NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
भारत
राजनीति
मणिपुर विश्वविद्यालय: कुलपति के खिलाफ छात्र और शिक्षक भूख हड़ताल पर
छात्रों की माँग है कि कुलपति आद्दा प्रसाद पांडे को तत्काल प्रभाव अपने पद से हटाया जाए।
न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
11 Jul 2018
manipur university protest

मणिपुर विश्वविद्यालय के पोस्टग्रेजुएट छात्र-छात्राओं और अध्यापकों ने सोमवार को क्रमिक भूख हड़ताल शुरू कर दी है जो 24 जुलाई तक चलेगी। गौरतलब है कि मणिपुर विश्वविद्यालय के छात्र पिछले 40 दिनों से धरने पर हैं। 30 मई के बाद से वहाँ पढाई ठप्प है। छात्रों की माँग है कि कुलपति आद्दा प्रसाद पांडे को तत्काल प्रभाव अपने पद से हटाया जाए।

छात्रों का आरोप है कि कुलपति महीने में केवल 10 दिन ही कैंपस में आते हैं जिसके कारण विश्वविद्यालय के कई ज़रूरी कामों में देरी हो रहे हैं। वहीं छात्रों ने कुलपति पर विश्वविद्यालय के भगवाकरण का भी आरोप लगाया है।

छात्रों ने कुलपति पर यह आरोप भी लगाया कि वे विश्वविद्यालय के खर्चे पर राज्य के बाहर दौरे पर बेहिसाब खर्च करते हैं। साथ ही कुलपति पर प्रशासनिक उपेक्षा और लापरवाही का भी आरोप है।

छात्र-छात्राओं ने पहले अपनी माँगों का चार्टर विश्वविद्यालय प्रशासन को सौंपा थाI लेकिन कोई कार्यवाही नहीं होने पर 30 मई से मणिपुर विश्वविद्यालय छात्रसंघ (एमयूएसयू) और एमयूटीए (मणिपुर विश्वविद्यालय शिक्षक संघ) धरने पर बैठ गए।

यह भी पढ़े - जादवपुर यूनिवर्सिटी के 20 छात्र अनिश्चितकाल भूख हड़ताल पर

एक टीवी चैनल की रिपोर्ट के अनुसार, छात्र-छात्राओं की माँग है कि शैक्षणिक गतिविधियाँ बेहतर हो और शिक्षकों के खाली पदों को भरा जाए। मणिपुर विश्वविद्यालय में शिक्षकों के 115 पद खाली हैं। इनमें 25 प्रोफेसर और 51 एसोसिएट प्रोफेसर और 39 सहायक प्रोफेसरों के पद खाली हैं।

इसके अलावा गैर शैक्षणिक पदों पर लोगों को ठेके पर रखा जा रहा है और छात्रों का आरोप है कि इसमें अधिकांश लोग कुलपति की पसंद के हैं। रिपोर्ट के अनुसार, परीक्षा नियंत्रक, रजिस्ट्रार और लाइब्रेरियन के पदों पर अस्थायी स्टाफ रखे गए हैं। छात्र-छात्राओं का आरोप है कि इस वजह से हर फैसले में देरी होती है क्योंकि हर चीज़ कुलपति ही तय कर रहे हैं।

एक राष्ट्रीय अख़बार को दिए साक्षात्कार में मणिपुर विश्वविद्यालय छात्रसंघ अध्यक्ष एम.दयामन ने कहा कि वे चाहते हैं कि गैर-ज़िम्मेदार कुलपति को हटाया जाये क्योंकि उनकी वजह से विश्वविद्यालय का प्रशासन बेकार हो गया हैI उनके मुताबिक विश्वविद्यालय के महत्त्वपूर्ण पदों पर 

उन्होंने बताया कि, ‘रजिस्ट्रार और परीक्षा नियंत्रक जैसे महत्वपूर्ण पदों पर प्रभारियों को रखा गया है जो खुद से कोई फैसला नहीं ले सकते और उन्हें कुलपति की अनुमति की जरूरत होती है। हम उन पर एक नियमित रजिस्ट्रार नियुक्त करने का दबाव लंबे समय से बना रहे हैं, लेकिन उन्होंने जान-बूझकर ऐसे हालात बना रखे हैं।’

यह मामला तब और गर्मा गया जब सोमवार को छात्रों के समर्थन में करीब 28 विभागों के अध्यक्षों ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। अलग-अलग अकादमिक स्कूलों के 5 डीन ने भी इस्ताफा दे दिया है। इसके बाद छात्रसंघ ने विश्वविद्दालयों के विभिन्न विभागों के आगे ताले लगा दिए है।

आंदोलन को समर्थन करने वाले मणिपुर विश्वविद्यालय अध्यापक संघ ने कुलपति के खिलाफ कई आरोप लगाए हैं। जैसे कि, कुलपति कभी भी छुट्टी पर चले जाते हैं, बिना यह बताए कि किस तारीख को वापस आएंगे। फैकल्टी मेंबर के पदोन्नति के संबंध में होने वाले साक्षात्कारों में देरी की जाती है और नई नियुक्ति के लिए साक्षात्कार नहीं हो रहे हैं।

इस बीच धरने के कारण अंडरग्रेजुएट के परीक्षा परिणाम की घोषणा, पोस्टग्रेजुएट कोर्स में दाखिले और नौकरी के लिए छात्रों के सर्टिफिकेट के सत्यापन के काम ठप्प पड़े हुए हैं।

शिक्षकों का कहना है जब तक कुलपति अपने पद से इस्तीफा नहीं दे देते , तब तक वह अपने काम  पर नहीं लौटेंगे। वहीं शिक्षक संघ ने प्रधानमंत्री,मुख्य मंत्री और मानव संसाधन मंत्रालय से मामले में दखल देने की माँग की है।

मणिपुर विश्वविद्यालय
छात्र आन्दोलन
छात्र-शिक्षक आन्दोलन
उच्च शिक्षा

Related Stories

शिक्षा को बचाने के लिए एसएफआई का अखिल भारतीय जत्था

मौजूदा सरकार एक डरपोक सरकार है: छात्र नेता, पूजा शुक्ला

मणिपुर विश्वविद्दालय: राज्य सरकार ने कुलपती पर लगे आरोपों की जाँच की माँग की

बीजेपी सरकार की 'वैदिक शिक्षा बोर्ड' गठन करने की योजना

जादवपुर यूनिवर्सिटी: छात्रों के आन्दोलन के सामने झुका प्रशासन

आरक्षण खात्मे का षड्यंत्र: दलित-ओबीसी पर बड़ा प्रहार

विशेषज्ञों के मुताबिक उच्च शिक्षा आयोग संस्थानों की स्वायत्तता को प्रभावित करेगा

छात्र संगठनों ने कहा, वायवा वॉयस पर यूजीसी का पीछे हटना एक आंशिक जीत; पूर्ण रोलबैक तक लड़ना जारी रहेगा

एएमयूएसयू अध्यक्ष : जब मैं बेहोश था, तो मुझे अवैध रूप से हिरासत में लिया गया था

बीआईटीएस छात्र: यह कॉलेज है, कोई धंधा नहीं


बाकी खबरें

  • न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    मुंडका अग्निकांड: सरकारी लापरवाही का आरोप लगाते हुए ट्रेड यूनियनों ने डिप्टी सीएम सिसोदिया के इस्तीफे की मांग उठाई
    17 May 2022
    मुण्डका की फैक्ट्री में आगजनी में असमय मौत का शिकार बने अनेकों श्रमिकों के जिम्मेदार दिल्ली के श्रम मंत्री मनीष सिसोदिया के आवास पर उनके इस्तीफ़े की माँग के साथ आज सुबह दिल्ली के ट्रैड यूनियन संगठनों…
  • रवि शंकर दुबे
    बढ़ती नफ़रत के बीच भाईचारे का स्तंभ 'लखनऊ का बड़ा मंगल'
    17 May 2022
    आज की तारीख़ में जब पूरा देश सांप्रादायिक हिंसा की आग में जल रहा है तो हर साल मनाया जाने वाला बड़ा मंगल लखनऊ की एक अलग ही छवि पेश करता है, जिसका अंदाज़ा आप इस पर्व के इतिहास को जानकर लगा सकते हैं।
  • न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    यूपी : 10 लाख मनरेगा श्रमिकों को तीन-चार महीने से नहीं मिली मज़दूरी!
    17 May 2022
    यूपी में मनरेगा में सौ दिन काम करने के बाद भी श्रमिकों को तीन-चार महीने से मज़दूरी नहीं मिली है जिससे उन्हें परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
  • सोन्या एंजेलिका डेन
    माहवारी अवकाश : वरदान या अभिशाप?
    17 May 2022
    स्पेन पहला यूरोपीय देश बन सकता है जो गंभीर माहवारी से निपटने के लिए विशेष अवकाश की घोषणा कर सकता है। जिन जगहों पर पहले ही इस तरह की छुट्टियां दी जा रही हैं, वहां महिलाओं का कहना है कि इनसे मदद मिलती…
  • अनिल अंशुमन
    झारखंड: बोर्ड एग्जाम की 70 कॉपी प्रतिदिन चेक करने का आदेश, अध्यापकों ने किया विरोध
    17 May 2022
    कॉपी जांच कर रहे शिक्षकों व उनके संगठनों ने, जैक के इस नए फ़रमान को तुगलकी फ़ैसला करार देकर इसके खिलाफ़ पूरे राज्य में विरोध का मोर्चा खोल रखा है। 
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License