NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
हाईकोर्ट ने शाह फ़ैसल की याचिका पर केंद्र से जवाब मांगा
फ़ैसल के वकील ने कहा कि वह नहीं जानते कि लुकआउट सर्कुलर (एलओसी) किस आधार पर जारी किया गया है। वकील ने कहा कि एलओसी केवल उन्हें यात्रा करने से रोक सकता है, लेकिन यह उनकी गिरफ्तारी और हिरासत को उचित नहीं ठहरा सकता तथा यह केंद्र की ‘‘दुर्भावना’’ को दर्शाता है।
भाषा
28 Aug 2019
हाईकोर्ट ने शाह फ़ैसल की याचिका पर केंद्र से जवाब मांगा
Image Credit : Times Now

दिल्ली उच्च न्यायालय ने प्रशासनिक सेवा छोड़कर राजनीति में आए शाह फ़ैसल की उस याचिका पर बुधवार को केंद्र से जवाब मांगा जिसमें उन्होंने अपने खिलाफ जारी लुकआउट सर्कुलर की प्रति मांगी है। वह फिलहाल श्रीनगर में हिरासत में हैं। न्यायमूर्ति मनमोहन और न्यायमूर्ति संगीता ढींगरा की पीठ ने केंद्र से दो सितंबर तक जवाब देने को कहा और मामले को फैसल की ओर से अपनी हिरासत के खिलाफ दायर बंदी प्रत्यक्षीकरण याचिका के साथ तीन सितंबर को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध कर दिया। फ़ैसल के वकील ने कहा कि वह नहीं जानते कि लुकआउट सर्कुलर (एलओसी) किस आधार पर जारी किया गया है। वकील ने कहा कि एलओसी केवल उन्हें यात्रा करने से रोक सकता है, लेकिन यह उनकी गिरफ्तारी और हिरासत को उचित नहीं ठहरा सकता तथा यह केंद्र की ‘‘दुर्भावना’’ को दर्शाता है। पूर्व आईएएस अधिकारी ने अपनी याचिका में दावा किया कि जब उन्हें दिल्ली हवाईअड्डे पर जन सुरक्षा कानून (पीएसए) के तहत अवैध रूप से हिरासत में लिया गया तो उस समय वह उच्च शिक्षा अध्ययन के लिए अमेरिका स्थित हार्वर्ड यूनिवर्सिटी जा रहे थे।

Shah Faesal
Delhi High court
Central Government
Shah Faesal Case
Shah Faesal Detained
Delhi Airport

बाकी खबरें

  • मुकुल सरल
    मदर्स डे: प्यार का इज़हार भी ज़रूरी है
    08 May 2022
    कभी-कभी प्यार और सद्भावना को जताना भी चाहिए। अच्छा लगता है। जैसे मां-बाप हमें जीने की दुआ हर दिन हर पल देते हैं, लेकिन हमारे जन्मदिन पर अतिरिक्त प्यार और दुआएं मिलती हैं। तो यह प्रदर्शन भी बुरा नहीं।
  • Aap
    अनिल जैन
    ख़बरों के आगे-पीछे: केजरीवाल के ‘गुजरात प्लान’ से लेकर रिजर्व बैंक तक
    08 May 2022
    हर हफ़्ते की ज़रूरी ख़बरों को लेकर एक बार फिर हाज़िर हैं लेखक अनिल जैन
  • डॉ. द्रोण कुमार शर्मा
    तिरछी नज़र: हम सहनशील तो हैं, पर इतने भी नहीं
    08 May 2022
    हम ग़रीबी, बेरोज़गारी को लेकर भी सहनशील हैं। महंगाई को लेकर सहनशील हो गए हैं...लेकिन दलित-बहुजन को लेकर....अज़ान को लेकर...न भई न...
  • बोअवेंटुरा डे सौसा सैंटोस
    यूक्रेन-रूस युद्ध के ख़ात्मे के लिए, क्यों आह्वान नहीं करता यूरोप?
    08 May 2022
    रूस जो कि यूरोप का हिस्सा है, यूरोप के लिए तब तक खतरा नहीं बन सकता है जब तक कि यूरोप खुद को विशाल अमेरिकी सैन्य अड्डे के तौर पर तब्दील न कर ले। इसलिए, नाटो का विस्तार असल में यूरोप के सामने एक…
  • जितेन्द्र कुमार
    सवर्णों के साथ मिलकर मलाई खाने की चाहत बहुजनों की राजनीति को खत्म कर देगी
    08 May 2022
    सामाजिक न्याय चाहने वाली ताक़तों की समस्या यह भी है कि वे अपना सारा काम उन्हीं यथास्थितिवादियों के सहारे करना चाहती हैं जो उन्हें नेस्तनाबूद कर देना चाहते हैं।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License