NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
दुनिया भर के प्रगतिशील तबक़ेने पश्चिमी सहारा में मोरक्को के हमले का विरोध किया
मोरक्को की सेना ने विवादित पश्चिमी सहारा क्षेत्र में तीन दशक पुराने संघर्ष विराम का उल्लंघन करते हुए 13 नवंबर को सहारा के अल-गुएरगुएराट गांव पर हमला किया।
पीपल्स डिस्पैच
17 Nov 2020
Venezuela

दुनिया भर के प्रगतिशील वर्गों ने 13 नवंबर को मोरक्को के हमले और तीन दशक लंबे संघर्ष विराम समझौते को तोड़ने को लेकर पश्चिमी सहारा के लोगों के साथ एकजुटता व्यक्त की है। इन सभी संगठनों ने मोरक्को के हमले की निंदा की है और इस मामले को हल करने के लिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय से हस्तक्षेप करने का आह्वान किया है।

सोमवार 16 नवंबर को वेनेजुएला के सामाजिक संगठन राजधानी काराकास के केंद्र में सहारा के लोगों और उनके मसलों को लेकर एकजुटता व्यक्त करने के लिए इकट्ठा हुए और मोरक्को के हमले की निंदा की। इन प्रदर्शनकारियों ने मांग की कि संयुक्त राष्ट्र को इस क्षेत्र में अधिक स्पष्ट तरीके से हस्तक्षेप करना चाहिए।

वर्मोंट में अमेरिकी संगठन ग्रेस इनिशिएटिव ग्लोबल ने अल-गुएरगुएराट में असैन्यीकृत क्षेत्र में मोरक्को के हमले की निंदा की और अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से आग्रह किया कि वे पश्चिमी सहारा में इस क्षेत्र के लोगों के आत्मनिर्णय के अधिकार की रक्षा करते हुए इस संघर्ष को हल करने के अपने प्रयासों को फिर से शुरू करें।

शनिवार 13 नवंबर को सहारा के लोगों के साथ कैनारियन एसोसिएशन ऑफ सॉलिडेरिटी ने ग्रैन कैनरिया में मोरक्को के वाणिज्य दूतावास के सामने स्पेन के कैनरी द्वीप में प्रदर्शन के लिए आह्वान किया। उन्होंने सहारा के लोगों के ख़िलाफ़ मोरक्को की सेना के हमले का विरोध किया। कैडर्स ऑफ कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ कैनेरी (पीसीपीसी) ने भी प्रदर्शन में भाग लिया और सहारा के लोगों के साथ एकजुटता व्यक्त की।

मोरक्को की सेना ने शनिवार को आंशिक रूप से मान्यता प्राप्त सहारवी अरब डेमोक्रेटिक रिपब्लिक (एसएडीआर)में गुएरगुएराट गांव में उस समय हमला किया जब स्थानीय लोग दशकों से मोरक्को के क़ब्ज़े के ख़िलाफ़ प्रदर्शन कर रहे थे। एसएडीआर अधिकारियों ने मोरक्को के हमले की निंदा की और अगले दिन मोरक्को के साथ युद्धविराम समझौते के लिए अपने प्रतिबद्धता की समाप्ति की घोषणा की। उन्होंने आरोप लगाया कि मोरक्को ने 1991 से विवादित पश्चिमी सहारा क्षेत्र में तीन दशक पुराने युद्धविराम का उल्लंघन किया है।

एसएडीआर अफ्रीका के पश्चिमी तट पर एक आंशिक रूप से मान्यता प्राप्त राज्य है और पश्चिमी सहारा का एक पूर्ववर्ती स्पेनिश कॉलोनी था। वर्ष 1975 में इस क्षेत्र से स्पेन के हटने के बाद पोलिसारियो फ्रंट कहे जाने वाले सहारवी लिब्रेशन मूवमेंट ने वर्ष 1976 में एसएडीआर के सृजन की घोषणा की। इस क्षेत्र का पश्चिमी हिस्सा वर्तमान में मोरक्को के क्षेत्रीय नियंत्रण में है। पश्चिमी सहारा के भीतर के खंड पोलिसारियो फ्रंट के नेतृत्व में इस क्षेत्र से मोरक्को के क़ब्ज़े को समाप्त करने के लिए लड़ रहे हैं।

Venezuela
Western Sahara
Morocco
Saharvi Arab Democratic Republic
SADR
africa

Related Stories

क्यूबाई गुटनिरपेक्षता: शांति और समाजवाद की विदेश नीति

वेनेज़ुएला ने ह्यूगो शावेज़ के ख़िलाफ़ असफल तख़्तापलट की 20वीं वर्षगांठ मनाई

दुनिया भर की: सोमालिया पर मानवीय संवेदनाओं की अकाल मौत

जलविद्युत बांध जलवायु संकट का हल नहीं होने के 10 कारण 

यूरोप धीरे धीरे एक और विश्व युद्ध की तरफ बढ़ रहा है

ज़ेलेंस्की ने बाइडेन के रूस पर युद्ध को बकवास बताया

अमेरिकी सरकार के साथ बैठक के बाद मादुरो का विपक्ष के साथ बातचीत फिर से शुरू करने का ऐलान

2022 बीजिंग शीतकालीन ओलंपिक के ‘राजनयिक बहिष्कार’ के पीछे का पाखंड

बाइडेन का पहला साल : क्या कुछ बुनियादी अंतर आया?

इथियोपिया : फिर सशस्त्र संघर्ष, फिर महिलाएं सबसे आसान शिकार


बाकी खबरें

  • न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    छत्तीसगढ़ः 60 दिनों से हड़ताल कर रहे 15 हज़ार मनरेगा कर्मी इस्तीफ़ा देने को तैयार
    03 Jun 2022
    मनरेगा महासंघ के बैनर तले क़रीब 15 हज़ार मनरेगा कर्मी पिछले 60 दिनों से हड़ताल कर रहे हैं फिर भी सरकार उनकी मांग को सुन नहीं रही है।
  • ऋचा चिंतन
    वृद्धावस्था पेंशन: राशि में ठहराव की स्थिति एवं लैंगिक आधार पर भेद
    03 Jun 2022
    2007 से केंद्र सरकार की ओर से बुजुर्गों को प्रतिदिन के हिसाब से मात्र 7 रूपये से लेकर 16 रूपये दिए जा रहे हैं।
  • भाषा
    मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने चंपावत उपचुनाव में दर्ज की रिकार्ड जीत
    03 Jun 2022
    चंपावत जिला निर्वाचन कार्यालय से मिली जानकारी के अनुसार, मुख्यमंत्री को 13 चक्रों में हुई मतगणना में कुल 57,268 मत मिले और उनके खिलाफ चुनाव लड़ने वाल़ कांग्रेस समेत सभी प्रत्याशियों की जमानत जब्त हो…
  • अखिलेश अखिल
    मंडल राजनीति का तीसरा अवतार जाति आधारित गणना, कमंडल की राजनीति पर लग सकती है लगाम 
    03 Jun 2022
    बिहार सरकार की ओर से जाति आधारित जनगणना के एलान के बाद अब भाजपा भले बैकफुट पर दिख रही हो, लेकिन नीतीश का ये एलान उसकी कमंडल राजनीति पर लगाम का डर भी दर्शा रही है।
  • लाल बहादुर सिंह
    गैर-लोकतांत्रिक शिक्षानीति का बढ़ता विरोध: कर्नाटक के बुद्धिजीवियों ने रास्ता दिखाया
    03 Jun 2022
    मोदी सरकार पिछले 8 साल से भारतीय राज और समाज में जिन बड़े और ख़तरनाक बदलावों के रास्ते पर चल रही है, उसके आईने में ही NEP-2020 की बड़ी बड़ी घोषणाओं के पीछे छुपे सच को decode किया जाना चाहिए।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License