NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
भारत
राजनीति
लोकसभा ने कराधान विधि संशोधन विधेयक को मंजूरी दी
इसके तहत केयर्न एनर्जी और वोडाफोन जैसी कंपनियों से पूर्व की तिथि से कर की मांग को वापस लिया जाएगा।
भाषा
06 Aug 2021
लोकसभा ने कराधान विधि संशोधन विधेयक को मंजूरी दी

नयी दिल्ली: लोकसभा ने विपक्षी दलों के विरोध के बीच शुक्रवार को ‘कराधान विधि (संशोधन) विधेयक, 2021’ को मंजूरी प्रदान कर दी जिसमें भारतीय परिसंपत्तियों के अप्रत्यक्ष हस्तांतरण पर कर लगाने के लिए पिछली तिथि से लागू कर कानून, 2012 के जरिये की गयी मांगों को वापस लिया जाएगा।

इसके तहत केयर्न एनर्जी और वोडाफोन जैसी कंपनियों से पूर्व की तिथि से कर की मांग को वापस लिया जाएगा।

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने लोकसभा में विपक्षी सदस्यों के हंगामे के बीच ‘कराधान विधि (संशोधन) विधेयक, 2021’ को चर्चा एवं पारित होने के लिए पेश करते हुए कहा कि वर्ष 2012 में उच्चतम न्यायालय के एक आदेश के बाद संबंधित कानून में संशोधन किया गया जिससे पूर्व की तिथि से कर लगाया जा सकता था।

उन्होंने कहा कि भाजपा ने विपक्ष में रहते हुए इसक विरोध करते हुए कहा था कि यह प्रावधान कानून सम्मत नहीं है और निवेशकों की भावना के प्रतिकूल भी है।

वित्त मंत्री ने कहा कि नरेंद्र मोदी सरकार बनने के बाद उच्च स्तरीय समिति ने इस पर विचार किया।

उन्होंने कहा, ‘‘पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा था कि सैद्धांतिक रूप से हम इससे सहमत नहीं है। न्यायालय में कई मामले लंबित थे और इन मामलों के तार्किक परिणति तक पहुंचने के बाद यह विधेयक लाया गया। हमने जो वादा किया था, उसको पूरा करने के लिए हम संशोधन लाए हैं।’’

इसके बाद लोकसभा ने पेगासस एवं अन्य मुद्दों पर विपक्षी सदस्यों के विरोध के बीच ही ‘कराधान विधि (संशोधन) विधेयक, 2021’ को मंजूरी दे दी।

विधेयक के प्रावधानों के अनुसार, इसके तहत भारतीय परिसंपत्तियों के अप्रत्यक्ष हस्तांतरण पर कर लगाने के लिए पिछली तिथि से लागू कर कानून, 2012 का इस्तेमाल करके की गई मांगों को वापस लिया जाएगा।

विधेयक में कहा गया है, ‘‘इन मामलों में भुगतान की गई राशि को बिना किसी ब्याज के वापस करने का भी प्रस्ताव है।’’

इस विधेयक का सीधा असर ब्रिटेन की कंपनियों केयर्न एनर्जी और वोडाफोन समूह के साथ लंबे समय से चल रहे कर विवादों पर होगा।

भारत सरकार पिछली तिथि से लागू कर कानून के खिलाफ इन दोनों कंपनियों द्वारा किए गए मध्यस्थता मुकदमों में हार चुकी है।

विधेयक में कहा गया कि एक विदेशी कंपनी के शेयरों के अंतरण (भारतीय संपत्ति के अप्रत्यक्ष हस्तांतरण) के जरिए भारत में स्थित संपत्ति के हस्तांतरण की स्थिति में होने वाले लाभ पर कराधान का मुद्दा लंबी मुकदमेबाजी का विषय था।

उच्चतम न्यायालय ने 2012 में एक फैसला दिया था कि भारतीय संपत्ति के अप्रत्यक्ष हस्तांतरण से होने वाले लाभ कानून के मौजूदा प्रावधानों के तहत कर योग्य नहीं हैं।

इसके बाद सरकार ने वित्त अधिनियम, 2012 द्वारा आयकर अधिनियम, 1961 के प्रावधानों को पिछली तिथि से संशोधित किया, ताकि यह स्पष्ट किया जा सके कि एक विदेशी कंपनी के शेयरों की बिक्री से होने वाले लाभ पर भारत में कर लगेगा।

विधेयक के उद्देश्यों में कहा गया है, ‘‘इस कानून के अनुसार 17 मामलों में आयकर की मांग की गई थी। दो मामलों में उच्च न्यायालय द्वारा स्थगन के कारण आकलन लंबित हैं।’’

विधेयक में कहा गया, ‘‘वित्त अधिनियम, 2012 द्वारा किए गए उक्त स्पष्टीकरण संशोधनों ने पिछली तिथि से कराधान को लेकर हितधारकों की आलोचना को आमंत्रित किया। यह तर्क दिया जाता है कि पिछली तिथि से ऐसे संशोधन कर निश्चितता के सिद्धांत के खिलाफ हैं और एक आकर्षक गंतव्य के रूप में भारत की प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचाते हैं।’’

विधेयक में आगे कहा गया कि सरकार ने पिछले कुछ वर्षों के दौरान देश में निवेश के लिए सकारात्मक माहौल बनाने को लेकर वित्तीय और बुनियादी ढांचा क्षेत्र में कई बड़े सुधार किए हैं, लेकिन ‘‘पिछली तिथि से स्पष्टीकरण संशोधन और कुछ मामलों में इसके चलते की गई कर मांग को लेकर निवेशकों के बीच यह एक गंभीर मामला बना हुआ है।’’

कोविड-19 महामारी के बाद अर्थव्यवस्था में तेजी से सुधार और रोजगार को बढ़ावा देने में विदेशी निवेश की महत्वपूर्ण भूमिका है।

विधेयक में कहा गया है कि यदि लेनदेन 28 मई 2012 से पहले किया गया है तो भारतीय संपत्ति के किसी भी अप्रत्यक्ष हस्तांतरण के लिए पिछली तिथि से कराधान की कोई भी मांग भविष्य में नहीं की जाएगी।

इन मामलों में भुगतान की गई राशि को बिना किसी ब्याज के वापस करने का भी प्रस्ताव किया गया है और इस संबंध में सभी लंबित मुकदमों को वापस ले लिया जाएगा, हालांकि लागत, हर्जाना, ब्याज आदि के लिए कोई दावा दायर नहीं किया जा सकेगा।

lok sabha
Taxation Laws Amendment Bill

Related Stories

भारत में संसदीय लोकतंत्र का लगातार पतन

सात बिंदुओं से जानिए ‘द क्रिमिनल प्रोसीजर आइडेंटिफिकेशन बिल’ का क्यों हो रहा है विरोध?

सोनिया गांधी ने मनरेगा बजट में ‘कटौती’ का विषय लोकसभा में उठाया

आपराधिक प्रक्रिया (पहचान) विधेयक, 2022 के रहस्य को समझिये

संसद अपडेट: लोकसभा में मतविभाजन के जरिये ‘दंड प्रक्रिया (पहचान) विधेयक’ पेश, राज्यसभा में उठा महंगाई का मुद्दा

दिल्ली के तीन नगर निगमों का एकीकरण संबंधी विधेयक लोकसभा में पेश

अखिलेश यादव ने लोकसभा की सदस्यता से इस्तीफा दिया

आम बजट में शामिल होकर रेलवे क्या उपेक्षा का शिकार हो गया ?

क्या अब लोकसभा उपाध्यक्ष का चुनाव भी अदालत के आदेश से ही होगा?

क्या कुछ ख़ास है न्यायाधिकरण सुधार विधयेक, 2021 में?


बाकी खबरें

  • उपेंद्र स्वामी
    दुनिया भर की: गर्मी व सूखे से मचेगा हाहाकार
    29 Apr 2022
    जलवायु परिवर्तन के कारण दुनिया के कई इलाके इस समय भीषण सूखे की चपेट में हैं। सूखे के कारण लोगों के पलायन में 200 फीसदी वृद्धि होने का अनुमान है।
  • भाषा
    दिल्ली दंगा : अदालत ने ख़ालिद की ज़मानत पर सुनवाई टाली, इमाम की याचिका पर पुलिस का रुख़ पूछा
    29 Apr 2022
    दिल्ली उच्च न्यायालय ने देशद्रोह के कानून की संवैधानिक वैधता पर उच्चतम न्यायालय के समक्ष आगामी सुनवाई के मद्देनजर सुनवाई टाल दी और इसी मामले में शरजील इमाम की जमानत अर्जी पर दिल्ली पुलिस का रुख पूछा।
  • विजय विनीत
    इफ़्तार को मुद्दा बनाने वाले बीएचयू को क्यों बनाना चाहते हैं सांप्रदायिकता की फैक्ट्री?
    29 Apr 2022
    "बवाल उस समय नहीं मचा जब बीएचयू के कुलपति ने परिसर स्थित विश्वनाथ मंदिर में दर्शन-पूजन और अनुष्ठान किया। उस समय उन पर हिन्दूवाद के आरोप चस्पा नहीं हुए। आज वो सामाजिक समरसता के लिए आयोजित इफ़्तार…
  • अब्दुल अलीम जाफ़री
    उत्तर प्रदेश: बुद्धिजीवियों का आरोप राज्य में धार्मिक स्थलों से लाउडस्पीकर हटाने का फ़ैसला मुसलमानों पर हमला है
    29 Apr 2022
    राजनीतिक पर्यवेक्षकों का कहना है कि भाजपा के नेतृत्व वाली सरकारों द्वारा धार्मिक उत्सवों का राजनीतिकरण देश के सामाजिक ताने-बाने को छिन्न-भिन्न कर देगा।
  • कुमुदिनी पति
    नई शिक्षा नीति से सधेगा काॅरपोरेट हित
    29 Apr 2022
    दरअसल शिक्षा के क्षेत्र में जिस तरह से सरकार द्वारा बिना संसद में बहस कराए ताबड़तोड़ काॅरपोरेटाइज़ेशन और निजीकरण किया जा रहा है, उससे पूरे शैक्षणिक जगत में असंतोष व्याप्त है।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License