NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
पश्चिम एशिया और उत्तरी अफ्रीका में हथियारों के आयात में 25 प्रतिशत वृद्धि : एसआईपीआरआई
अमेरिका दुनिया का शीर्ष हथियार निर्यातक देश अभी भी बना हुआ है। इसके बाद रूस, फ़्रांस, जर्मनी और चीन का स्थान है।
पीपल्स डिस्पैच
16 Mar 2021
पश्चिम एशिया और उत्तरी अफ्रीका में हथियारों के आयात में 25 प्रतिशत वृद्धि : एसआईपीआरआई

धनी देशों सहित पश्चिम एशिया के देशों और मध्य पूर्व-उत्तरी अफ्रीका क्षेत्र के देश जिनमें तेजी से सैन्यीकरण करने वाले खाड़ी देश शामिल हैं उन्होंने पिछले दशक के पहले अर्ध दशक (2011-2015) की तुलना में दूसरे अर्ध दशक (2016 -2020) में हथियारों के आयात में 25 प्रतिशत की वृद्धि की है जबकि इन दो अवधि में वैश्विक हथियारों की बिक्री स्थिर रही। ये रिपोर्ट सोमवार 15 मार्च को अंतर्राष्ट्रीय हथियारों की निगरानी करने वाली संस्था स्टॉकहोम इंटरनेशनल पीस रिसर्च इंस्टीट्यूट (एसआईपीआरआई) ने की।

हालांकि, अपनी रिपोर्ट में एसआईपीआरआई ने यह भी चेतावनी दी कि हथियारों की बिक्री भले ही स्थिर हो गई हो फिर भी वे 1991 में शीत युद्ध की समाप्ति के बाद उच्चतम स्तर के करीब बने रहे।

पश्चिम एशिया को बोलचाल में पश्चिमी देशों में मध्य पूर्व के रूप में भी जाना जाता है। सऊदी अरब और कतर जैसे प्रमुख क्षेत्रीय शक्तियों ने अपने हथियारों के आयात के स्तर में काफी वृद्धि की है। सऊदी अरब के हथियारों के आयात में 61 प्रतिशत की वृद्धि हुई है वहीं कतर के आयात में 361 प्रतिशत की भारी वृद्धि हुई है।

वाइडर एमईएनए (मध्य पूर्व उत्तरी अफ्रीका) क्षेत्र के भाग उत्तरी अफ्रीकी देश अल्जीरिया और मिस्र ने भी अपने हथियारों के आयात में क्रमशः 64 प्रतिशत और 136 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की। एसआईपीआरआई ने उल्लेख किया कि इस रिपोर्ट का आंकड़ा सऊदी अरब के नेतृत्व में "खाड़ी क्षेत्र में कई देशों के बीच क्षेत्रीय रणनीतिक प्रतियोगिता" को दर्शाता है, जो पड़ोसी देश ईरान के प्रति इज़राइल और अमेरिका द्वारा साझा और प्रोत्साहित किया गया जो कि इन देशों में हथियारों के आयात में तेजी के लिए संभावित योगदान करने वाले कारकों में से एक है।

पश्चिम एशियाई और उत्तरी अफ्रीकी देशों द्वारा हथियारों के आयात में वृद्धि के इतर संयुक्त राज्य अमेरिका, फ्रांस और जर्मनी ने अपने संबंधित हथियारों के निर्यात में पर्याप्त वृद्धि देखी। अमेरिका वैश्विक शेयर बाजारों में 37 प्रतिशत की वृद्धि के साथ (2011-2015 में 32 प्रतिशत की तुलना में) दुनिया के सबसे बड़े हथियार निर्यातक के रूप में अभी भी कायम है। इस रिपोर्ट से यह भी पता चलता है कि यूएस हथियारों के निर्यात का करीब 50 प्रतिशत हिस्सा एमईएनए क्षेत्र में गया जो कि इस क्षेत्र द्वारा हथियारों के निर्यात में 25 प्रतिशत वृद्धि के एक बड़े हिस्से के रुप में सामने आई।

Arms imports
West Asia
North Africa
SIPRI

Related Stories

असद ने फिर सीरिया के ईरान से रिश्तों की नई शुरुआत की

क्यों बाइडेन पश्चिम एशिया को अपनी तरफ़ नहीं कर पा रहे हैं?

सिपरी : कोविड के बावजूद फल-फूल रहा वैश्विक हथियार उद्योग 

नया वैश्विक दबाव सऊदी अरब और यूएई में शस्त्र की बिक्री पर रोक लगाएगा

राष्ट्रपति के रूप में ट्रम्प के अंतिम फ़ैसलों का पश्चिमी एशिया पर क्या असर होगा?

ईरान का ‘लुक ईस्ट’ नज़रिया और भारत के लिए संभावना

जंग से फलती-फूलती रही है अमेरिकी अर्थव्यवस्था!

ईरान पर अमेरिकी प्रतिबंधों की वजह से निर्दोष लोग मर रहे हैं

पश्चिम एशिया में ताकतवर देशों की दख़ल कम होने की उम्मीद?


बाकी खबरें

  • cartoon
    न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    ख़बर भी-नज़र भी: दुनिया को खाद्य आपूर्ति का दावा और गेहूं निर्यात पर रोक
    14 May 2022
    एक तरफ़ अभी कुछ दिन पहले हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दावा करते हैं कि अगर विश्व व्यापार संगठन (WTO) भारत को अनुमति देता है, तो हमारा देश अपने खाद्य भंडार से दुनिया को खाद्य आपूर्ति कर सकता है,…
  • aadhar
    भाषा
    आधार को मतदाता सूची से जोड़ने पर नियम जल्द जारी हो सकते हैं : मुख्य निर्वाचन आयुक्त
    14 May 2022
    "यह स्वैच्छिक होगा। लेकिन मतदाताओं को अपना आधार नंबर न देने के लिए पर्याप्त वजह बतानी होगी।"
  • IPC
    सारा थानावाला
    LIC IPO: कैसे भारत का सबसे बड़ा निजीकरण घोटाला है!
    14 May 2022
    वी. श्रीधर, सार्वजनिक क्षेत्र और सार्वजनिक सेवाओं पर जन आयोग के सदस्य साक्षात्कार के माध्यम से बता रहे हैं कि एलआईसी आईपीओ कैसे सबसे बड़ा निजीकरण घोटाला है।
  • congress
    रवि शंकर दुबे
    इतिहास कहता है- ‘’चिंतन शिविर’’ भी नहीं बदल सका कांग्रेस की किस्मत
    14 May 2022
    देश की सबसे पुरानी राजनीतिक पार्टी कांग्रेस चुनावों में जीत के लिए पहले भी चिंतन शिविर करती रही है, लेकिन ये शिविर कांग्रेस के लिए इतने कारगर नहीं रहे हैं।
  • asianet
    श्याम मीरा सिंह
    लता के अंतिम संस्कार में शाहरुख़, शिवकुमार की अंत्येष्टि में ज़ाकिर की तस्वीरें, कुछ लोगों को क्यों चुभती हैं?
    14 May 2022
    “बॉलीवुड अभिनेता शाहरुख़, मशहूर गायिका लता मंगेशकर के अंत्येष्टि कार्यक्रम में श्रद्धांजलि देने गए हुए थे। ऐसे माहौल में जबकि सारी व्याख्याएँ व्यक्ति के धर्म के नज़रिए से की जा रही हैं, वैसे में…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License