NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
भारत
राजनीति
काशी विश्वनाथ-ज्ञानवापी विवाद: ईद बाद वकील कमिश्नर लेंगे परिसर का जायज़ा
‘प्रशासन पहले ही स्थिति स्पष्ट कर चुका है कि उसका स्थान ज्ञानवापी बैरिकेडिंग से बाहर है। श्रृंगार गौरी में रोजाना दर्शन पूजन को परंपरा का हिस्सा कतई न बनाया जाए। सिर्फ चैत्र नवरात्रि के दिन ही वहां दर्शन-पूजन की मान्यता है। ज्ञानवापी मस्जिद की बैरिकेडिंग में सिर्फ मुसलमान या सुरक्षाकर्मी जा सकते हैं। कोई दूसरा जाएगा तो उसे विरोध का सामना करना होगा।’
न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
26 Apr 2022
 Gyanvapi mosque

काशी विश्वनाथ धाम-ज्ञानवापी परिसर स्थित श्रृंगार गौरी मंदिर के नियमित दर्शन को लेकर दाखिल याचिका पर सिविल जज सीनियर डिवीजन रवि कुमार दिवाकर की अदालत ने नया आदेश जारी किया है। कोर्ट द्वारा नियुक्त वकील कमिश्नर अजय कुमार ईद के बाद ज्ञानवापी परिसर का जायजा लेंगे। इस मामले की अगली सुनवाई 10 मई को होगी। इसी दिन वकील कमिश्नर कोर्ट में अपनी रिपोर्ट पेश करेंगे। वकील कमिश्नहर के दौरे की रिपोर्ट को लेकर आम जनमानस में उत्सुकता बढ़ गई है। इस बीच अंजुमन इंतजामिया मसाजिद कमेटी ने कहा है कि ज्ञानवापी मस्जिद की वीडियोग्राफी कराने पर माहौल बिगड़ सकता है।

पिछले साल दायर हुआ था वाद

काशी विश्वनाथ धाम ज्ञानवापी परिसर स्थित श्रृंगार गौरी सहित अन्य विग्रहों की पूजा-अर्चना को लेकर 18 अगस्त 2021 को वाराणसी के सिविल जज सीनियर डिवीजन की अदालत में याचिका दायर की गई थी। राखी सिंह, लक्ष्मी देवी, सीता साहू, मंजू व्यास और रेखा ने कोर्ट में दायर वाद में कहा है कि श्रृंगार गौरी के नियमित दर्शन की छूट मिलनी चाहिए। साथ ही विश्वनाथ मंदिर परिसर में अवस्थित आदि विशेश्वर परिवार के सभी विग्रहों के साथ किसी तरह की छेड़छाड़ न की जाए। साथ ही वाद के जरिए ज्ञानवापी परिसर का निरीक्षण-परीक्षण और सर्वेक्षण कराने के लिए कमीशन भेजा जाए।

अदालत में गोंडा निवासी राखी सिंह व अन्य की तरफ से वाद दाखिल कर श्रृंगार गौरी के नियमित दर्शन के साथ 1993 के पूर्व की स्थिति बहाल करने की मांग की गई है। याचिका में अनुरोध किया गया है कि ज्ञानवापी स्थित श्रृंगार गौरी और आदि विश्वेश्वर परिवार के विग्रहों की यथास्थिति रखी जाए और वकील कमिश्नर से वर्तमान स्थिति के बाबत रिपोर्ट मंगा ली जाए। इस मामले विश्वनाथ मंदिर ट्रस्ट, डीएम, पुलिस आयुक्त, अंजुमन इंतजामिया मसाजिद कमेटी और सेंट्रल सुन्नी वक्फ बोर्ड को पक्षकार बनाया गया है। अदालत ने श्रृंगार गौरी मंदिर की मौजूदा स्थिति को जांचने के लिए कमीशन गठित करते हुए अधिवक्ता कमिश्नर नियुक्त करने और तीन दिन के अंदर पैरवी का आदेश भी दिया था। कतिपय कारणों से दो मर्तबा अदालत कमिश्नर पीछे हट गए। बाद में आठ अप्रैल को नए अदालत कमिश्नर के रूप में अजय कुमार मिश्रा को वीडियोग्राफी करने का आदेश किया गया था। 

सिविल जज सीनियर डिवीजन रवि कुमार दिवाकर की अदालत ने 19 अप्रैल को विश्वनाथ मंदिर और ज्ञानवापी का दौरा करने के लिए वकील कमिश्नर को आदेश जारी किया था, लेकिन सुरक्षा कारणों का हवाला देते हुए प्रशासन ने कोर्ट से वकील कमिश्नर न भेजने की अपील कर दी। जिला प्रशासन का कहना था कि ज्ञानवापी मस्जिद की वीडियोग्राफी कराने पर माहौल बिगड़ सकता है। सर्वे से ज्ञानवापी परिसर की सुरक्षा व्यवस्था भंग हो सकती है। सिविल जज सीनियर डिवीजन रवि कुमार दिवाकर की अदालत ने प्रशासन अनुरोध पर इस मामले की सुनवाई के लिए 26 अप्रैल 2022 की तिथि मुकर्रर की थी। साथ ही काशी विश्वनाथ मंदिर और ज्ञानवापी मस्जिद परिसर का 19 अप्रैल को वकील कमिश्नर की अगुवाई में होने वाला सर्वे स्थगित कर दिया था।

कोई भी जा सकता है मस्जिद में

बनारस के सिविल जज की अदालत (सीनियर डिवीजन) रवि कुमार दिवाकर ने 26 अप्रैल को दोनों पक्षों को सुनने के बाद कहा कि मस्जिद आने-जाने वाले गेट का इस्तेमाल सिर्फ मुसलमान और सुरक्षाकर्मी ही कर सकते हैं, उचित प्रतीत नहीं होता है। अंजुमन इंतजामिया मसाजिद कमेटी के अधिवक्ता ने कहा है कि मस्जिद के अंदर किसी भी धर्म का व्यक्ति प्रवेश कर सकता है। किसी भी व्यक्ति को इस कारण से मस्जिद में जाने से इनकार नहीं किया जा सकता कि वह मुस्लिम धर्म का नहीं है। वकील कमिश्नर और कमीशन कार्य में सहयोग करने वाले अपने सहयोगियों के साथ मौका मुआयना के लिए जा सकते हैं। ईद-उल-फितर के मद्देनजर तीन मई 2022 के बाद वकील कमिश्नर अपने कार्य को संपादित कर सकेंगे। कोर्ट ने अगली सुनवाई के लिए कमीशन की रिपोर्ट 10 मई 2022 को तलब की है।   

पिछली मर्तबा वाराणसी जिला प्रशासन ने इस बात पर आपत्ति जाताई थी कि रेड जोन में वीडियोग्राफी परिसर की सुरक्षा के लिए खतरा हो सकता है। श्रृंगार गौरी और मस्जिद परिसर का भ्रमण करना कोई औचित्य नहीं है। मस्जिद बैरिकेडिंग के अंदर सिर्फ मुसलमान और सुरक्षाकर्मी प्रवेश कर सकते हैं। अदालत से दरख्वास्त की गई है कि कोर्ट अधिवक्ता की ओर से होने वाली कार्यवाही के दौरान कितने व्यक्तियों को प्रवेश की अनुमति दी जाएगी? कौन-कौन व्यक्ति होंगे? कोर्ट अधिवक्ता किस-किस स्थल और किस चिह्नित स्थान तक अपनी कार्रवाई करेंगे?

अब ऐसी दिखती है मस्जिद

अंजुमन इंतजामिया मसाजिद कमेटी को अदालत की ओर से मस्जिद में घुसकर वीडियोग्राफी कराए जाने पर बेहद आपत्ति है। ज्वाइंट सेक्रेटरी सैयद मोहम्मद यासीन कहते हैं कि श्रृंगार गौरी के वीडियोग्राफी से उन्हें किसी तरह की आपत्ति नहीं है, लेकिन अन्य जगहों की वीडियोग्राफी पर उन्हें एतराज है। श्रृंगार गौरी मस्जिद की बैरिकेडिंग के बाहर है। अगर मस्जिद की बैरिकेडिंग के अंदर कोई जाना चाहेगा तो मुस्लिम समुदाय के लोग कड़ा विरोध करेंगे। वह कहते हैं, ‘प्रशासनिक अफसरों को अवगत कराया जा चुका है कि साल 1995 में वादी शिव कुमार शुक्ला की ओर से श्रृंगार गौरी में दर्शन पूजन को लेकर एक वाद सिविल जज जूनियर डिवीजन की अदालत में दाखिल किया गया था, जिसको लेकर वाराणसी जिला प्रशासन की ओर से एक जवाबदेही दाखिल की गई थी। प्रशासन पहले ही स्थिति स्पष्ट कर चुका है कि उसका स्थान ज्ञानवापी बैरिकेडिंग से बाहर है। श्रृंगार गौरी में रोजाना दर्शन पूजन को परंपरा का हिस्सा कतई न बनाया जाए। सिर्फ चैत्र नवरात्रि के दिन ही वहां दर्शन-पूजन की मान्यता है। ज्ञानवापी मस्जिद की बैरिकेडिंग में सिर्फ मसुलमान या सुरक्षाकर्मी जा सकते हैं। कोई दूसरा जाएगा तो उसे विरोध का सामना करना होगा।’

ये भी पढ़ें: EXCLUSIVE: उलझती जा रही विश्वनाथ मंदिर-ज्ञानवापी मस्जिद विवाद की गुत्थी, अब पांच और नए मुकदमे!

Kashi Vishwanath Temple
Gyanvapi mosque
Mandir-Masjid Politics
Supreme Court
babri masjid
Religion and Politics

Related Stories

ज्ञानवापी मस्जिद के ख़िलाफ़ दाख़िल सभी याचिकाएं एक दूसरे की कॉपी-पेस्ट!

आर्य समाज द्वारा जारी विवाह प्रमाणपत्र क़ानूनी मान्य नहीं: सुप्रीम कोर्ट

भारत में धार्मिक असहिष्णुता और पूजा-स्थलों पर हमले को लेकर अमेरिकी रिपोर्ट में फिर उठे सवाल

समलैंगिक साथ रहने के लिए 'आज़ाद’, केरल हाई कोर्ट का फैसला एक मिसाल

मायके और ससुराल दोनों घरों में महिलाओं को रहने का पूरा अधिकार

ज्ञानवापी मामले में अधिवक्ताओं हरिशंकर जैन एवं विष्णु जैन को पैरवी करने से हटाया गया

ज्ञानवापी सर्वे का वीडियो लीक होने से पेचीदा हुआ मामला, अदालत ने हिन्दू पक्ष को सौंपी गई सीडी वापस लेने से किया इनकार

जब "आतंक" पर क्लीनचिट, तो उमर खालिद जेल में क्यों ?

ज्ञानवापी मामला : अधूरी रही मुस्लिम पक्ष की जिरह, अगली सुनवाई 4 जुलाई को

विचार: सांप्रदायिकता से संघर्ष को स्थगित रखना घातक


बाकी खबरें

  • न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    कोरोना अपडेट: अभी नहीं चौथी लहर की संभावना, फिर भी सावधानी बरतने की ज़रूरत
    14 May 2022
    देश में आज चौथे दिन भी कोरोना के 2,800 से ज़्यादा मामले सामने आए हैं। आईआईटी कानपूर के वरिष्ठ वैज्ञानिक प्रो. मणींद्र अग्रवाल कहा है कि फिलहाल देश में कोरोना की चौथी लहर आने की संभावना नहीं है।
  • afghanistan
    पीपल्स डिस्पैच
    भोजन की भारी क़िल्लत का सामना कर रहे दो करोड़ अफ़ग़ानी : आईपीसी
    14 May 2022
    आईपीसी की पड़ताल में कहा गया है, "लक्ष्य है कि मानवीय खाद्य सहायता 38% आबादी तक पहुंचाई जाये, लेकिन अब भी तक़रीबन दो करोड़ लोग उच्च स्तर की ज़बरदस्त खाद्य असुरक्षा का सामना कर रहे हैं। यह संख्या देश…
  • mundka
    न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    मुंडका अग्निकांड : 27 लोगों की मौत, लेकिन सवाल यही इसका ज़िम्मेदार कौन?
    14 May 2022
    मुंडका स्थित इमारत में लगी आग तो बुझ गई है। लेकिन सवाल बरकरार है कि इन बढ़ती घटनाओं की ज़िम्मेदारी कब तय होगी? दिल्ली में बीते दिनों कई फैक्ट्रियों और कार्यस्थलों में आग लग रही है, जिसमें कई मज़दूरों ने…
  • राज कुमार
    ऑनलाइन सेवाओं में धोखाधड़ी से कैसे बचें?
    14 May 2022
    कंपनियां आपको लालच देती हैं और फंसाने की कोशिश करती हैं। उदाहरण के तौर पर कहेंगी कि आपके लिए ऑफर है, आपको कैशबैक मिलेगा, रेट बहुत कम बताए जाएंगे और आपको बार-बार फोन करके प्रेरित किया जाएगा और दबाव…
  • India ki Baat
    बुलडोज़र की राजनीति, ज्ञानवापी प्रकरण और राजद्रोह कानून
    13 May 2022
    न्यूज़क्लिक के नए प्रोग्राम इंडिया की बात के पहले एपिसोड में अभिसार शर्मा, भाषा सिंह और उर्मिलेश चर्चा कर रहे हैं बुलडोज़र की राजनीति, ज्ञानवापी प्रकरण और राजद्रोह कानून की। आखिर क्यों सरकार अड़ी हुई…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License