लंदन बस नेटवर्क के एक बस ऑपरेटर आरएटीपी में कार्यरत करीब 2,200 बस ड्राइवरों ने इस सप्ताह काम को लेकर बदलते नियमों और शर्तों के विरोध में हड़ताल किया। पहले चरण का हड़ताल सोमवार 22 फरवरी से बुधवार 24 फरवरी तक चली। साथ आरएटीपी की तीनों सहायक ऑपरेटर- लंदन यूनाइटेड, लंदन सॉवरेन और क्वालिटी लाइन ने अगले सप्ताह काम रोकने की भी योजना बनाई है। इस हड़ताल का आह्वान यूनाइट यूनियन ने किया था।
यूनाइट ने फ्रांस के स्वामित्व वाली आरएटीपी पर आरोप लगाया है कि वह भुगतान में कटौती करने के प्रयास में इस महामारी का इस्तेमाल कर रही है जिससे इसके कुछ ड्राइवर को एक साल में 2,500 पाउंड (3039.57 डॉलर) तक का नुकसान हो सकता है।
रिपोर्ट के अनुसार दक्षिण और पश्चिम लंदन में सेवाएं देने वाले लंदन यूनाइटेड के कर्मचारी 22 से 24 फरवरी तक हड़ताल पर रहे। सुर्रे के इप्सम के डिपो स्थित क्वालिटी लाइन के कर्मचारियों ने 22 और 23 फरवरी को हड़ताल किया। उत्तर पश्चिम लंदन में संचालित लंदन सॉवरेन के ड्राइवरों ने 22 फरवरी को हड़ताल किया और वे 3 मार्च को भी हड़ताल करेंगे।
आरएटीपी के यूनाइट रीजनल ऑफिसर मिशेल ब्रेवबॉय ने कहा कि “आरएटीपी में हड़ताल से दक्षिण, पश्चिम और उत्तरी लंदन में सेवाओं पर गंभीर असर पड़ेगा। आरएटीपी मुख्य कर्मचारियों के नियमों और शर्तों पर हमला करने के लिए एक सुविधानुसार इस महामारी का इस्तेमाल हर कीमत पर करती रही है। यदि यह लागू हो जाता है तो लंदन में ड्राइवरों को एक साल में 2,500 पाउंड खोना होगा वह भी ऐसे समय में जब राजधानी में रहने सहने का खर्च बढ़ रहा है।”
मिशेल ब्रेवबॉय ने आगे कहा, “ये अस्थायी परिवर्तन नहीं हैं, लेकिन स्थायी है जिससे सदस्यों को काफी वित्तीय नुकसान होगा। जीरो कन्ट्रैक्ट आवर्स के विवाद को भी हल नहीं किया गया है।”
भुगतान में कटौती लंदन में बस ड्राइवरों के लिए दोहरा झटका है क्योंकि वे पहले से ही महामारी के कारण संकट में हैं। पिछले साल अप्रैल में यूनाइट सहित कई यूनियनों ने विशेषकर लंदन में बस ड्राइवरों में COVID-19 के बढ़ते मामलों के मद्देनजर परिवहन कर्मचारियों के लिए सुरक्षा उपायों को बढ़ाने की मांग की थी।