NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
आंदोलन
स्वास्थ्य
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
ट्यूनीशिया में श्रमिकों ने लॉकडाउन के समय सरकार से मदद न मिलने पर प्रदर्शन किया
ट्यूनीशिया ने कोरोनावायरस के प्रसार को रोकने के लिए 4 मार्च से ही देशव्यापी लॉकडाउन कर दिया है। इसके चलते बड़ी संख्या में लोग बेरोज़गार हो गए हैं।
पीपल्स डिस्पैच
01 Apr 2020
ट्यूनीशिया

ट्यूनीशिया की राजधानी और देश के अन्य हिस्सों में हजारों श्रमिक सड़कों पर आए और मंगलवार 31 मार्च को लॉकडाउन के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया। ये लॉकडाउन पूरे ट्यूनीशिया में 4 मार्च से लागू है जिससे बड़ी संख्या में लोग काम नहीं कर पा रहे हैं। उन्होंने सरकार से लॉकडाउन के कारण हुए आर्थिक संकट का सामना करने के लिए पर्याप्त सहायता और सुरक्षा प्रदान करने की मांग की है।

ट्यूनीशियाई सरकार द्वारा सख्त लॉकडाउन के बावजूद देश के एरियाना क्षेत्र में एक दिन पहले ही सोमवार को विरोध शुरू हो गया था।

ट्यूनीशिया ने राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन को लागू किया है और नोवल कोरोनावायरस संक्रमण के प्रसार को रोकने के लिए रात के कर्फ्यू को सख्त कर दिया है।

ट्यूनीशिया में Covid-19 संक्रमण के अब तक 362 मामले सामने आए हैं और वहीं इससे 10 लोगों की मौत हो गई है।

हालांकि ट्यूनीशिया की सरकार ने इस वायरस के प्रभाव से निपटने के लिए 850 मिलियन डॉालर के शोसल पैकेज की घोषणा की है साथ ही यूरोपीय संघ 280 मिलियन डॉलर सहायता दे रही और अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) ने 400 मिलियन डॉलर देने का वादा किया है। वहीं देश में श्रमिक वर्ग लिए गए इन फैसलों को लेकर सशंकित है।

प्रधानमंत्री एलियेस फखफख ने 21 मार्च को ही सबसे बुरी तरह प्रभावित होने को लेकर 52 मिलियन डॉलर के विशेष पैकेज की घोषणा की थी। हालांकि, इनमें से किसी ने भी इस पैकेज के लागू होने की तारीख का उल्लेख नहीं किया है।

सामाजिक मामलों के मंत्री द्वारा की गई घोषणा के अनुसार, लाभ पाने वाले सभी लोगों को सरकारी कार्यालय में 6 अप्रैल तक पंजीकरण कराना होगा। इसके चलते सरकारी कार्यालयों के सामने भारी संख्या में भीड़ इकट्ठा हो गई है जो साफ तौर पर सामाजिक और शारीरिक दूरी के दिशानिर्देशों का उल्लंघन करता है।

सरकार संक्रमण के प्रसार से बचने के लिए ट्यूनीशिया की भीड़भाड़ वाली जेलों से कैदियों को रिहा करने की घोषणा कर रही है। राष्ट्रपति कईस सैयद द्वारा मंगलवार 31 मार्च को 1420 कैदियों के लिए विशेष माफी की घोषणा की गई है। हालांकि, ट्यूनीशिया में पुलिस, कर्फ्यू का उल्लंघन करने वाले लोगों को गिरफ्तार कर रही है, इसके उल्लंघन को लेकर अब तक कम से कम 1200 लोगों को गिरफ्तार किया गया है।

साभार : पीपल्स डिस्पैच

Tunisia
Lockdown
Coronavirus
COVID-19
workers protest

Related Stories

आशा कार्यकर्ताओं को मिला 'ग्लोबल हेल्थ लीडर्स अवार्ड’  लेकिन उचित वेतन कब मिलेगा?

मुद्दा: आख़िर कब तक मरते रहेंगे सीवरों में हम सफ़ाई कर्मचारी?

#Stop Killing Us : सफ़ाई कर्मचारी आंदोलन का मैला प्रथा के ख़िलाफ़ अभियान

दिल्लीः एलएचएमसी अस्पताल पहुंचे केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मंडाविया का ‘कोविड योद्धाओं’ ने किया विरोध

दिल्ली : नौकरी से निकाले गए कोरोना योद्धाओं ने किया प्रदर्शन, सरकार से कहा अपने बरसाये फूल वापस ले और उनकी नौकरी वापस दे

दिल्ली: कोविड वॉरियर्स कर्मचारियों को लेडी हार्डिंग अस्पताल ने निकाला, विरोध किया तो पुलिस ने किया गिरफ़्तार

मध्य प्रदेश : आशा ऊषा कार्यकर्ताओं के प्रदर्शन से पहले पुलिस ने किया यूनियन नेताओं को गिरफ़्तार

झारखंड: हेमंत सरकार की वादाख़िलाफ़ी के विरोध में, भूख हड़ताल पर पोषण सखी

अधिकारों की लड़ाई लड़ रही स्कीम वर्कर्स

सड़क पर अस्पताल: बिहार में शुरू हुआ अनोखा जन अभियान, स्वास्थ्य सुविधाओं के लिए जनता ने किया चक्का जाम


बाकी खबरें

  •  Punjab security lapse
    न्यूज़क्लिक टीम
    पंजाब में पीएम की "सुरक्षा चूक" पर पूरी पड़ताल!
    06 Jan 2022
    बोल के लब आज़ाद हैं तेरे में आज अभिसार शर्मा चर्चा कर रहे प्रधानमंत्री के पंजाब दौरे की। साथ ही वे नज़र डाल रहे हैं कि किस तरह मीडिया द्वारा किसानों को टारगेट किया जा रहा है
  • fact check
    राज कुमार
    फ़ैक्ट चेक : संबित ने जर्जर स्कूलों को सपा सरकार का बताया, स्कूल योगी सरकार के निकले
    06 Jan 2022
    एक बार फिर बीजेपी प्रवक्ता संबित पात्रा ने ट्विटर पर फ़ेक न्यूज़ के ज़रिये विपक्ष पर निशाना साधने की कोशिश की है।
  • jnu
    रवि कौशल
    जेएनयू हिंसा के दो साल : नाराज़ पीड़ितों को अब भी है न्याय का इंतज़ार 
    06 Jan 2022
    ऐसा लगता है कि दिल्ली पुलिस की जांच भटक चुकी है। अब तक दोषियों की पहचान तक नहीं की जा सकी है।
  • punjab security
    शंभूनाथ शुक्ल
    'सुरक्षा चूक' की आड़ में राजनीतिक स्टंट?
    06 Jan 2022
    प्रधानमंत्री को एयरपोर्ट में पंजाब के अधिकारियों को दिए बयान से बचना चाहिए था। और जो कुछ करना था, वह सीधे गृह मंत्रालय के आला अधिकारी करते तो भविष्य में ऐसी किसी भी चूक से प्रशासन सतर्क रहते। तथा…
  • election
    सौरभ शर्मा
    यूपी: युवाओं को रोजगार मुहैय्या कराने के राज्य सरकार के दावे जमीनी हकीकत से मेल नहीं खाते हैं!
    06 Jan 2022
    लगभग 43 उम्मीदवारो को उत्तर प्रदेश में पिछले साल विभिन्न चिकित्सा विभागों द्वारा विभिन्न कोरोना लहरों के दौरान में रोजगार पर रखा गया था। बाद में इन्हें काम से मुक्त कर दिया गया। उन्होंने इस कदम के…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License