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उत्तर प्रदेश :बार काउंसिल की अध्यक्ष दर्वेश की हत्या के खिलाफ वकीलों का प्रदर्शन
इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने उत्तर प्रदेश बार काउंसिल की अध्यक्ष दर्वेश यादव की हत्या बुधवार कोउनके ही चैंबर में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। राज्य भर के वकीलों ने शुक्रवार को बार काउंसिल प्रमुख के सम्मान में काम नहीं करने का फैसला किया है।
न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
13 Jun 2019
Darvesh

इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने उत्तर प्रदेश बार काउंसिल की अध्यक्ष दर्वेश यादव के परिजनों के प्रति शोक संवेदना प्रकट की जिनकी आगरा के जिला एवं सत्र अदालत परिसर में हत्या कर दी गई थी। मृतक दरवेश बार काउंसिल की पहली महिला प्रमुख थी, जिनकी बुधवार को एक वकील के चैंबर में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। 

इसके खिलाफ आज प्रदेशभर के वकील प्रदर्शन कर रहे है ,राज्य भर के वकीलों ने शुक्रवार को बार काउंसिल प्रमुख के सम्मान में काम नहीं करने का फैसला किया है। बार काउंसिल ऑफ इंडिया ने यूपी बार काउंसिल की अध्यक्ष दरवेश यादव की हत्या की निंदा की है। साथ ही काउंसिल ने अपने सदस्यों के लिए सुरक्षा और यूपी सरकार से उनके परिवार को न्यूनतम 50 लाख रुपये का मुआवजा देने की भी मांग की।

 मुजफ्फरनगर के जिला बार एसोसिएशन अध्यक्ष सैयद नसीर हैदर ने कहा कि वकीलों ने एक शोकसभा में घटना की निंदा की। बहिष्कार का आह्वान राज्य बार काउंसिल ने किया था। बागपत, बिजनौर, मुजफ्फरनगर, मेरठ, सहारनपुर और शामली में न्यायिक कामकाज प्रभावित रहा। 

यादव की बुधवार को अदालत परिसर में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। इलाहाबाद उच्च न्यायालय के रजिस्ट्रार जनरल ने एक बयान जारी कर कहा, ‘‘माननीय मुख्य न्यायाधीश ने उक्त घटना को गंभीरता से लिया है और अधिवक्ता बिरादरी को आश्वस्त किया है कि माननीय (उच्च) न्यायालय, अदालत परिसरों की सुरक्षा बढ़ाने के लिए सभी आवश्यक कदम उठा रहा है।’’

उन्होंने कहा कि राज्य सरकार को भी इलाहाबाद उच्च न्यायालय, इसकी लखनऊ खंडपीठ और प्रदेश की जिला अदालतों में “सुरक्षा में शून्य त्रुटि” के संबंध में उचित कदम उठाने का निर्देश दिया गया है।

एकबार फिर इस घटना ने योगी सरकार के  देश में सबसे बेहतर कानून व्यवथा होने के दवाओं की पोल खोल दी है। वहीं, इस घटना को लेकर कांग्रेस ने बृहस्पतिवार को योगी आदित्यनाथ सरकार पर निशाना साधा और दावा किया कि राज्य की कानून-व्यवस्था और जगंल राज में ज्यादा अंतर नहीं रह गया है।पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने ट्वीट कर कहा, ''उत्तर प्रदेश में अजय सिंह बिष्ट (योगी) की सरकार की नाक के नीचे, दिन दहाड़े बार काउंसिल की पहली महिला अध्यक्षा की गोली मार कर हत्या। जंगलराज और भाजपा शासित उप्र की क़ानून व्यवस्था में अब ज़्यादा फ़र्क़ नहीं बचा! "

पूरा मामला क्या है 

आपको बता दे की यूपी बार काउंसिल की पहली महिला अध्यक्ष दर्वेश यादव की कथित तौर पर बुधवार को गोली मारकर हत्या कर दी गयी थी। एक स्वागत समारोह में उनके साथी वकील मनीष बाबू शर्मा ने दिनदहाड़े अध्यक्ष को गोली मारी थी। इसके बाद उसने खुद को सिर में गोली मार ली और उसे गंभीर हालत में गुरुग्राम के मेदांता अस्पताल में भर्ती कराया गया है। 

इस बीच, दरवेश यादव और मनीष शर्मा के बीच तल्ख रिश्ते को हत्या के पीछे का मकसद माना जा रहा है। दोनों ने 2004 में वकालत की प्रैक्टिस शुरू की थी और कोर्ट में दोनों का एक ही चैंबर था।

इस हत्या मामले में दरवेश यादव के भतीजे सनी यादव ने मनीष शर्मा, उसकी पत्नी वंदना और एक अन्य वकील विनीत गुलेचा को आरोपी के रूप में नामित किया है।  सनी ने दर्ज कराई गई शिकायत में कहा, "कुछ महीने पहले, जब दरवेश यादव ने शर्मा से अपने पैसे मांगे, तो उसकी पत्नी वंदना ने दरवेश यादव को गंभीर परिणाम भुगतने की धमकी दी। मनीष शर्मा ने दरवेश के चैंबर पर कब्जा कर लिया था और उन्हें अन्य वकीलों के चैंबर से काम करना शुरू करना पड़ा था।"

(समाचार एजेंसी भाषा के इनपुट के साथ)

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