NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
फिल्में
रंगमंच
भारत
राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता अभिनेत्री सुरेखा सीकरी नहीं रहीं
सीकरी ने थिएटर, फिल्म से लेकर टेलीविजन तक सभी मंचों पर अपने शानदार अभिनय की छाप छोड़ी। उन्होंने ‘तमस’, ‘मम्मो’, ‘सलीम लंगड़े पे मत रो’, ‘ज़ुबेदा’, ‘बधाई हो’ जैसी फिल्में की और धारावाहिक ‘बालिका वधू’ में भी नजर आईं। सीकरी आखिरी बार 2020 में ‘नेटफ्लिक्स’ की फिल्म ‘घोस्ट स्टोरीज़’ में नजर आई थीं।
भाषा
16 Jul 2021
Surekha Sikri

मुंबई: राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता अभिनेत्री सुरेखा सीकरी का निधन शुक्रवार सुबह हृदय गति रुकने से हो गया। वह 75 साल की थीं।

मीडिया से साझा किए गए एक बयान में अदाकारा के एजेंट विवेक सिधवानी ने बताया कि दूसरे मस्तिष्काघात के बाद उन्हें स्वास्थ्य संबंधी बहुत परेशानियां हो रही थीं।

सिधवानी ने कहा, ‘‘ तीन बार राष्ट्रीय पुरस्कार जीतने वाली अभिनेत्री सुरेखा सीकरी का निधन आज सुबह हृदय गति रुकने से हो गया। वह 75 साल की थीं। दूसरे मस्तिष्काघात के बाद से उन्हें स्वास्थ्य संबंधी बहुत परेशानियां हो रही थीं। आखिरी समय में उनका परिवार और उनकी देखभाल करने वाले उनके पास थे। परिवार इस समय निजता की मांग करता है। ओम साईं राम।’’

सीकरी को पिछले साल सितम्बर में मस्तिष्काघात हुआ था और वह कुछ दिन तक अस्पताल में भर्ती रही थीं।

सीकरी ने थिएटर, फिल्म से लेकर टेलीविजन तक सभी मंचों पर अपने शानदार अभिनय की छाप छोड़ी। उन्होंने ‘तमस’, ‘मम्मो’, ‘सलीम लंगड़े पे मत रो’, ‘ज़ुबेदा’, ‘बधाई हो’ जैसी फिल्में की और धारावाहिक ‘बालिका वधू’ में भी नजर आईं। सीकरी आखिरी बार 2020 में ‘नेटफ्लिक्स’ की फिल्म ‘घोस्ट स्टोरीज़’ में नजर आई थीं।

दिल्ली में जन्मी अदाकारा ने अपना बचपन उत्तराखंड के कुमाऊं क्षेत्र की पहाड़ियों में गुजारा। उन्होंने उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) से अपनी स्नातक की पढ़ाई की और फिर 1968 में राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय (एनएसडी) में दाखिला लिया।

1971 में एनएसडी से पढ़ाई पूरी करने के बाद, सीकरी ने थिएटर में काम करना जारी रखा और एक दशक से अधिक समय तक ‘एनएसडी रिपर्टरी कम्पनी’ से जुड़ी रहीं। वहां, उन्होंने ‘संध्या छाया’, ‘तुगलक’ और ‘आधे अधूरे’ जैसे कई मशहूर नाटक किए। इसके बाद सीकरी ने मुंबई को रुख किया और 1978 में ‘किस्सा कुर्सी का’ से अपने फिल्मी करियर की शुरुआत की।

1986 में आई फिल्म ‘तमस’ में उनकी अदाकारी के लिए उन्हें अपने करियर का पहला राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार मिला। 1989 में उन्हें ‘संगीत नाटक अकादमी पुरस्कार’ से भी सम्मानित किया गया। इसके बाद 1994 में आई फिल्म ‘मम्मो’ के लिए भी उन्हें राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार मिला।

अदाकारा ने टेलीविजन पर भी अपनी अदाकरी का लौहा मनवाया उन्होंने ‘सांझा चूल्हा’, ‘कभी कभी’, ‘जस्ट मोहब्बत’, ‘सीआईडी’, ‘बनेगी अपनी बात’ जैसे कई धारावाहिक किए, लेकिन ‘बालिका वधू’ में निभाए उनके ‘दादी सा’ के किरदार को काफी लोकप्रियता मिली।

इसके साथ-साथ वह लगातार फिल्में भी करती रहीं और 2018 में आई फिल्म ‘बधाई हो’ के लिए उन्हें तीसरी बार राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार से सम्मानित किया गया।

सीकरी ने हेमंत रेगे से शादी थी। उनके परिवार में अब उनका बेटा राहुल सीकरी है।

Surekha Sikri
Surekha Sikri passes away

Related Stories

स्मृति शेष: सुरेखा सीकरी उर्फ़ दादी मां यानी समानांतर सिनेमा के मज़बूत स्तंभ का ढहना


बाकी खबरें

  • bhasha singh
    न्यूज़क्लिक टीम
    खोज ख़बर : मस्जिद दर मस्जिद भगवान की खोज नहीं, नफ़रत है एजेंडा, हैदराबाद फ़र्ज़ी एनकाउंटर के बड़े सवाल
    24 May 2022
    खोज ख़बर में वरिष्ठ पत्रकार भाषा सिंह ने एक के बाद एक मस्जिद में भगवान की खोज के नफ़रती एजेंडे को बेनक़ाब करते हुए सरकारों से पूछा कि क्या उपलब्धियों के नाम पर मुसलमानों के ख़िलाफ उठाए गये कदमों को…
  • abhisar
    न्यूज़क्लिक टीम
    ज्ञानव्यापी- क़ुतुब में उलझा भारत कब राह पर आएगा ?
    24 May 2022
    न्यूज़चक्र में आज वरिष्ठ पत्रकार अभिसार शर्मा बात कर रहे हैं कि सत्ता पक्ष आखिर क्यों देश को उलझा रहा है ज्ञानवापी, क़ुतब मीनार, ताज महल जैसे मुद्दों में। महंगाई, बेरोजगारी जैसे मुद्दों की बात कब होगी…
  • अब्दुल अलीम जाफ़री
    यूपी: भारी नाराज़गी के बाद सरकार का कहना है कि राशन कार्ड सरेंडर करने का ‘कोई आदेश नहीं’ दिया गया
    24 May 2022
    विपक्ष का कहना है कि ऐसे समय में सत्यापन के नाम पर राशन कार्ड रद्द किये जा रहे हैं जब महामारी का समय अधिकांश लोगों के लिए काफी मुश्किलों भरे रहे हैं।
  • सोनिया यादव
    देश में लापता होते हज़ारों बच्चे, लड़कियों की संख्या लड़कों की तुलना में 5 गुना तक अधिक: रिपोर्ट
    24 May 2022
    ये उन लापता बच्चों की जानकारी है जो रिपोर्ट हो पाई हैं। ज़्यादातर मामलों को तो पुलिस मानती ही नहीं, उनके मामले दर्ज करना और उनकी जाँच करना तो दूर की बात है। कुल मिलाकर देखें तो जिन परिवारों के बच्चे…
  • भाषा
    ज्ञानवापी मामला : मुकदमे की पोषणीयता पर सुनवाई के लिए 26 मई की तारीख नियत
    24 May 2022
    मुकदमा चलाने लायक है या नहीं, इस पर अदालत 26 मई को सुनवाई करेगी। 
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License