NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
अर्जेंटीनाः अभिजात्य वर्ग पर टैक्स लगाने वाले बिल पर सीनेट में होगी चर्चा
अर्जेंटीना के चैंबर ऑफ डेप्युटी ने उस बिल को पारित कर दिया जिसमें अभिजात्य वर्ग पर टैक्स लगाकर सार्वजनिक स्वास्थ्य और उत्पादक परियोजनाओं को वित्तपोषित करने के लिए 307 बिलियन पेसो को संग्रह करने का प्रावधान है।
पीपल्स डिस्पैच
20 Nov 2020
अर्जेंटीना

COVID-19 महामारी के चलते गहराए आर्थिक संकट के बीच अर्जेंटीना ने सबसे कमज़ोर सेक्टरों को राहत देने के लिए एक ऐतिहासिक कदम उठाया। बुधवार 18 नवंबर को चैंबर ऑफ डेप्युटी ने सत्तारूढ़ पार्टी गठबंधन फ्रेंटे डे टोडोस द्वारा प्रस्तावित लार्ज फॉर्च्यून्स बिल के सॉलिडरिटी एंड एक्स्ट्राऑर्डिनरी को मंजूरी दे दी।

बिल के पक्ष में 133 वोट पड़े जबकि 115 सदस्यों ने इसका विरोध किया और 2 सदस्यों ने वोट नहीं डाला। मंगलवार 24 नवंबर को सीनेट की बजट और वित्त समिति में इस पर चर्चा की जाएगी जहां आसानी से पारित होने की उम्मीद है क्योंकि 72 सीटों में से 41 सीटों के साथ फ्रेंटे डे टोडोस के पास स्पष्ट बहुमत है।

एक बार इस क़ानून पर हस्ताक्षर किए जाने के बाद सरकार उन लोगों पर कर लगाकर 300 बिलियन से अधिक पेसो का संग्रह करने में सक्षम हो जाएगी जिनके पास अर्जेंटीना के 200 मिलियन पेसोस की संपत्ति है। इस क़ानून का टैक्स बेस अर्जेंटीना के सबसे धनी करोड़पतियों में से लगभग दस हजार है जिनकी संख्या 0.02% है।

संग्रह किए गए धन को विभिन्न क्षेत्रों में उन क्षेत्रों और लोगों का सहयोग करने के लिए प्राथमिकता के साथ आवंटित किया जाएगा जो आर्थिक संकट से सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं। इसमें स्वास्थ्य आपूर्ति खरीदना, छोटे और मध्यम आकार के व्यवसायों को सब्सिडी और ऋण प्रदान करना, ग़रीब पड़ोसी के लिए बुनियादी ढांचा परियोजनाओं को पूरा करना और ऐसे पड़ोस के लोगों को काम पर रखना, वाईपीएफ (अर्जेंटीना की सरकारी ऊर्जा कंपनी) की उत्पादक क्षमता को मज़बूत करना और प्लान प्रोग्रेसर को वित्त देना जो युवाओं और कमज़ोर लोगों को उनकी पढ़ाई में सहयोग करने के लिए ऋण देता है।

इस बिल के चलते अर्जेंटीना के आर्थिक और व्यवसायिक अभिजात्य वर्गों में नाराज़गी है और कुछ लोगों ने तो मैक्रो बैंक के जॉर्ज ब्रिटो जैसे "राजकोषीय विद्रोह" की चेतावनी दी है। विशेष रूप से चैंबर ऑफ डेप्युटीज में दक्षिणपंथी गठबंधन टूगेदर फॉर चेंज (जुंटोस पोर एल कंबियो) ने इस बिल के विरोध में वोट किया। इस गठबंधन का नेतृत्व पहले पूर्व राष्ट्रपति मौरिसियो मैक्री ने किया था।

अर्जेंटीना पिछले 4 वर्षों से एक गंभीर आर्थिक संकट से जूझ रहा है। दक्षिणपंथी राष्ट्रपति मौरिसियो मैक्री के अधीन नवउदारवादी नीतियों को लागू किया गया जिसमें सार्वजनिक खर्च और सामाजिक कार्यक्रमों के साथ-साथ अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) से 45 बिलियन डॉलर के अत्यधिक विवादास्पद ऋण के चलते विदेशी ऋण के संचय में भारी कटौती देखी गई। मैक्री के सत्ता के अंत तक 40% आबादी ग़रीबी रेखा से नीचे रह रही थी और अर्जेंटीना का विदेशी ऋण 40% बढ़ गया था।

Alberto Fernández
COVID-19 in Argentina
Federico Fagioli
Frente de Todos
Frente Patria Grande
Mauricio Macri
Taxing wealth

Related Stories

अर्जेंटीना में भूख से निपटने में मदद करते सामुदायिक संगठन, उनकी हमदर्दी और एकजुटता

बोलिविया के तख़्तापलट में शस्त्र मुहैया कराने के मामले में अर्जेंटीना ने जांच शुरू की

अर्जेंटीना में गर्भपात वैध

आधिकारिक घोषणा के अनुसार मूवमेंट टुवर्ड्स सोशलिज्म ने बोलीविया में ऐतिहासिक जीत दर्ज की

ब्यूनस आयर्स प्रांतीय सरकार ने पुलिस और जेल अधिकारियों के लिए वेतन वृद्धि की घोषणा की

COVID-19 से कैसे निपट रहे हैं लातिन अमेरिकी और कैरिबियाई देश

अर्जेंटीना : सीनेट ने बाहरी क़र्ज़ को फिर से प्राप्त करने वाले क़ानून को मंज़ूरी दी

‘अलविदा मैक्री’: अर्जेंटीना से दक्षिणपंथी मैक्री शासन की विदाई


बाकी खबरें

  • hafte ki baat
    न्यूज़क्लिक टीम
    बीमार लालू फिर निशाने पर क्यों, दो दलित प्रोफेसरों पर हिन्दुत्व का कोप
    21 May 2022
    पूर्व रेलमंत्री लालू प्रसाद और उनके परिवार के दर्जन भर से अधिक ठिकानों पर सीबीआई छापेमारी का राजनीतिक निहितार्थ क्य है? दिल्ली के दो लोगों ने अपनी धार्मिक भावना को ठेस लगने की शिकायत की और दिल्ली…
  • न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    ज्ञानवापी पर फेसबुक पर टिप्पणी के मामले में डीयू के एसोसिएट प्रोफेसर रतन लाल को ज़मानत मिली
    21 May 2022
    अदालत ने लाल को 50,000 रुपये के निजी मुचलके और इतनी ही जमानत राशि जमा करने पर राहत दी।
  • सोनिया यादव
    यूपी: बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्था के बीच करोड़ों की दवाएं बेकार, कौन है ज़िम्मेदार?
    21 May 2022
    प्रदेश के उप मुख्यमंत्री और स्वास्थ्य मंत्री ब्रजेश पाठक खुद औचक निरीक्षण कर राज्य की चिकित्सा व्यवस्था की पोल खोल रहे हैं। हाल ही में मंत्री जी एक सरकारी दवा गोदाम पहुंचें, जहां उन्होंने 16.40 करोड़…
  • असद रिज़वी
    उत्तर प्रदेश राज्यसभा चुनाव का समीकरण
    21 May 2022
    भारत निर्वाचन आयोग राज्यसभा सीटों के लिए द्विवार्षिक चुनाव के कार्यक्रम की घोषणा  करते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश समेत 15 राज्यों की 57 राज्यसभा सीटों के लिए 10 जून को मतदान होना है। मतदान 10 जून को…
  • सुभाष गाताडे
    अलविदा शहीद ए आज़म भगतसिंह! स्वागत डॉ हेडगेवार !
    21 May 2022
    ‘धार्मिक अंधविश्वास और कट्टरपन हमारी प्रगति में बहुत बड़े बाधक हैं। वे हमारे रास्ते के रोड़े साबित हुए हैं। और उनसे हमें हर हाल में छुटकारा पा लेना चाहिए। जो चीज़ आजाद विचारों को बर्दाश्त नहीं कर सकती,…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License