NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
टोरी पुलिस बिल के ख़िलाफ़ पूरे यूके में 'किल द बिल' विरोध प्रदर्शन जारी
एक्टिविस्ट के अनुसार, यूके की संसद में प्रस्तावित पुलिस, क्राइम, सेंटेंसिंग एंड कोर्ट्स के प्रावधान विरोध प्रदर्शन और सार्वजनिक समारोहों को नियंत्रित करने के लिए पुलिस को अधिक विवेकाधीन अधिकार देंगे।
पीपल्स डिस्पैच
02 Apr 2021
टोरी पुलिस बिल के ख़िलाफ़ पूरे यूके में 'किल द बिल' विरोध प्रदर्शन जारी

टोरी सरकार द्वारा प्रस्तावित पुलिस, क्रमाइम, सेंटेंसिंग एंड कोर्ट्स बिल को वापस लेने की मांग को लेकर ब्रिटेन भर में प्रगतिशील वर्गों ने विरोध प्रदर्शन तेज कर दिया है। पुलिस उत्पीड़न और हमलों के बीच इस बिल को वापस लेने की मांग को लेकर ब्रिस्टल और लंदन सहित ब्रिटेन के कई शहरों में सैकड़ों लोगों ने "किल द बिल" विरोध प्रदर्शनों में हिस्सा लिया।

खबरों के मुताबिक पुलिस ने कई स्थानों पर प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार किया और परेशान भी किया। विरोध प्रदर्शन के सिलसिले में पुलिस ने बुधवार 31 मार्च को एक युवक को गिरफ्तार किया।

ब्रिटेन की संसद में प्रस्तावित पुलिस, क्राइम, सेंटेंसिंग एंड कोर्ट्स बिल को पेश किया जिसका उद्देश्य पुलिस और आपराधिक न्याय प्रणाली और सजा के कानून में सुधार करना है। एक्टिविस्ट के अनुसार इस कानून में देश में विरोध प्रदर्शन के अधिकार के लिए हानिकारक प्रावधान हैं। यह बिल 16 मार्च को ब्रिटेन की संसद में दूसरे दौर के मतदान से पारित किया गया था। हालांकि व्यापक विरोध प्रदर्शनों के चलते कहा गया कि समिति के स्तर पर बिल की जांच में देरी हुई है।

रिपोर्टों के अनुसार, विरोध प्रदर्शन और सार्वजनिक सभा से संबंधित इस बिल के तीसरे भाग में पुलिस को सार्वजनिक सभाओं और विरोध प्रदर्शनों को नियंत्रित करने के लिए बिना शर्त शक्तियां दी गई है। यहां पुलिस बलों को "सार्वजनिक उपद्रव" के रूप में मानकर विरोध प्रदर्शनों को गैर कानूनी घोषित करने की अनुमति दी जाएगी और समय और शोर को सीमित करते हुए तथा समय की शुरुआत व समाप्त करने को लागू करते हुए प्रदर्शनों को नियंत्रित कर सकते हैं। नए बिल के प्रावधानों के तहत एक व्यक्ति द्वारा की गई कोई भी कार्रवाई को "विरोध प्रदर्शन" माना जा सकता है। पुलिस के दिशानिर्देशों का पालन न करने पर 2,500 पाउंड तक का जुर्माना हो सकता है।

इस तरह के प्रावधानों ने चिंता पैदा कर दी है और प्रगतिशील वर्गों द्वारा इसे विरोध प्रदर्शन के अधिकार पर हमले के रूप में बताते हुए निंदा की है।

ब्रिटेन की यंग कम्युनिस्ट लीग (वाईसीएल) ने संसद में इस बिल के पारित होने की निंदा की और कार्यवाही व इस कानून का परित्याग करने की मांग की।

लेबर पार्टी के सांसद जेरेमी कॉर्बिन ने कहा है कि "पुलिस की कार्रवाई बिल में देरी से पता चलता है कि सरकार पर कितना दबाव है।" उन्होंने आगे कहा, हमें बड़े पैमाने पर इस बिल को लेकर और व्यापक तौर पर टोरी के बढ़ते तानाशाही के खिलाफ अभियान चलाने की जरूरत है।

UK
UK Protest
Kill the bill
Tory police bill

Related Stories

युद्ध के प्रचारक क्यों बनते रहे हैं पश्चिमी लोकतांत्रिक देश?

दुनिया को गौर करना चाहिए कि बाइडेन की प्रेसीडेंसी ढलान पर है

क्यों जूलियन असांज पर अमानवीय मुक़दमा हम सबके लिए अन्याय है

यूके ने अफ़ग़ानिस्तान के नए खेल में बढ़ाया पहला क़दम

वैक्सीन को मान्यता देने में हो रही उलझन से वैश्विक हवाई यात्रा पर पड़ रहा असर

आकुस के बहाने अमेरिका चीन ही नहीं, दुनिया को डाल रहा ख़तरे में

रिपोर्ट के मुताबिक सभी प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं की जलवायु योजनायें पेरिस समझौते के लक्ष्य को पूरा कर पाने में विफल रही हैं 

चीन ने यूएस, यूके और ऑस्ट्रेलिया के बीच त्रिपक्षीय सुरक्षा गठबंधन को "शीत युद्ध मानसिकता और वैचारिक पूर्वाग्रह" का प्रदर्शन बताया

शरणार्थियों और शरण चाहने वालों के लिए असंवेदनशील नीतियों को लेकर यूके के गृह विभाग की आलोचना

ओमान तट के पास तेल टैंकर पर हमले में शामिल होने के इज़रायली आरोपों से ईरान का इनकार


बाकी खबरें

  • न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    छत्तीसगढ़ः 60 दिनों से हड़ताल कर रहे 15 हज़ार मनरेगा कर्मी इस्तीफ़ा देने को तैयार
    03 Jun 2022
    मनरेगा महासंघ के बैनर तले क़रीब 15 हज़ार मनरेगा कर्मी पिछले 60 दिनों से हड़ताल कर रहे हैं फिर भी सरकार उनकी मांग को सुन नहीं रही है।
  • ऋचा चिंतन
    वृद्धावस्था पेंशन: राशि में ठहराव की स्थिति एवं लैंगिक आधार पर भेद
    03 Jun 2022
    2007 से केंद्र सरकार की ओर से बुजुर्गों को प्रतिदिन के हिसाब से मात्र 7 रूपये से लेकर 16 रूपये दिए जा रहे हैं।
  • भाषा
    मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने चंपावत उपचुनाव में दर्ज की रिकार्ड जीत
    03 Jun 2022
    चंपावत जिला निर्वाचन कार्यालय से मिली जानकारी के अनुसार, मुख्यमंत्री को 13 चक्रों में हुई मतगणना में कुल 57,268 मत मिले और उनके खिलाफ चुनाव लड़ने वाल़ कांग्रेस समेत सभी प्रत्याशियों की जमानत जब्त हो…
  • अखिलेश अखिल
    मंडल राजनीति का तीसरा अवतार जाति आधारित गणना, कमंडल की राजनीति पर लग सकती है लगाम 
    03 Jun 2022
    बिहार सरकार की ओर से जाति आधारित जनगणना के एलान के बाद अब भाजपा भले बैकफुट पर दिख रही हो, लेकिन नीतीश का ये एलान उसकी कमंडल राजनीति पर लगाम का डर भी दर्शा रही है।
  • लाल बहादुर सिंह
    गैर-लोकतांत्रिक शिक्षानीति का बढ़ता विरोध: कर्नाटक के बुद्धिजीवियों ने रास्ता दिखाया
    03 Jun 2022
    मोदी सरकार पिछले 8 साल से भारतीय राज और समाज में जिन बड़े और ख़तरनाक बदलावों के रास्ते पर चल रही है, उसके आईने में ही NEP-2020 की बड़ी बड़ी घोषणाओं के पीछे छुपे सच को decode किया जाना चाहिए।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License