NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
भारत
राजनीति
कश्मीर में बड़ी संख्या में सैनिकों की तैनाती से माहौल गर्म
खबरों के मुताबिक बीते कुछ दिनों के दौरान जम्मू-कश्मीर में 38 हजार अतिरिक्त सुरक्षा बलों की तैनाती की गई है।
न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
02 Aug 2019
Jammu and kashmir
Image Courtesy: India Today

जम्मू-कश्मीर में अर्द्धसैनिक बलों की बड़ी संख्या में तैनाती को लेकर गृह मंत्रालय ने शुक्रवार को बड़ा बयान दिया है। गृह मंत्रालय ने कहा कि बलों की तैनाती वहां सुरक्षा की स्थिति और फेरबदल की जरूरत पर आधारित होती है। मंत्रालय के सूत्रों का यह भी कहना था कि ऐसी बातों पर सार्वजनिक तौर पर चर्चा नहीं की जा सकती।

सूत्रों ने यह भी कहा कि केंद्रीय बलों की 100 कंपनियों (10,000 सैनिकों) को एक हफ्ते पहले यहां तैनात करने का आदेश दिया गया था और वे अपने-अपने गंतव्यों पर पहुंचने की प्रक्रिया में हैं।

इस बीच खबर आई है कि गृह मंत्रालय ने कश्मीर घाटी में 28 हजार और सुरक्षा बलों की तैनाती का आदेश दिया है। घाटी में इस हलचल के बीच कुछ बड़ा हाेने काे लेकर अटकलाें का बाजार गर्म है। 

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक कई दरगाहाें, मस्जिदाें और कुछ अदालताें से भी सुरक्षा हटाई गई है। यहां तैनात जवानाें काे अपने जिलाें की पुलिस लाइन में रिपाेर्ट करने काे कहा गया है। अमरनाथ यात्रा की सुरक्षा में तैनात कुछ जवान भी दूसरी जगह भेजे जा रहे हैं। राज्य में अमरनाथ यात्रा 4 अगस्त तक स्थगित है। सरकार ने खराब माैसम काे इसकी वजह बताया था। हालांकि, मौसम विभाग ने ऐसे किसी बड़े बदलाव का पूर्वानुमान नहीं लगाया है।

राज्य में फिलहाल राष्ट्रपति शासन लगा हुआ है। अटकलें इस बात को लेकर भी तेज हैं कि केंद्र संविधान के अनुच्छेद 35ए को निरस्त करने की भी योजना बना रहा है। इस अनुच्छेद के अनुसार राज्य की सरकारी नौकरियों एवं जमीन पर केवल राज्य के निवासियों का अधिकार होता है।ये अटकलें कश्मीर में पिछले कुछ दिनों से चर्चा का विषय बनी हुई हैं। 

पिछले दिनों फारूक अब्दुल्ला समेत जम्मू-कश्मीर के नेता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी मिले थे। इससे पहले उन्होंने घाटी के मौजूदा हालात पर सर्वदलीय बैठक में चर्चा की थी।

अमरनाथ यात्रा की सुरक्षा की लिहाज से घाटी में पहले से 40 हजार सैनिक मौजूद है। एक बड़े पुलिस अधिकारी ने न्यूज़क्लिक को बताया कि 2 अगस्त तक पूरी घाटी सैनिकों का पट जाएगी। सरकार के इस कदम से स्थानीय लोगों में डर का माहौल है और सब यह कयास लगा रहे हैं कि घाटी में आखिरकार क्या होने वाला है? 

विश्वस्त सूत्रों ने न्यूज़क्लिक को बताया कि इतनी बड़ी तादाद में सैनिकों की तैनाती निश्चित रूप से मजाक नहीं है। 15 अगस्त (स्वतंत्रता दिवस समारोह) पहली बार नहीं हो रहा है। दो संभावनाएं हैं, या तो वे अनुच्छेद 35 ए को निरस्त कर देंगे, या वे राज्य को तीन भागों में बांटने की घोषणा करेंगे।

(समाचार एजेंसी भाषा के इनपुट के साथ)

Jammu and Kashmir
home ministry
president's rule
Farooq Abdullah
Narendera Modi
BJP
amarnath yatra

Related Stories

भाजपा के इस्लामोफ़ोबिया ने भारत को कहां पहुंचा दिया?

कश्मीर में हिंसा का दौर: कुछ ज़रूरी सवाल

सम्राट पृथ्वीराज: संघ द्वारा इतिहास के साथ खिलवाड़ की एक और कोशिश

कश्मीर में हिंसा का नया दौर, शासकीय नीति की विफलता

कटाक्ष: मोदी जी का राज और कश्मीरी पंडित

हैदराबाद : मर्सिडीज़ गैंगरेप को क्या राजनीतिक कारणों से दबाया जा रहा है?

ग्राउंड रिपोर्टः पीएम मोदी का ‘क्योटो’, जहां कब्रिस्तान में सिसक रहीं कई फटेहाल ज़िंदगियां

धारा 370 को हटाना : केंद्र की रणनीति हर बार उल्टी पड़ती रहती है

मोहन भागवत का बयान, कश्मीर में जारी हमले और आर्यन खान को क्लीनचिट

भारत में धार्मिक असहिष्णुता और पूजा-स्थलों पर हमले को लेकर अमेरिकी रिपोर्ट में फिर उठे सवाल


बाकी खबरें

  • भाषा
    चारा घोटाला: झारखंड उच्च न्यायालय ने लालू यादव को डोरंडा कोषागार मामले में ज़मानत दी
    22 Apr 2022
    लालू प्रसाद के खिलाफ रांची में चारा घोटाले का यह अंतिम मामला था और अब उनके खिलाफ पटना में ही चारा घोटाले के मामले विचाराधीन रह गये हैं। दिल्ली स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) में…
  • अजय कुमार
    जहांगीरपुरी में चला बुल्डोज़र क़ानून के राज की बर्बादी की निशानी है
    22 Apr 2022
    बिना पक्षकार को सुने उस पर कोई कार्रवाई नहीं की जा सकती है। कानून द्वारा निर्धारित यथोचित प्रक्रिया को अपनाए बिना किसी तरह के डिमोलिशन की करवाई करना अन्याय है। इस तरह के डिमोलिशन संविधान के अनुच्छेद…
  • लाल बहादुर सिंह
    संकट की घड़ी: मुस्लिम-विरोधी नफ़रती हिंसा और संविधान-विरोधी बुलडोज़र न्याय
    22 Apr 2022
    इसका मुकाबला न हिन्दू बनाम हिंदुत्व से हो सकता, न ही जातियों के जोड़ गणित से, न केवल आर्थिक, मुद्दा आधारित अर्थवादी लड़ाइयों से। न ही महज़ चुनावी जोड़ तोड़ और एंटी-इनकंबेंसी के भरोसे इन्हें परास्त किया…
  • अनिल अंशुमन
    झारखंड: पंचायत चुनावों को लेकर आदिवासी संगठनों का विरोध, जानिए क्या है पूरा मामला
    22 Apr 2022
    कई आदिवासी संगठन पंचायती चुनावों पर रोक लगाने की मांग को लेकर राजभवन पर लगातार धरना दे रहें हैं। 
  • अनिल जैन
    मुद्दा: हमारी न्यायपालिका की सख़्ती और उदारता की कसौटी क्या है?
    22 Apr 2022
    कुछ विशेष और विशिष्ट मामलों में हमारी अदालतें बेहद नरमी दिखा रही हैं, लेकिन कुछ मामलों में बेहद सख़्त नज़र आती हैं। उच्च अदालतों का यह रुख महाराष्ट्र से लेकर पश्चिम बंगाल, पंजाब, दिल्ली और दूसरे…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License