NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
थाईलैंड : आपातकाल की घोषणा को चुनौती देते हुए प्रदर्शनकारियों ने बड़ी रैलियां आयोजित की
गुरुवार को घोषित किए गए आधिकारिक प्रतिबंध के बावजूद हज़ारों प्रदर्शनकारियों ने राजधानी के केंद्र में स्थित डेमोक्रेसी मोनूमेंट के पास इकट्ठा होना जारी रखा।
पीपल्स डिस्पैच
16 Oct 2020
थाईलैंडः

बड़ी सभाओं पर प्रतिबंध लगाते हुए सरकार द्वारा आपातकाल की घोषणा के बावजूद हज़ारों प्रदर्शनकारियों ने थाईलैंट की राजधानी बैंकॉक में डेमोक्रेसी मोनूमेंट के पास जमा रहे और ब्लॉक करना जारी रखा।और इसके साथ ही गुरुवार 15 अक्टूबर को पूरे शहर में अन्य प्रदर्शनों और रैलियों का आयोजन किया।

मोनूमेंट के पास एक सुनियोजित प्रदर्शन से पूर्व मंगलवार 13 अक्टूबर को 21 प्रदर्शनकारियों की गिरफ़्तारी के बाद से देश में राजशाही के ख़िलाफ़ विरोध तेज़ हो गया है। सुनियोजित सभा की तैयारी के लिए इन एक्टिविस्टों को उक्त कार्यक्रमों से पूर्व गिरफ्तार किया गया था।

गिरफ़्तार किए गए 21 लोगों में से केवल एक को नाबालिग होने के चलते ज़मानत मिली है जबकि अन्य 19 लोगों को ज़मानत देने से इनकार कर दिया गया और छह दिनों के लिए म्यूनिसिपल कोर्ट ने हिरासत में लिया। एक पूर्व छात्र कार्यकर्ता और लंबे समय से राजशाही के आलोचक रहे जाटुपट "पाइ दाओ दिन" बुनपट्टाररकसा को बैंकॉक आपराधिक अदालत में ले जाया गया। अदालत ने इस विरोध प्रदर्शन के लिए पाई दाओ दीन के आयोजन को "देशद्रोह" बताया और उन्हें ज़मानत देने से इनकार कर दिया।

सीमा पर नियंत्रण और उग्रवादियों के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले अर्धसैनिक बल बॉर्डर पेट्रोल पुलिस (बीपीपी) द्वारा शेष सभी 20 बंदियों को हिरासत में रखा जा रहा है।

रिपोर्टों के अनुसार इस गिरफ्तारी के बाद प्रतिभागियों की संख्या दस हजार से अधिक हो गई और सैकड़ों  प्रदर्शनकारी पुलिस मुख्यालय के बाहर रात भर डटे रहे।

बुधवार की सुबह सैकड़ों लोग डेमोक्रेसी मोनूमेंट के पास जमा होने लगे। बुधवार का निर्धारित प्रदर्शन भी दोपहर में मोनूमेंट के पास से गुजरने के लिए निर्धारित रॉयल मोटरकेड को लेकर होना था। कुछ लोगों ने अनुमान लगाया है कि इस रॉयल मोटरकेड के ख़िलाफ़ प्रदर्शनकारियों द्वारा अवज्ञा की प्रतिक्रिया में ये आपातकाल लगाई गई। प्रदर्शनकारियों को तीन-अंगुली के निशान (हंगर गेम्स फिल्म फ्रैंचाइज़ से प्रेरित) के साथ देखा गया और मोटरकेड के पास जुंटा-विरोधी नारे लगाए। इस मोटरकेड में रानी थी।

सरकार-विरोधी ये प्रदर्शन देश के सबसे बड़े कानूनों के खिलाफ एक छात्र के नेतृत्व वाले विरोध प्रदर्शन के रूप में शुरू हुआ जो पूरे राजधानी बैंकॉक में भाग लेने वाले हज़ारों लोगों का गवाह बना। राजधानी के निकट थम्मसैट विश्वविद्यालय परिसर से शुरू होकर यह आंदोलन प्रयुत चान-ओ-चा की सरकार के नेतृत्व में सत्तासीन राजा और नागरिक-सैन्य जुंटा के ख़िलाफ़ एक आंदोलन में बदल गया है।

Thailand
protests in thailand
public protest in thailand
state emergency in thailand
protest despite emergency

Related Stories

शीर्ष कोर्ट के फ़ैसले से ख़तरे में आए थाईलैंड के लोकतंत्र समर्थक प्रदर्शन

थाईलैंड : प्रदर्शनकारियों पर कार्रवाई में 9 नाबालिगों सहित दर्जनों गिरफ़्तार

थाईलैंडः प्रयुत के अविश्वास प्रस्ताव जीतने के बाद राजधानी में "कार रैली" और प्रदर्शन

थाईलैंडः पुलिस की कार्रवाई के बावजूद "कार" रैली में हज़ारों लोग शामिल हुए

थाईलैंड : बेहतर कोविड राहत की मांग करने वाले प्रदर्शनकारियों पर दमनात्मक कार्रवाई

थाईलैंड के नए संविधान संशोधन विधेयक को व्यापक जनसमर्थन

राजशाही के अपमान के आरोपी तीन थाईलैंड के एक्टिविस्ट ज़मानत पर रिहा

बैंकाक में भूख हड़ताल कर रहे बंदियों की रिहाई की मांग करते हुए सैकड़ों लोगों ने किया प्रदर्शन

क्या भारत भी कुछ सीखेगा: मास्क नहीं पहनने पर थाईलैंड के प्रधानमंत्री पर जुर्माना

थाईलैंडः प्रदर्शनकारियों पर पुलिस की कार्रवाई में दर्जनों लोग घायल और कई लोग हिरासत में


बाकी खबरें

  • वसीम अकरम त्यागी
    विशेष: कौन लौटाएगा अब्दुल सुब्हान के आठ साल, कौन लौटाएगा वो पहली सी ज़िंदगी
    26 May 2022
    अब्दुल सुब्हान वही शख्स हैं जिन्होंने अपनी ज़िंदगी के बेशक़ीमती आठ साल आतंकवाद के आरोप में दिल्ली की तिहाड़ जेल में बिताए हैं। 10 मई 2022 को वे आतंकवाद के आरोपों से बरी होकर अपने गांव पहुंचे हैं।
  • एम. के. भद्रकुमार
    हिंद-प्रशांत क्षेत्र में आईपीईएफ़ पर दूसरे देशों को साथ लाना कठिन कार्य होगा
    26 May 2022
    "इंडो-पैसिफ़िक इकनॉमिक फ़्रेमवर्क" बाइडेन प्रशासन द्वारा व्याकुल होकर उठाया गया कदम दिखाई देता है, जिसकी मंशा एशिया में चीन को संतुलित करने वाले विश्वसनीय साझेदार के तौर पर अमेरिका की आर्थिक स्थिति को…
  • अनिल जैन
    मोदी के आठ साल: सांप्रदायिक नफ़रत और हिंसा पर क्यों नहीं टूटती चुप्पी?
    26 May 2022
    इन आठ सालों के दौरान मोदी सरकार के एक हाथ में विकास का झंडा, दूसरे हाथ में नफ़रत का एजेंडा और होठों पर हिंदुत्ववादी राष्ट्रवाद का मंत्र रहा है।
  • सोनिया यादव
    क्या वाकई 'यूपी पुलिस दबिश देने नहीं, बल्कि दबंगई दिखाने जाती है'?
    26 May 2022
    एक बार फिर यूपी पुलिस की दबिश सवालों के घेरे में है। बागपत में जिले के छपरौली क्षेत्र में पुलिस की दबिश के दौरान आरोपी की मां और दो बहनों द्वारा कथित तौर पर जहर खाने से मौत मामला सामने आया है।
  • सी. सरतचंद
    विश्व खाद्य संकट: कारण, इसके नतीजे और समाधान
    26 May 2022
    युद्ध ने खाद्य संकट को और तीक्ष्ण कर दिया है, लेकिन इसे खत्म करने के लिए, संयुक्त राज्य अमेरिका को सबसे पहले इस बात को समझना होगा कि यूक्रेन में जारी संघर्ष का कोई भी सैन्य समाधान रूस की हार की इसकी…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License