NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
पर्यावरण
भारत
हिमाचल प्रदेश: भूस्खलन स्थल से चार और शव बरामद, मृतक संख्या 14 हुई
किन्नौर के उपायुक्त आबिद हुसैन सादिक ने बताया कि  अभी तक 14 शव बरामद हो चुके हैं। बुधवार को 10 लोगों के शव मिले थे तथा 13 घायलों को बचा लिया गया था, जबकि कई अन्य के मलबे में दबे होने की आशंका है। हालांकि सही आंकड़ों का अभी तक पता नहीं चल पाया है। 
भाषा
12 Aug 2021
हिमाचल प्रदेश: भूस्खलन स्थल से चार और शव बरामद, मृतक संख्या 14 हुई

शिमला: हिमाचल प्रदेश के किन्नौर जिले में बुधवार को एक बस और अन्य वाहनों के भूस्खलन की चपेट में आने के बाद मलबे में फंसे लोगों की तलाश एवं बचाव के लिए अभियान बृहस्पतिवार सुबह पुन: शुरू हुआ और इस दौरान चार और शव बरामद हुए हैं। इस आपदा में मरने वालों की संख्या बढ़कर 14 हो गई है। अधिकारियों ने यह जानकारी दी।

राज्य आपदा प्रबंधन निदेशक सुदेश कुमार मोख्ता ने बताया कि कुछ वाहनों के साथ ही मलबे में हिमाचल सड़क परिवहन निगम (एचआरटीसी) की एक बस भी दब गई थी। उन्होंने बताया कि बस बुरी तरह क्षतिग्रस्त हालत में मिली है जबकि एक ‘बोलरो’ वाहन के अब भी मलबे में दबे होने की आशंका है।

निचार तहसील के निगुलसारी क्षेत्र के चौरा गांव के पास राष्ट्रीय राजमार्ग पांच पर बुधवार की दोपहर को भूस्खलन के बाद पहाड़ से गिरे पत्थरों की चपेट में हिमाचल सड़क परिवहन निगम (एचआरटीसी) की एक बस आ गई थी, जो रिकांग पियो से शिमला होते हुए हरिद्वार जा रही थी।

बस जहां क्षतिग्रस्त हुई थी उस स्थल पर मौजूद बचावकर्मियों का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है, जिसमें एक बचावकर्मी को यह कहते हुए सुना जा सकता है कि बस भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) की 17वीं बटालियन के जवानों को मिली थी। एक अन्य बचावकर्ता को यह कहते सुना गया कि अभियान को आगे बढ़ाने के लिए दस्ताने लाए जाने चाहिए।

किन्नौर के उपायुक्त आबिद हुसैन सादिक ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि बचाव कार्य शुरू करने के बाद भूस्खलन स्थल से चार और शव बरामद हुए हैं। उन्होंने बताया कि अभी तक 14 शव बरामद हो चुके हैं। बुधवार को 10 लोगों के शव मिले थे तथा 13 घायलों को बचा लिया गया था, जबकि कई अन्य के मलबे में दबे होने की आशंका है। हालांकि सही आंकड़ों का अभी तक पता नहीं चल पाया है।

शिमला के निवासी लोकेंद्र सिंह वैदिक ने एक फेसबुक पोस्ट में कहा कि उनके पिता का शव मिल गया है, लेकिन बचाव दल अभी तक उनका सिर नहीं ढूंढ पाए हैं।

राज्य आपदा प्रबंधन निदेशक सुदेश कुमार मोख्ता ने बताया कि बृहस्पतिवार को सुबह छह बजे बचाव कार्य फिर से शुरू किया गया। स्थानीय पुलिस के सदस्य, होमगार्ड, राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ), भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) संयुक्त रूप से बचाव अभियान चला रहे हैं।

इस बीच, किन्नौर भूस्खलन में मारे गए लोगों को श्रद्धांजलि देने के लिए राज्य विधानसभा में कुछ समय का मौन रखा गया।

शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर, उद्योग एवं परिवहन मंत्री बिक्रम सिंह के साथ घटनास्थल पर बचाव कार्य का जायजा लेने गए हैं।

भारद्वाज ने बताया कि भूस्खलन ऐसे स्थान पर हुआ, जहां आमतौर पर लोग प्राकृतिक नजारे देखने तथा फोटो खींचने के लिए अपने वाहन खड़े करते हैं। राज्य सरकार ने बुधवार को ही बचाव कार्य के लिए चार हेलीकॉप्टर मंगवाये थे, लेकिन खराब मौसम के कारण वे घटनास्थल पर नहीं पहुंच सके हैं।

कांग्रेस की वरिष्ठ नेता आशा कुमारी ने राज्य विधानसभा में कहा कि विपक्ष के नेता मुकेश अग्निहोत्री, रामपुर के विधायक नंद लाल और शिमला ग्रामीण विधायक विक्रमादित्य सिंह भी घटनास्थल गए हैं।

माकपा विधायक राकेश सिंघा ने भी घटना पर दुख जताया और कहा कि भूस्खलन होने के कारण का भी पता लगाना चाहिए और ऐसा दोबारा ना हो इसलिए इस संबंध में भी कदम उठाए जाने चाहिए।

अधिकारियों ने बुधवार रात करीब 10 बजे अभियान स्थगित कर दिया था।

भावनगर के थानाप्रभारी ने बुधवार को कहा था कि करीब 25 से 30 लोग मलबे में दबे हुए हैं। प्रारंभिक जानकारी सामने आने के बाद हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने राज्य विधानसभा को बताया था कि मलबे के नीचे 50-60 लोगों के फंसे होने की आशंका है, लेकिन सटीक संख्या का पता नहीं चल पाया है।

किन्नौर के उपायुक्त ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया कि बस में 40 से अधिक यात्री सवार थे।

अधिकारियों ने बताया कि बचाव अभियान के दौरान बुधवार को एक टाटा सूमो भी मिली थी, जिसमें आठ लोग मृत मिले। अधिकारियों ने बताया कि पत्थर गिरने से एक ट्रक नदी किनारे लुढ़क गया और उसके चालक का शव बरामद हुआ है। उन्होंने बताया कि एक पूरी तरह से क्षतिग्रस्त ऑल्टो कार भी बरामद की गई है, लेकिन उसके अंदर कोई नहीं मिला है।

Himachal Pradesh
Landslide

Related Stories

उत्तराखंड के नेताओं ने कैसे अपने राज्य की नाज़ुक पारिस्थितिकी को चोट पहुंचाई

उत्तराखंड: विकास के नाम पर विध्वंस की इबारत लिखतीं सरकारें

हिमाचल प्रदेश में बढ़ते भूस्खलन की वजह क्या है? लोग सड़कों का विरोध क्यों कर रहे हैं? 

महाराष्ट्र में भूस्खलन और बाढ़ में मरने वालों की संख्या बढ़कर 149 हुई

मुबंई: बारिश हर साल लोगों के लिए आफ़त लेकर आती है और प्रशासन हर बार नए दावे!

जीवन सुगमता सूचकांक का फ़ालतू का मायाजाल

हिमाचल प्रदेश की बल्ह घाटी को क्यों हवाई अड्डे के लिए अधिग्रहित नहीं किया जाना चाहिए?

आपदा के बाद मिले 3800 रुपये,  खेत में बचा दो बोरी धान


बाकी खबरें

  • विकास भदौरिया
    एक्सप्लेनर: क्या है संविधान का अनुच्छेद 142, उसके दायरे और सीमाएं, जिसके तहत पेरारिवलन रिहा हुआ
    20 May 2022
    “प्राकृतिक न्याय सभी कानून से ऊपर है, और सर्वोच्च न्यायालय भी कानून से ऊपर रहना चाहिये ताकि उसे कोई भी आदेश पारित करने का पूरा अधिकार हो जिसे वह न्यायसंगत मानता है।”
  • रवि शंकर दुबे
    27 महीने बाद जेल से बाहर आए आज़म खान अब किसके साथ?
    20 May 2022
    सपा के वरिष्ठ नेता आज़म खान अंतरिम ज़मानत मिलने पर जेल से रिहा हो गए हैं। अब देखना होगा कि उनकी राजनीतिक पारी किस ओर बढ़ती है।
  • डी डब्ल्यू स्टाफ़
    क्या श्रीलंका जैसे आर्थिक संकट की तरफ़ बढ़ रहा है बांग्लादेश?
    20 May 2022
    श्रीलंका की तरह बांग्लादेश ने भी बेहद ख़र्चीली योजनाओं को पूरा करने के लिए बड़े स्तर पर विदेशी क़र्ज़ लिए हैं, जिनसे मुनाफ़ा ना के बराबर है। विशेषज्ञों का कहना है कि श्रीलंका में जारी आर्थिक उथल-पुथल…
  • आज का कार्टून
    कार्टून क्लिक: पर उपदेस कुसल बहुतेरे...
    20 May 2022
    आज देश के सामने सबसे बड़ी समस्याएं महंगाई और बेरोज़गारी है। और सत्तारूढ़ दल भाजपा और उसके पितृ संगठन आरएसएस पर सबसे ज़्यादा गैर ज़रूरी और सांप्रदायिक मुद्दों को हवा देने का आरोप है, लेकिन…
  • राज वाल्मीकि
    मुद्दा: आख़िर कब तक मरते रहेंगे सीवरों में हम सफ़ाई कर्मचारी?
    20 May 2022
    अभी 11 से 17 मई 2022 तक का सफ़ाई कर्मचारी आंदोलन का “हमें मारना बंद करो” #StopKillingUs का दिल्ली कैंपेन संपन्न हुआ। अब ये कैंपेन 18 मई से उत्तराखंड में शुरू हो गया है।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License