NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
उत्पीड़न
भारत
राजनीति
डेढ़ फ़ीट ऊंचे नल से फांसी लगाई 21 साल के मुस्लिम युवक ने : उत्तर प्रदेश पुलिस का दावा
उत्तर प्रदेश के कासगंज में पुलिस हिरासत में 21 साल के अल्ताफ़ की मौत हो गई। पुलिस का कहना है कि अल्ताफ़ ने शौचालय के नल से लटक कर फांसी लगा ली। मृतक के पिता का सीधा आरोप है कि उनके बेटे की हत्या हुई है जिसमें पुलिस का भी हाथ है।
न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
11 Nov 2021
21-year-old Muslim youth hanged himself from one and a half feet high tap

9 नवंबर की शाम को उत्तर प्रदेश के कासगंज में 21 साल के मुस्लिम युवक अल्ताफ़ की पुलिस हिरासत में मौत हो गई। उत्तर प्रदेश पुलिस ने दावा किया कि अल्ताफ़ ने हवालात के शौचालय के नल से लटक कर फांसी लगा ली है। इसे ठीक से समझिये, उत्तर प्रदेश पुलिस ने बयान दिया है कि 21 साल के 5 फ़ीट के ऊपर के कद वाले अल्ताफ़ ने अपनी जैकेट के फीते से एक-डेढ़ फ़ीट ऊपर लगे प्लास्टिक के नल पर लटक कर जान दे दी।

अपनी कार्रवाइयों से लगातार विवाद में रहने वाली उत्तर प्रदेश पुलिस की इस मामले पर भी काफ़ी आलोचना हुई है और इंस्पेक्टर सहित 5 पुलिस वालों को निलंबित कर दिया गया। विपक्षी दलों, मानवाधिकार संगठनों और आम लोगों ने पुलिस पर सवाल करते हुए कहा कि क्या अल्ताफ़ 2 फ़ीट का था जो उसने नल से फांसी लगा ली?

कासगंज एसपी बोत्रे रोहन ने बताया कि, किशोरी को बहला-फुसलाकर ले जाने के मामले में नामजद अल्ताफ को गिरफ्तार किया गया था। अल्ताफ ने शौचालय में अपनी जैकेट के हुड की डोरी से टंकी के पाइप पर लटक कर फांसी लगा ली. उसको सीएससी ले जाया गया, जहां मृत घोषित कर दिया गया। मामले पर पुलिस इंस्पेक्टर वीरेंद्र सिंह इंदौरिया, दरोगा चंद्रेश गौतम, विकास कुमार, हेड मुहर्रिर घनेंद्र और सिपाही सौरव सोलंकी को निलंबित कर दिया गया है।

वहीं अल्ताफ़ के पिता चाँद मियां ने मीडिया से बात करते हुए बताया है कि 8 नवम्बर की शाम को पुलिस ने आ कर कहा कि अल्ताफ़ पर एक नाबालिग लड़की को भगाने का आरोप है, जिसके बाद चाँद मियां ने ख़ुद अपने बेटे को पुलिस के हवाले किया मगर 24 घंटे बाद उन्हें सिर्फ़ अपने बेटे की मौत की ख़बर मिली।

अल्ताफ़ के पिता ने दावा किया है कि 1 दिन पहले लड़की के भाई ने अल्ताफ़ को जान से मारने की धमकी दी थी। चाँद मियां का सीधा-सीधा आरोप है कि लड़की के परिवार ने पुलिस के साथ मिल कर उनके बेटे अल्ताफ़ की हत्या की है।

हालांकि उत्तर प्रदेश पुलिस ने अल्ताफ़ की लाश की ऑटोप्सी भी करवा ली और उसको सुपुर्द ए ख़ाक भी कर दिया है। इसके साथ ही एक पत्र जारी कर दिया है जिसपर चाँद मियां के अंगूठे का निशान है और उस पर लिखा है कि उनके बेटे ने अवसाद में आ कर ख़ुदकुशी की है और उन्हें पुलिस से कोई शिकायत नहीं है।

चाँद मियां ने बताया है कि पुलिस ने उनसे कोरे काग़ज़ पर अंगूठे के निशान लगवाए थे। कासगंज में अल्ताफ़ अहमद  की हिरासत में मौत का मामले अब सियासी तूल पकड़ रहा  है।

कांग्रेस यूपी प्रभारी प्रियंका गांधी ने पुलिस हिरासत में युवक की मौत पर योगी सरकार पर हमला बोला। प्रियंका ने ट्वीट कर कहा कि, “कासगंज में अल्ताफ, आगरा में अरुण वाल्मीकि, सुल्तानपुर में राजेश कोरी की पुलिस कस्टडी में मौत जैसी घटनाओं से साफ है कि रक्षक भक्षक बन चुके हैं। उप्र पुलिस हिरासत में मौत के मामले में देश में सबसे ऊपर है। बीजेपी राज में कानून व्यवस्था पूरी तरह चौपट है। यहां कोई भी सुरक्षित नहीं है।" वहीं पहले कहा जा रहा है कि प्रियंका गांधी आज उत्तर प्रदेश के कासगंज का दौरा कर सकती हैं।  हालाँकि इस बीच मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक़ प्रियंका गांधी का उत्तर प्रदेश के कासगंज का दौरा रद्द हो गया है। अब प्रियंका की जगह सलमान खुर्शीद पीड़ित परिवार से मिलेंगे। 

कासगंज में अल्ताफ, आगरा में अरुण वाल्मीकि, सुल्तानपुर में राजेश कोरी की पुलिस कस्टडी में मौत जैसी घटनाओं से साफ है कि रक्षक भक्षक बन चुके हैं।

उप्र पुलिस हिरासत में मौत के मामले में देश में सबसे ऊपर है। भाजपा राज में कानून व्यवस्था पूरी तरह चौपट है। यहां कोई भी सुरक्षित नहीं है।

— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) November 10, 2021

राहुल गांधी ने भी ट्वीटर के जरिए योगी सरकार पर तंज कसते हुए कहा  कि, “क्या उत्तर प्रदेश में मानवाधिकार नाम की कोई चीज़ बची है।"

क्या उत्तर प्रदेश में मानवाधिकार नाम की कोई चीज़ बची है?

— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) November 10, 2021

वहीं समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव, एआईएमआईएम नेता असदुद्दीन ओवैसी ने इस मामले पर यूपी सरकार पर हमला किया।

अखिलेश यादव ने अपने ट्वीट में लिखा, “कासगंज में पूछताछ के लिए लाए गए युवक की थाने में मौत का मामला बेहद संदेहास्पद है। लापरवाही के नाम पर कुछ पुलिसवालों का निलंबन सिर्फ़ दिखावटी कार्रवाई है। इस मामले में इंसाफ़ व भाजपा के राज में पुलिस में विश्वास की पुनर्स्थापना के लिए न्यायिक जाँच होनी ही चाहिए।”

कासगंज में पूछताछ के लिए लाए गए युवक की थाने में मौत का मामला बेहद संदेहास्पद है। लापरवाही के नाम पर कुछ पुलिसवालों का निलंबन सिर्फ़ दिखावटी कार्रवाई है।

इस मामले में इंसाफ़ व भाजपा के राज में पुलिस में विश्वास की पुनर्स्थापना के लिए न्यायिक जाँच होनी ही चाहिए। #भाजपा_ख़त्म pic.twitter.com/sI2FT05Bv9

— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) November 10, 2021

वहीं समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव के निर्देश पर सपा नेताओं का एक प्रतिनिधि मंडल कासगंज आएगा।

ओवैसी ने मांग कि है कि आरोपी पुलिसकर्मियों की तुरंत गिरफ्तारी होनी चाहिए और अल्ताफ के परिवार को मुआवजा मिलना चाहिए। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि ये यूपी में पुलिस अत्याचार की महामारी है।  

#WeDemandJusticeForAltaaf. Cops should be arrested immediately & Altaf’s family must be compensated. There is an epidemic of police atrocities in UP https://t.co/RJWBOh79Ii

— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) November 10, 2021

यह पहली बार नहीं है जब उत्तर प्रदेश की कार्रवाई पर ऐसे सवाल उठ रहे हैं। इससे पहले गैंगस्टर विकास दुबे का कथित एनकाउंटर, व्यापारी मनीष गुप्ता की कथित तौर पर फिसलने से हुई मौत पर भी पुलिस सवालों के घेरे में रही है। इसके अलावा हाथरस में बच्ची के साथ हुए बलात्कार पर तो पुलिस अधीक्षक ने यह तक कह दिया था कि बलात्कार हुआ ही नहीं था, और आनन फ़ानन में दाह संस्कार भी करवा लिया गया था।

यह इत्तेफ़ाक़ भर नहीं है कि ऐसे मामले से विसारनाई और जय भीम जैसी दक्षिण भारतीय फ़िल्में याद आती हैं। जिसमें पुलिस हिंसा की शर्मनाक मगर दर्दनाक तस्वीर दिखाई गई है। दिखाया गया है कि कैसे पुलिस अल्पसंख्यकों को झूठा जुर्म कुबूलने पर मजबूर करती है। और अगर वह क़ुबूल न करें तो उन्हें ख़ुदकुशी से मार दिया जाता है।

दिलचस्प बात यह है कि आगरा के जगदीशपुरा थाने में 20 अक्टूबर को पुलिस हिरासत में अरुण नामक युवक की मौत हो गई थी, जिसे 17 अक्टूबर को माल खाने में से 25 लाख रुपए चोरी के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। और अब इस मामले की जांच कासगंज पुलिस को सौंपी गई थी। अब देखना है कि अल्ताफ़ की मौत की जांच कौन से ज़िले की पुलिस को सौंपी जाएगी?

(अन्य जानकारी मिलने पर ख़बर को अपडेट किया जाएगा)

UttarPradesh
UP police
Altaf
Kasganj

Related Stories

बदायूं : मुस्लिम युवक के टॉर्चर को लेकर यूपी पुलिस पर फिर उठे सवाल

ग्राउंड रिपोर्ट: चंदौली पुलिस की बर्बरता की शिकार निशा यादव की मौत का हिसाब मांग रहे जनवादी संगठन

चंदौली पहुंचे अखिलेश, बोले- निशा यादव का क़त्ल करने वाले ख़ाकी वालों पर कब चलेगा बुलडोज़र?

2023 विधानसभा चुनावों के मद्देनज़र तेज़ हुए सांप्रदायिक हमले, लाउडस्पीकर विवाद पर दिल्ली सरकार ने किए हाथ खड़े

चंदौली: कोतवाल पर युवती का क़त्ल कर सुसाइड केस बनाने का आरोप

प्रयागराज में फिर एक ही परिवार के पांच लोगों की नृशंस हत्या, दो साल की बच्ची को भी मौत के घाट उतारा

उत्तर प्रदेश: योगी के "रामराज्य" में पुलिस पर थाने में दलित औरतों और बच्चियों को निर्वस्त्र कर पीटेने का आरोप

यूपी से लेकर बिहार तक महिलाओं के शोषण-उत्पीड़न की एक सी कहानी

यूपी चुनाव: पूर्वी क्षेत्र में विकल्पों की तलाश में दलित

मीरगंज रेडलाइट एरियाः देह व्यापार में धकेली गईं 200 से ज़्यादा महिलाओं को आख़िर कैसे मिला इंसाफ़?


बाकी खबरें

  • श्याम मीरा सिंह
    यूक्रेन में फंसे बच्चों के नाम पर PM कर रहे चुनावी प्रचार, वरुण गांधी बोले- हर आपदा में ‘अवसर’ नहीं खोजना चाहिए
    28 Feb 2022
    एक तरफ़ प्रधानमंत्री चुनावी रैलियों में यूक्रेन में फंसे कुछ सौ बच्चों को रेस्क्यू करने के नाम पर वोट मांग रहे हैं। दूसरी तरफ़ यूक्रेन में अभी हज़ारों बच्चे फंसे हैं और सरकार से मदद की गुहार लगा रहे…
  • karnataka
    शुभम शर्मा
    हिजाब को गलत क्यों मानते हैं हिंदुत्व और पितृसत्ता? 
    28 Feb 2022
    यह विडम्बना ही है कि हिजाब का विरोध हिंदुत्ववादी ताकतों की ओर से होता है, जो खुद हर तरह की सामाजिक रूढ़ियों और संकीर्णता से चिपकी रहती हैं।
  • Chiraigaon
    विजय विनीत
    बनारस की जंग—चिरईगांव का रंज : चुनाव में कहां गुम हो गया किसानों-बाग़बानों की आय दोगुना करने का भाजपाई एजेंडा!
    28 Feb 2022
    उत्तर प्रदेश के बनारस में चिरईगांव के बाग़बानों का जो रंज पांच दशक पहले था, वही आज भी है। सिर्फ चुनाव के समय ही इनका हाल-चाल लेने नेता आते हैं या फिर आम-अमरूद से लकदक बगीचों में फल खाने। आमदनी दोगुना…
  • pop and putin
    एम. के. भद्रकुमार
    पोप, पुतिन और संकटग्रस्त यूक्रेन
    28 Feb 2022
    भू-राजनीति को लेकर फ़्रांसिस की दिलचस्पी, रूसी विदेश नीति के प्रति उनकी सहानुभूति और पश्चिम की उनकी आलोचना को देखते हुए रूसी दूतावास का उनका यह दौरा एक ग़ैरमामूली प्रतीक बन जाता है।
  • MANIPUR
    शशि शेखर
    मुद्दा: महिला सशक्तिकरण मॉडल की पोल खोलता मणिपुर विधानसभा चुनाव
    28 Feb 2022
    मणिपुर की महिलाएं अपने परिवार के सामाजिक-आर्थिक शक्ति की धुरी रही हैं। खेती-किसानी से ले कर अन्य आर्थिक गतिविधियों तक में वे अपने परिवार के पुरुष सदस्य से कहीं आगे नज़र आती हैं, लेकिन राजनीति में…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License