NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
आंदोलन
भारत
राजनीति
शाहीन बाग़ मामला : SC का अंतरिम आदेश से इनकार, 23 मार्च तक सुनवाई टली
सुप्रीम कोर्ट ने शाहीन बाग़ मामले पर सुनवाई करते हुए कहा कि इस समय किसी भी निर्णय के लिए माहौल सही नहीं है। कोर्ट ने दिल्ली पुलिस पर भी सवाल उठाए हैं।
न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
26 Feb 2020
शाहीन बाग़
Image Courtesy: अमर उजाला

26 फरवरी को शाहीन बाग़ गए वार्ताकारों की रिपोर्ट पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कोई भी अंतरिम आदेश देने से इनकार कर दिया है और मामला की अगली सुनवाई के लिए 23 मार्च की तारीख़ दी है।

शाहीन बाग़ में ढाई महीने से नागरिकता संशोधन क़ानून के विरोध में चल रहे प्रदर्शन को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने आज सुनवाई की। शाहीन बाग़ प्रदर्शन को लेकर कोर्ट में याचिका दायर की गई थी कि प्रदर्शन की वजह से सड़कें बंद हैं लिहाज़ा आम लोगों को उससे दिक़्क़त हो रही है।

कोर्ट ने वार्ताकार नियुक्त किए थे जिन्होंने शाहीन बाग़ जा कर प्रदर्शनकारियों से 4 दिनों तक बातचीत की। मध्यस्थों ने 23 फरवरी को कोर्ट को अपनी रिपोर्ट सौंपी थी।

आपको बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने संजय हेगड़े और साधना रामचंद्रन को वार्ताकारों के रूप में नियुक्त किया था।

ग़ौरतलब है कि 15 दिसम्बर से सीएए के ख़िलाफ़ शाहीन बाग़ में शांतिपूर्ण प्रदर्शन जारी है।

दिल्ली के अन्य उत्तर-पूर्वी इलाक़े में सीएए प्रदर्शनों के दौरान हुई हिंसा को सुप्रीम कोर्ट ने दुर्भाग्यपूर्ण बताया लेकिन उनसे संबंधित याचिकाओं पर सुनवाई से इनकार किया।

कोर्ट ने यह भी कहा कि वह हिंसा पर याचिकाओं पर विचार करके शाहीन बाग़ प्रदर्शनों के संबंध में दायर की गई याचिकाओं के दायरे में विस्तार नहीं करेगा। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि इस पर हाई कोर्ट विचार करेगा।

(समाचार एजेन्सी भाषा इनपुट के साथ)

Shaheen Bagh Protest
Supreme Court
delhi police
shaheen baagh hearing
shaheen bagh hearing sc
shaheen bagh hearing 26 feberuary

Related Stories

लंबे संघर्ष के बाद आंगनवाड़ी कार्यकर्ता व सहायक को मिला ग्रेच्युटी का हक़, यूनियन ने बताया ऐतिहासिक निर्णय

मुस्लिम विरोधी हिंसा के ख़िलाफ़ अमन का संदेश देने के लिए एकजुट हुए दिल्ली के नागरिक

दिल्ली दंगों के दो साल: इंसाफ़ के लिए भटकते पीड़ित, तारीख़ पर मिलती तारीख़

जानिए: अस्पताल छोड़कर सड़कों पर क्यों उतर आए भारतीय डॉक्टर्स?

दिल्ली: प्रदर्शन कर रहे डॉक्टरों पर पुलिस का बल प्रयोग, नाराज़ डॉक्टरों ने काम बंद का किया ऐलान

किसान आंदोलन@378 : कब, क्या और कैसे… पूरे 13 महीने का ब्योरा

दिल्ली: ऐक्टू ने किया निर्माण मज़दूरों के सवालों पर प्रदर्शन

सुप्रीम कोर्ट को दिखाने के लिए बैरिकेड हटा रही है सरकार: संयुक्त किसान मोर्चा

बाहरी साज़िशों और अंदरूनी चुनौतियों से जूझता किसान आंदोलन अपनी शोकांतिका (obituary) लिखने वालों को फिर निराश करेगा

दिल्ली सरकार के विश्वविद्यालय के सफ़ाई कर्मचारियों ने कपड़े उतार कर मुख्यमंत्री आवास पर किया प्रदर्शन!


बाकी खबरें

  • विकास भदौरिया
    एक्सप्लेनर: क्या है संविधान का अनुच्छेद 142, उसके दायरे और सीमाएं, जिसके तहत पेरारिवलन रिहा हुआ
    20 May 2022
    “प्राकृतिक न्याय सभी कानून से ऊपर है, और सर्वोच्च न्यायालय भी कानून से ऊपर रहना चाहिये ताकि उसे कोई भी आदेश पारित करने का पूरा अधिकार हो जिसे वह न्यायसंगत मानता है।”
  • रवि शंकर दुबे
    27 महीने बाद जेल से बाहर आए आज़म खान अब किसके साथ?
    20 May 2022
    सपा के वरिष्ठ नेता आज़म खान अंतरिम ज़मानत मिलने पर जेल से रिहा हो गए हैं। अब देखना होगा कि उनकी राजनीतिक पारी किस ओर बढ़ती है।
  • डी डब्ल्यू स्टाफ़
    क्या श्रीलंका जैसे आर्थिक संकट की तरफ़ बढ़ रहा है बांग्लादेश?
    20 May 2022
    श्रीलंका की तरह बांग्लादेश ने भी बेहद ख़र्चीली योजनाओं को पूरा करने के लिए बड़े स्तर पर विदेशी क़र्ज़ लिए हैं, जिनसे मुनाफ़ा ना के बराबर है। विशेषज्ञों का कहना है कि श्रीलंका में जारी आर्थिक उथल-पुथल…
  • आज का कार्टून
    कार्टून क्लिक: पर उपदेस कुसल बहुतेरे...
    20 May 2022
    आज देश के सामने सबसे बड़ी समस्याएं महंगाई और बेरोज़गारी है। और सत्तारूढ़ दल भाजपा और उसके पितृ संगठन आरएसएस पर सबसे ज़्यादा गैर ज़रूरी और सांप्रदायिक मुद्दों को हवा देने का आरोप है, लेकिन…
  • राज वाल्मीकि
    मुद्दा: आख़िर कब तक मरते रहेंगे सीवरों में हम सफ़ाई कर्मचारी?
    20 May 2022
    अभी 11 से 17 मई 2022 तक का सफ़ाई कर्मचारी आंदोलन का “हमें मारना बंद करो” #StopKillingUs का दिल्ली कैंपेन संपन्न हुआ। अब ये कैंपेन 18 मई से उत्तराखंड में शुरू हो गया है।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License