NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
भारत
राजनीति
यूपी: कुंवर सिंह निषाद ने समर्थकों के साथ भाजपा छोड़ने की घोषणा की
निषाद ने भाजपा छोड़ने की घोषणा करते हुए कहा, ‘‘केंद्र की मोदी सरकार में पिछड़े और दलितों का दमन हो रहा है।’’ उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र और राज्य सरकार पूंजीवाद और नौकरशाही की गिरफ्त में है।
न्यूज़क्लिक रिपोर्ट/भाषा
30 Jun 2021
यूपी: कुंवर सिंह निषाद ने समर्थकों के साथ भाजपा छोड़ने की घोषणा की

मथुरा : उत्तर प्रदेश में 2022 के विधानसभा चुनाव को देखते हुए गहमागहमी तेज़ हो गई है। सत्तारूढ़ भाजपा के भीतर घमासान तेज़ है और अब असंतोष पूरी तरह सतह पर आने लगा है। इसी कड़ी में भाजपा से नाराज, भारतीय जनता युवा मोर्चा (भाजयुमो) के पूर्व प्रदेश महामंत्री कुंवर सिंह निषाद ने यहां मंगलवार को सर्वदलीय निषाद कश्यप यूनियन की पंचायत में पार्टी छोड़ने की घोषणा की।

इस पंचायत में मथुरा, आगरा, फिरोजाबाद, मैनपुरी जिलों के निषाद, कश्यप और मल्लाह समुदायों के लोगों ने बड़ी संख्या में भाग लिया।

निषाद ने अपने समर्थकों के साथ भाजपा छोड़ने की घोषणा करते हुए कहा, ‘‘केंद्र की (प्रधानमंत्री नरेंद्र) मोदी (के नेतृत्व वाली) सरकार में पिछड़े और दलितों का दमन हो रहा है।’’ उन्होंने आरोप लगाया कि केंद्र और राज्य सरकार पूंजीवाद और नौकरशाही की गिरफ्त में है।

उन्होंने कहा कि योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश का मुख्यमंत्री बनने से पूर्व और बाद में भी निषाद समुदाय को अनुसूचित जाति में सम्मिलित कराने का वादा किया था, लेकिन अब वह अपने वादे से मुकर गए हैं।

राजनीति के जानकारों का कहना है कि भाजपा के भीतर घमासान और तेज़ होगा और आने वाले दिनों में कई नेता पार्टी से बगावत कर सकते हैं।

त्रिपुरा में विधायक वृषकेतु देबवर्मा ने पद से इस्तीफ़ा दिया

अगरतला: त्रिपुरा में इंडिजिनस पीपुल्स फ्रंट ऑफ त्रिपुरा (आईपीएफटी) के सिमना सीट से विधायक वृषकेतु देबवर्मा ने मंगलवार को विधानसभा अध्यक्ष रेबती मोहन दास को अपना इस्तीफा सौंप दिया। दास ने आईपीएफटी विधायक का त्यागपत्र प्राप्त होने की पुष्टि की है।

देबवर्मा ने अपने त्यागपत्र में कहा, 'कुछ निजी कारणों के चलते मैं विधायक के पद से इस्तीफा दे रहा हूं।'

आईपीएफटी के सूत्रों ने कहा कि देबवर्मा तिप्राहा इंडीजिनस प्रोग्रेसिव रीजनल अलायंस (टीआईपीआरए) में शामिल हो सकते हैं जिसने हाल ही में त्रिपुरा जनजातीय क्षेत्र स्वायत्त जिला परिषद चुनाव में 28 में से 18 सीटों पर जीत दर्ज की थी।

UttarPradesh
Kunwar Singh Nishad
UP ELections 2022
BJP
Yogi Adityanath

Related Stories

बदायूं : मुस्लिम युवक के टॉर्चर को लेकर यूपी पुलिस पर फिर उठे सवाल

भाजपा के इस्लामोफ़ोबिया ने भारत को कहां पहुंचा दिया?

कश्मीर में हिंसा का दौर: कुछ ज़रूरी सवाल

सम्राट पृथ्वीराज: संघ द्वारा इतिहास के साथ खिलवाड़ की एक और कोशिश

हैदराबाद : मर्सिडीज़ गैंगरेप को क्या राजनीतिक कारणों से दबाया जा रहा है?

ग्राउंड रिपोर्टः पीएम मोदी का ‘क्योटो’, जहां कब्रिस्तान में सिसक रहीं कई फटेहाल ज़िंदगियां

धारा 370 को हटाना : केंद्र की रणनीति हर बार उल्टी पड़ती रहती है

मोहन भागवत का बयान, कश्मीर में जारी हमले और आर्यन खान को क्लीनचिट

मंडल राजनीति का तीसरा अवतार जाति आधारित गणना, कमंडल की राजनीति पर लग सकती है लगाम 

बॉलीवुड को हथियार की तरह इस्तेमाल कर रही है बीजेपी !


बाकी खबरें

  • शारिब अहमद खान
    ईरानी नागरिक एक बार फिर सड़कों पर, आम ज़रूरत की वस्तुओं के दामों में अचानक 300% की वृद्धि
    28 May 2022
    ईरान एक बार फिर से आंदोलन की राह पर है, इस बार वजह सरकार द्वारा आम ज़रूरत की चीजों पर मिलने वाली सब्सिडी का खात्मा है। सब्सिडी खत्म होने के कारण रातों-रात कई वस्तुओं के दामों मे 300% से भी अधिक की…
  • डॉ. राजू पाण्डेय
    विचार: सांप्रदायिकता से संघर्ष को स्थगित रखना घातक
    28 May 2022
    हिंसा का अंत नहीं होता। घात-प्रतिघात, आक्रमण-प्रत्याक्रमण, अत्याचार-प्रतिशोध - यह सारे शब्द युग्म हिंसा को अंतहीन बना देते हैं। यह नाभिकीय विखंडन की चेन रिएक्शन की तरह होती है। सर्वनाश ही इसका अंत है।
  • सत्यम् तिवारी
    अजमेर : ख़्वाजा ग़रीब नवाज़ की दरगाह के मायने और उन्हें बदनाम करने की साज़िश
    27 May 2022
    दरगाह अजमेर शरीफ़ के नीचे मंदिर होने के दावे पर सलमान चिश्ती कहते हैं, "यह कोई भूल से उठाया क़दम नहीं है बल्कि एक साज़िश है जिससे कोई मसला बने और देश को नुकसान हो। दरगाह अजमेर शरीफ़ 'लिविंग हिस्ट्री' है…
  • अजय सिंह
    यासीन मलिक को उम्रक़ैद : कश्मीरियों का अलगाव और बढ़ेगा
    27 May 2022
    यासीन मलिक ऐसे कश्मीरी नेता हैं, जिनसे भारत के दो भूतपूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और मनमोहन सिंह मिलते रहे हैं और कश्मीर के मसले पर विचार-विमर्श करते रहे हैं। सवाल है, अगर यासीन मलिक इतने ही…
  • रवि शंकर दुबे
    प. बंगाल : अब राज्यपाल नहीं मुख्यमंत्री होंगे विश्वविद्यालयों के कुलपति
    27 May 2022
    प. बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बड़ा फ़ैसला लेते हुए राज्यपाल की शक्तियों को कम किया है। उन्होंने ऐलान किया कि अब विश्वविद्यालयों में राज्यपाल की जगह मुख्यमंत्री संभालेगा कुलपति पद का कार्यभार।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License