह ख़ानापूर्ति..
    02 Apr 2022
    52 मंत्रियों में से 21 सवर्ण मंत्री हैं, जिनमें से 13 ब्राह्मण या राजपूत हैं।
  • अजय तोमर
    कर्नाटक: मलूर में दो-तरफा पलायन बन रही है मज़दूरों की बेबसी की वजह
    02 Apr 2022
    भारी संख्या में दिहाड़ी मज़दूरों का पलायन देश भर में श्रम के अवसरों की स्थिति को दर्शाता है।
  • प्रेम कुमार
    सीबीआई पर खड़े होते सवालों के लिए कौन ज़िम्मेदार? कैसे बचेगी CBI की साख? 
    02 Apr 2022
    सवाल यह है कि क्या खुद सीबीआई अपनी साख बचा सकती है? क्या सीबीआई की गिरती साख के लिए केवल सीबीआई ही जिम्मेदार है? संवैधानिक संस्था का कवच नहीं होने की वजह से सीबीआई काम नहीं कर पाती।
  • पीपल्स डिस्पैच
    लैंड डे पर फ़िलिस्तीनियों ने रिफ़्यूजियों के वापसी के अधिकार के संघर्ष को तेज़ किया
    02 Apr 2022
    इज़रायल के क़ब्ज़े वाले क्षेत्रों में और विदेशों में रिफ़्यूजियों की तरह रहने वाले फ़िलिस्तीनी लोग लैंड डे मनाते हैं। यह दिन इज़रायली क़ब्ज़े के ख़िलाफ़ साझे संघर्ष और वापसी के अधिकार की ओर प्रतिबद्धता का…
  • मोहम्मद सज्जाद, मोहम्मद ज़ीशान अहमद
    भारत को अपने पहले मुस्लिम न्यायविद को क्यों याद करना चाहिए 
    02 Apr 2022
    औपनिवेशिक काल में एक उच्च न्यायालय के पहले मुस्लिम न्यायाधीश, सैयद महमूद का पेशेवराना सलूक आज की भारतीय न्यायपालिका में गिरते मानकों के लिए एक काउंटरपॉइंट देता है। 
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License