NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
भारत
राजनीति
रात में घुमने की भी आज़ादी
आर. नित्या
10 Aug 2014

७ फरवरी २०१३ से पहले शायद कभी आखरी बस लेने वाले इतने खुश देखे गए होगे। यह कार्यक्रम " रेक्लेम द नाईट" नाम से आयोजित किया गया था जिसमे गाना- बजाना और कविता पाठन शामिल था। 

मुख्यधारा की मीडिया जैसे जैसे १६ दिसम्बर की घटना से अपना मुह फेरते जा रही थी, उसके विरोध में आज यहाँ शिवाजी स्टेडियम बस टर्मिनल से कई लोगो ने अनेक जगह जाने के लिए ५ अलग और आखरी बस ली।  वे रास्ते भर प्रतिरोध के गीत गाते हुए गए। 

एक तरफ जब विरोध प्रदर्शनों में तोड़-फोड़ आम बात हो गई है जिसमे बसों को तोडना प्रमुख है, लोगो ने यह एक अनोखा विरोध करने का तरीका खोजा।  इसका उदेश्य सार्वजनिक परिवहन को आम जनता के लिए अधिक सुरक्षित बनाने और रात में बिना किसी भय के इनके प्रयोग को प्रेरित करना था।इस सामूहिक प्रयास के लिए जनम, एक्ट वन, जनवादी लेखक संघ, जन संस्कृति और बंगला मच ने कदम उठाये थे। 

शिवाजी टर्मिनस शहर का सबसे व्यस्त बस टर्मिनस में से एक है और यहाँ से आखिरी बस रात के 9:30 पे निकलती है।  योजना के अनुसार कुछ कलाकार हर बस में बैठे और जनता के साथ प्रतिरोध के गीत गाते हुए जिसमे कई फ़िल्मी गाने भी थे, इस सफ़र को पूरा किया।  

 

जन नाट्य मंच के सुधन्वा देशपांडे ने कहा कि," कार्यक्रम के पिच मुख्य उदेश्य सार्वजनिक परिवहनो के अधिक प्रयोग को प्रेरित करना, रात के सफ़र को और सुरक्षित बनाना और इस देर रात की बस को मनोरंजक बनाना था। 

असमान्य नाच गान, कविता पाठन और गिटार बजाने के आलावा यहाँ बाकी सब कुछ सामान्य था। कंडक्टर अपना काम कर रहे थे।  बस नंबर६२० के कंडक्टर योगेश वशिष्ठ ने कहा कि सामान्य तौर पर इतनी रात को बेहद कम महिलाएं बस का प्रयोग करती हैं।  केवल कुछ ही लड़कियां इंडिया गेट पर चढ़ती हैं और तीन मूर्ति भवन पर उतर जाती हैं।  रात का सफ़र महिलाओं के लिए उतना सुरक्षित नहीं होता और ऐसे प्रदर्शन लोगो को जागरूक और अपना स्वर बुलंद करने के लिए प्रेरित करते हैं। इस बस यात्रा ने रोजाना के यात्रियों के बीच बोलचाल को बढ़ाने और सहज बनाने का काम किया। 

बस नंबर ९१० के यातियों ने इस असमान्य गतिविधि में अपनी उत्सुकता दिखाई और कलाकारों का उत्साह बढ़ाने का काम किया। जन नाट्य मंच के माला हाशमी, सुधन्वा देशपांडे और कोमिता धाडा के कविता पाठन पर तालियाँ भी बजाई। इस कार्यक्रम को लोगो तक फेसबुक के माध्यम से पहुचाया गया जिसमे 9:30 की आखिरी बस के नाम एक इवेंट पेज बनाया गया था।  

 

"रेक्लेम डी नाईट" नामक विरोध प्रदर्शन दिल्ली गैंगरपे को सन्दर्भ में लेते हुए, महिलाओं के ऊपर बढती हिंसा के विरोध में आयोजित किया गया था। 

 

 

जन नाट्य मंच
निर्भया
दिल्ली गैंगरेप
एक्ट वन
जनसंस्कृति
जनवादी महिला संगठन
जनवादी लेखक संघ
डीटीसी

Related Stories

तीन लेखक संगठनों का साझा कार्यक्रम : “सर जोड़ के बैठो कोई तदबीर निकालो”

डीटीसी कर्मचारीयों का सम्मेलन, कहा जल्द ही सरकार के खिलाफ करेंगे विरोध प्रदर्शन

जम्मू-कश्मीर में यौन हिंसा के मुजरिम को क़ानून अब भी संरक्षण देता है, क्या कठुआ मामला इसे बदल पाएगा?

केदारनाथ सिंह का निधन प्रगतिशील-जनवादी धारा के लिए एक अपूरणीय क्षति है:जनवादी लेखक संघ

अरुणा रॉय : कहानियों, नाटकों और गानों के ज़रिये करें जनवादी राजनीति का प्रचार

जनसा: साहित्य के सामाजिक सरोकारों का पर्व

सफ़दर आज भी ज़िन्दा है...

महिलाओं के मुद्दों पर मोदी सरकार नाकाम: जगमती


बाकी खबरें

  • Ramjas
    न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    दिल्ली: रामजस कॉलेज में हुई हिंसा, SFI ने ABVP पर लगाया मारपीट का आरोप, पुलिसिया कार्रवाई पर भी उठ रहे सवाल
    01 Jun 2022
    वामपंथी छात्र संगठन स्टूडेंट फेडरेशन ऑफ़ इण्डिया(SFI) ने दक्षिणपंथी छात्र संगठन पर हमले का आरोप लगाया है। इस मामले में पुलिस ने भी क़ानूनी कार्रवाई शुरू कर दी है। परन्तु छात्र संगठनों का आरोप है कि…
  • monsoon
    मोहम्मद इमरान खान
    बिहारः नदी के कटाव के डर से मानसून से पहले ही घर तोड़कर भागने लगे गांव के लोग
    01 Jun 2022
    पटना: मानसून अभी आया नहीं है लेकिन इस दौरान होने वाले नदी के कटाव की दहशत गांवों के लोगों में इस कदर है कि वे कड़ी मशक्कत से बनाए अपने घरों को तोड़ने से बाज नहीं आ रहे हैं। गरीबी स
  • Gyanvapi Masjid
    भाषा
    ज्ञानवापी मामले में अधिवक्ताओं हरिशंकर जैन एवं विष्णु जैन को पैरवी करने से हटाया गया
    01 Jun 2022
    उल्लेखनीय है कि अधिवक्ता हरिशंकर जैन और उनके पुत्र विष्णु जैन ज्ञानवापी श्रृंगार गौरी मामले की पैरवी कर रहे थे। इसके साथ ही पिता और पुत्र की जोड़ी हिंदुओं से जुड़े कई मुकदमों की पैरवी कर रही है।
  • sonia gandhi
    भाषा
    ईडी ने कांग्रेस नेता सोनिया गांधी, राहुल गांधी को धन शोधन के मामले में तलब किया
    01 Jun 2022
    ईडी ने कांग्रेस अध्यक्ष को आठ जून को पेश होने को कहा है। यह मामला पार्टी समर्थित ‘यंग इंडियन’ में कथित वित्तीय अनियमितता की जांच के सिलसिले में हाल में दर्ज किया गया था।
  • neoliberalism
    प्रभात पटनायक
    नवउदारवाद और मुद्रास्फीति-विरोधी नीति
    01 Jun 2022
    आम तौर पर नवउदारवादी व्यवस्था को प्रदत्त मानकर चला जाता है और इसी आधार पर खड़े होकर तर्क-वितर्क किए जाते हैं कि बेरोजगारी और मुद्रास्फीति में से किस पर अंकुश लगाने पर ध्यान केंद्रित किया जाना बेहतर…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License