NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
आंदोलन
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
आर्थिक अधिकारों और राजनीतिक परिवर्तन की मांग करते हुए ट्यूनीशिया के लोगों ने संसद तक रैली निकाली
लोगों की आर्थिक समस्याओं से निपटने के लिए निरंतर सरकारों की विफलता के चलते 16 जनवरी से देश में विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं।
पीपल्स डिस्पैच
27 Jan 2021
ट्यूनीशिया

राजनीतिक व्यवस्था में बदलाव और सरकारी हिंसा का विरोध करते हुए ट्यूनिस में मंगलवार 26 जनवरी को हजारों लोगों ने ट्यूनीशिया की संसद तक मार्च किया। ट्यूनीशिया की पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को संसद तक पहुंचने से रोकने के लिए हिंसात्मक कार्रवाई की जिसमें कई लोग घायल हो गए।

हजारों की संख्या में ट्यूनीशियाई लोगों ने ट्युटिस में मौजूदा विरोध प्रदर्शनों के केंद्र एट्टाजेमेन से संसद तक मार्च निकाला। रैली के इस मार्ग में कई अन्य स्थानों पर और लोग इसमें शामिल हुए और इसे इस वर्ष अब तक का सबसे बड़ा विरोध प्रदर्शन बना दिया। इस रैली में कई सांसद भी शामिल हुए। हालांकि, इस मार्च में शामिल लोगों को संसद तक पहुंचने से रोकने के लिए पुलिस ने बैरिकेड लगा दिया और कार्रवाई की।

सोमवार को स्बितला में एक प्रदर्शनकारी की मौत के बाद मंगलवार के विरोध प्रदर्शन का आह्वान किया गया था। मृतक प्रदर्शनकारी की पहचान हैकल अल-रशदी के रूप में की गई। पहले हुए विरोध प्रदर्शन के दौरान पुलिस द्वारा दागे गए आंसू गैस के गोले से वह घायल हो गया था।

दशकों पुराने जैने एल आबिदिन बेन अली की सत्ता को उखाड़ फेंकने वाले साल 2011 के विद्रोह की 10 वीं वर्षगांठ के मौके पर ट्यूनीशियावासी इस महीने के मध्य से विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। ये विद्रोह उनकी बढ़ती आर्थिक चिंताओं और उनसे निपटने में लगातार सरकारों की विफलताओं के खिलाफ हुआ था। वे आम ट्यूनीशियाई लोगों के खिलाफ बढ़ती सरकारी हिंसा का भी विरोध कर रहे हैं।

ट्यूनीशिया एक अभूतपूर्व आर्थिक संकट से गुजर रहा है। पिछले साल कोरोनोवायरस के प्रकोप के कारण इसकी अर्थव्यवस्था लगभग 9 प्रतिशत तक घट गई। इस देश में बेरोजगारी दर और गरीबी बढ़ रही है। मौजूदा विरोध के केंद्र में युवा हैं जिनमें बेरोजगारी की दर 36 प्रतिशत है।

प्रधानमंत्री हिचमे मेचिची ने अशांति से निपटने के लिए एक नए कैबिनेट का प्रस्ताव दिया था। हालांकि, राष्ट्रपति कैस सैयद ने सोमवार को इस प्रस्ताव को खारिज कर दिया था। संसद में मंगलवार को मार्च के समय इस मुद्दे पर बहस चल रही थी। इसने बाद में मेचिची द्वारा प्रस्तावित एक नए मंत्रिमंडल को मंजूरी दी।

Tunisia
rally in tunisia
protests against govt tunisia

Related Stories

ट्यूनीशियाई राज्य समाचार एजेंसी टीएपी के विवादास्पद प्रमुख ने विरोध के बाद इस्तीफा दिया

आर्थिक गिरावट को लेकर ट्यूनीशिया में तीसरे दिन भी विरोध जारी, सैकड़ों लोग गिरफ़्तार

बढ़ते आर्थिक संकट और पुलिस की बर्बरता को लेकर ट्यूनीशिया में विरोध प्रदर्शन जारी

ट्यूनीशिया : जनता का बेरोज़गारी, पुलिस हिंसा के ख़िलाफ़ विरोध तेज़

ट्यूनीशिया में श्रमिकों ने लॉकडाउन के समय सरकार से मदद न मिलने पर प्रदर्शन किया


बाकी खबरें

  • मनोलो डी लॉस सैंटॉस
    क्यूबाई गुटनिरपेक्षता: शांति और समाजवाद की विदेश नीति
    03 Jun 2022
    क्यूबा में ‘गुट-निरपेक्षता’ का अर्थ कभी भी तटस्थता का नहीं रहा है और हमेशा से इसका आशय मानवता को विभाजित करने की कुचेष्टाओं के विरोध में खड़े होने को माना गया है।
  • न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    आर्य समाज द्वारा जारी विवाह प्रमाणपत्र क़ानूनी मान्य नहीं: सुप्रीम कोर्ट
    03 Jun 2022
    जस्टिस अजय रस्तोगी और बीवी नागरत्ना की पीठ ने फैसला सुनाते हुए कहा कि आर्यसमाज का काम और अधिकार क्षेत्र विवाह प्रमाणपत्र जारी करना नहीं है।
  • सोनिया यादव
    भारत में धार्मिक असहिष्णुता और पूजा-स्थलों पर हमले को लेकर अमेरिकी रिपोर्ट में फिर उठे सवाल
    03 Jun 2022
    दुनिया भर में धार्मिक स्वतंत्रता पर जारी अमेरिकी विदेश मंत्रालय की रिपोर्ट भारत के संदर्भ में चिंताजनक है। इसमें देश में हाल के दिनों में त्रिपुरा, राजस्थान और जम्मू-कश्मीर में मुस्लिमों के साथ हुई…
  • बी. सिवरामन
    भारत के निर्यात प्रतिबंध को लेकर चल रही राजनीति
    03 Jun 2022
    गेहूं और चीनी के निर्यात पर रोक ने अटकलों को जन्म दिया है कि चावल के निर्यात पर भी अंकुश लगाया जा सकता है।
  • अनीस ज़रगर
    कश्मीर: एक और लक्षित हत्या से बढ़ा पलायन, बदतर हुई स्थिति
    03 Jun 2022
    मई के बाद से कश्मीरी पंडितों को राहत पहुंचाने और उनके पुनर्वास के लिए  प्रधानमंत्री विशेष पैकेज के तहत घाटी में काम करने वाले कम से कम 165 कर्मचारी अपने परिवारों के साथ जा चुके हैं।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License