NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
स्वास्थ्य
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
अल सल्वाडोर : सुप्रीम कोर्ट ने राष्ट्रपति नाइब बुकेले के आपातकाल स्थिति बढ़ाने के फ़ैसले को ख़ारिज किया
मानवाधिकार और वामपंथी संगठनों ने राष्ट्रपति पर संविधान का उल्लंघन और महामारी का इस्तेमाल करके लोगों के अधिकारों का हनन करने के आरोप लगाए हैं।
पीपल्स डिस्पैच
19 May 2020
अल सल्वाडोर

अल-सल्वाडोर की सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार 18 मई को राष्ट्रपति द्वारा देश में बढ़ाए गए आपातकाल को ख़ारिज करने का फ़ैसला सुनाया है।

राष्ट्रपति ने शनिवार 16 मई को देश में आपातकाल स्थिति को 30 दिन तक बढ़ाने का आदेश दिया था। यह आदेश देश की संसद कांग्रेस की सहमति के बग़ैर दिया गया था।

कांग्रेस के कई सदस्यों जिनमें देश के एटॉर्नी जनरल भी शामिल थे, ने इस क़दम का विरोध किया था और इसे संविधान का उल्लंघन क़रार दिया था।

देश में पहली आपातकाल स्थिति का आदेश 14 मार्च को कांग्रेस की सहमति के साथ दिया गया था। अप्रैल में कांग्रेस ने इसे एक महीने के लिए बढ़ाया था जो अवधि 17 मई को ख़त्म होने वाली थी।

राष्ट्रपति ने कहा है कि सिविल प्रोटेक्शन लॉ 2005 के तहत कांग्रेस की अनुपस्थिति में उन्हें आपातकाल लागू करने का अधिकार प्राप्त है।

अल-सल्वाडोर में कोरोना वायरस के 1400 मामले और अब तक 30 लोगों की मौत हो चुकी है।

हाल के दिनों में नाइब बुकेले को उनके क्रूर कृत्यों के लिए मानवाधिकार समूहों की तरफ़ से आलोचना का सामना करना पड़ा है। फरवरी में उन्होंने और उनके समर्थकों ने हथियारों के साथ कांग्रेस में प्रवेश किया और कुछ समय के लिए उस पर क़ब्ज़ा कर लिया था। पिछले महीने राज्य की जेल में क़ैदियों के साथ दुर्व्यवहार करने के लिए भी उनकी आलोचना की गई थी।

अल-सल्वाडोर में हाल के दिनों में राष्ट्रपति की नीतियों के ख़िलाफ़ व्यापक विरोध प्रदर्शन हुए हैं। 13 मई को अल-सल्वाडोर में हज़ारों लोगों ने विरोध प्रदर्शनों में भाग लिया और कोविड -19 महामारी से निपटने में राष्ट्रपति की नीतियों से अपना असंतोष व्यक्त किया।

यह विरोध प्रदर्शन ग़रीबों और बेरोज़गार अनौपचारिक श्रमिकों को भोजन और आर्थिक सहायता में कमी, संगरोध केंद्रों की अनिश्चित स्थिति, लोगों की गिरफ्तारी जो कथित रूप से लॉकडाउन तोड़ने वालों की गिरफ़्तारी, डॉक्टरों और अन्य स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं के लिए व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण की कमी, विदेश में फँसे हज़ारों सल्वाडोर निवासियों की वापसी में देरी के ख़िलाफ़ किए गए थे।

बुकेले ने देश में कोरोना से लड़ने के लिए नागरिकों पर सख़्त प्रतिबंध लगाए हैं। उन्होंने एक मोबिलिटी सस्पेंशन क़ानून लागू किया है जिसके तहत मज़दूर मज़दूरी नहीं कर सकते हैं। मानवाधिकार और वामपंथी संगठनों ने राष्ट्रपति पर संविधान का उल्लंघन और महामारी का इस्तेमाल करके लोगों के अधिकारों का हनन करने के आरोप लगाए हैं।

साभार : पीपल्स डिस्पैच

El Salvador
Congress
COVID-19
State of Emergency

Related Stories

कोरोना अपडेट: देश में कोरोना ने फिर पकड़ी रफ़्तार, 24 घंटों में 4,518 दर्ज़ किए गए 

कोरोना अपडेट: देश में 24 घंटों में 3,962 नए मामले, 26 लोगों की मौत

कोरोना अपडेट: देश में 84 दिन बाद 4 हज़ार से ज़्यादा नए मामले दर्ज 

कोरोना अपडेट: देश में कोरोना के मामलों में 35 फ़ीसदी की बढ़ोतरी, 24 घंटों में दर्ज हुए 3,712 मामले 

कोरोना अपडेट: देश में नए मामलों में करीब 16 फ़ीसदी की गिरावट

कोरोना अपडेट: देश में 24 घंटों में कोरोना के 2,706 नए मामले, 25 लोगों की मौत

कोरोना अपडेट: देश में 24 घंटों में 2,685 नए मामले दर्ज

कोरोना अपडेट: देश में पिछले 24 घंटों में कोरोना के 2,710 नए मामले, 14 लोगों की मौत

कोरोना अपडेट: केरल, महाराष्ट्र और दिल्ली में फिर से बढ़ रहा कोरोना का ख़तरा

कोरोना अपडेट: देश में आज फिर कोरोना के मामलों में क़रीब 27 फीसदी की बढ़ोतरी


बाकी खबरें

  • कृष्णकांत
    भारत को मध्ययुग में ले जाने का राष्ट्रीय अभियान चल रहा है!
    10 May 2022
    भारत किसी एक मामले में फिसला होता तो गनीमत थी। चाहे गिरती अर्थव्यवस्था हो, कमजोर होता लोकतंत्र हो या फिर तेजी से उभरता बहुसंख्यकवाद हो, इस वक्त भारत कई मोर्चे पर वैश्विक आलोचनाएं झेल रहा है लेकिन…
  • सोनाली कोल्हटकर
    छात्रों के ऋण को रद्द करना नस्लीय न्याय की दरकार है
    10 May 2022
    छात्र ऋण अश्वेत एवं भूरे अमेरिकिर्यों को गैर-आनुपातिक रूप से प्रभावित करता है। समय आ गया है कि इस सामूहिक वित्तीय बोझ को समाप्त किया जाए, और राष्ट्रपति चाहें तो कलम के एक झटके से ऐसा कर सकते हैं।
  • khoj khabar
    न्यूज़क्लिक टीम
    अब झूठ मत बोलिए, सरकारी आंकड़ें बोलते- मुस्लिम आबादी में तेज़ गिरावट
    09 May 2022
    खोज ख़बर में वरिष्ठ पत्रकार भाषा सिंह ने बताया कि किस तरह से अंतर्राष्ट्रीय negative ranking से घिरी नरेंद्र मोदी सरकार को अब PR का भरोसा, मुस्लिम आबादी का झूठ NFHS से बेनक़ाब |
  • एम.ओबैद
    बीपीएससी प्रश्न पत्र लीक कांड मामले में विपक्षी पार्टियों का हमला तेज़
    09 May 2022
    8 मई को आयोजित बिहार लोक सेवा आयोग के 67वीं संयुक्त (प्रारंभिक) प्रतियोगी परीक्षा का प्रश्न पत्र लीक होने के बाद परीक्षा रद्द कर दी गई है। इसको लेकर विपक्षी पार्टियों ने सरकार पर हमला करना शुरू कर…
  • सत्यम् तिवारी
    शाहीन बाग़ ग्राउंड रिपोर्ट : जनता के पुरज़ोर विरोध के आगे झुकी एमसीडी, नहीं कर पाई 'बुलडोज़र हमला'
    09 May 2022
    एमसीडी की बुलडोज़र कार्रवाई का विरोध करते हुए और बुलडोज़र को वापस भेजते हुए शाहीन बाग़ के नागरिकों ने कहा कि "हम मुसलमानों के दिमाग़ पर बुलडोज़र नहीं चलने देंगे"।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License