NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
बोलिविया : तख़्तापलट से बनी सरकार के ख़िलाफ़ जनता का संघर्ष जारी
11 मई से हज़ारों बोलिविया वासी तख़्तापलट से बनी सरकार की राष्ट्रपति जियानिन आनेज़ के इस्तीफ़े और देश में तत्काल रूप से लोकतांत्रिक चुनाव की मांग कर रहे हैं।
पीपल्स डिस्पैच
22 May 2020
बोलिविया

11 मई को कोचाबांबा के कारा कारा के कामगार वर्ग क्षेत्र में शुरू हुआ स्व-घोषित जियानिन आनेज़ के ख़िलाफ़ प्रदर्शन अब पूरे बोलिविया में फैल रहा है। पिछले 10 दिनों से हज़ारों बोलिविया निवासी इकट्ठा हो रहे हैं और राष्ट्रपति आनेज़ और गवर्नमेंट मिनिस्टर आरतुरो मुरिलो के इस्तीफ़े की मांग कर रहे हैं।

प्रदर्शनकारियों ने यह भी मांग की है कि de-facto सरकार 2020 आम चुनाव पोस्टपोनमेन्ट लॉ के तहत स्थापित किये गए 90 दिन की अवधि का पालन करें और यह भी मांग की गई है कि सुप्रीम इलेक्टरल कोर्ट(TSE) जल्द से जल्द चुनाव की तारीख़ तय करे।

उन्होंने ग़रीबों की आबादी और असंगठित मज़दूरों जिन्होंने लॉकडाउन की वजह से नौकरी खो दी है, उन तक खाना या आर्थिक मदद पहुंचा पाने में नाकाम सरकार की आलोचना की है। नागरिकों ने यह भी मांग की है कि उन्हें काम करने की इजाज़त दी जाए, क्योंकि कड़े क्वारन्टाइन के नियमों में तख़्तापलट अधिकारियों की तरफ़ बग़ैर मदद के उन्हें सिर्फ़ घर पे रहने के लिए मजबूर किया जा रहा है।

इसी तरह, उन्होंने मांग की है कि सर्वोच्च डिक्री 4,232, जो आनुवंशिक रूप से संशोधित बीजों के उपयोग को अधिकृत करता है, उसे तुरंत निरस्त कर दिया जाए। उनका तर्क है कि यह असंवैधानिक है और बोलीविया के खाद्य सुरक्षा के अधिकार का उल्लंघन करता है।

नागरिकों ने सरकार में शामिल कई अधिकारियों के भ्रष्टाचार में शामिल होने की वजह से उनकी निंदा की और देश में तत्काल लोकतांत्रिक चुनाव की मांग को तेज़ किया।

इस पूरे हफ़्ते में प्रदर्शनकारियों ने ला पाज़, कोचाबाम्बा, पोतोसि, ओरुरो और सांता क्रूज़ की कई सड़कों-हाइवे को ब्लॉक किया। 16 मई से ही एल आल्तो, कारा कारा और पोतोसि के निवासियों ने अपनी मांगें मनवाने के लिए शहरों की सड़कों और लैंडफिल को अनिश्चित काल तक के लिए ब्लॉक किया है।

साभार : पीपल्स डिस्पैच 

bolivia
President Jianin Anez
TSE
Lockdown

Related Stories

क्या चिली की प्रगतिशील सरकार बोलीविया की समुद्री पहुंच के रास्ते खोलेगी?

लॉकडाउन-2020: यही तो दिन थे, जब राजा ने अचानक कह दिया था— स्टैचू!

जब तक भारत समावेशी रास्ता नहीं अपनाएगा तब तक आर्थिक रिकवरी एक मिथक बनी रहेगी

25 मार्च, 2020 - लॉकडाउन फ़ाइल्स

शिक्षा बजट: डिजिटल डिवाइड से शिक्षा तक पहुँच, उसकी गुणवत्ता दूभर

यूपी: महामारी ने बुनकरों किया तबाह, छिने रोज़गार, सरकार से नहीं मिली कोई मदद! 

बजट '23: सालों से ग्रामीण भारत के साथ हो रही नाइंसाफ़ी से निजात पाने की ज़रूरत

पत्रकारिता एवं जन-आंदोलनों के पक्ष में विकीलीक्स का अतुलनीय योगदान 

यूपी चुनावों को लेकर चूड़ी बनाने वालों में क्यों नहीं है उत्साह!

उत्तराखंड: मानसिक सेहत गंभीर मामला लेकिन इलाज के लिए जाएं कहां?


बाकी खबरें

  • न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    वाम दलों का महंगाई और बेरोज़गारी के ख़िलाफ़ कल से 31 मई तक देशव्यापी आंदोलन का आह्वान
    24 May 2022
    वामदलों ने आवश्यक वस्तुओं की बढ़ती कीमतों और बेरज़गारी के विरोध में 25 मई यानी कल से 31 मई तक राष्ट्रव्यापी आंदोलन का आह्वान किया है।
  • सबरंग इंडिया
    UN में भारत: देश में 30 करोड़ लोग आजीविका के लिए जंगलों पर निर्भर, सरकार उनके अधिकारों की रक्षा को प्रतिबद्ध
    24 May 2022
    संयुक्त राष्ट्र संघ में भारत ने दावा किया है कि देश में 10 करोड़ से ज्यादा आदिवासी और दूसरे समुदायों के मिलाकर कुल क़रीब 30 करोड़ लोग किसी ना किसी तरह से भोजन, जीविका और आय के लिए जंगलों पर आश्रित…
  • प्रबीर पुरकायस्थ
    कोविड मौतों पर विश्व स्वास्थ्य संगठन की रिपोर्ट पर मोदी सरकार का रवैया चिंताजनक
    24 May 2022
    भारत की साख के लिए यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि वह विश्व स्वास्थ्य संगठन के 194 सदस्य देशों में अकेला ऐसा देश है, जिसने इस विश्व संगठन की रिपोर्ट को ठुकराया है।
  • gyanvapi
    न्यूज़क्लिक टीम
    ज्ञानवापी मस्जिद की परछाई देश की राजनीति पर लगातार रहेगी?
    23 May 2022
    न्यूज़क्लिक की इस ख़ास पेशकश में वरिष्ठ पत्रकार नीलांजन मुखोपाध्याय ज्ञानवापी मस्जिद और उससे जुड़े मुगल साम्राज्य के छठे सम्राट औरंगज़ेब के इतिहास पर चर्चा कर रहे हैं|
  • सोनिया यादव
    तेलंगाना एनकाउंटर की गुत्थी तो सुलझ गई लेकिन अब दोषियों पर कार्रवाई कब होगी?
    23 May 2022
    पुलिस पर एनकाउंटर के बहाने अक्सर मानवाधिकार-आरटीआई कार्यकर्ताओं को मारने के आरोप लगते रहे हैं। एनकाउंटर के विरोध करने वालों का तर्क है कि जो भी सत्ता या प्रशासन की विचारधारा से मेल नहीं खाता, उन्हें…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License