बिहार के चुनावी मुद्दों और ज़मीनी ताप को महसूस कराने के लिए वरिष्ठ पत्रकार भाषा सिंह के साथ चलते हैं मुसहर टोले की ओर...जहां नीतीश के विकास की चिंदी-चिंदी उड़ रही है। गंदगी के अंबार पर , गरीबी में डूबी हुई ये जिंदगियां बता रही हैं कि किस तरह से छुआछूत हमारे दौर की घिनौनी हक़ीक़त बनी हुई है।