NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
भारत
राजनीति
बिहार विस के उपाध्यक्ष पद के लिए एनडीए और महागठबंधन ने उतारे उम्मीदवार
सत्तारूढ़ एनडीए और विपक्षी महागठबंधन के बीच एक बार फिर बुधवार को विधानसभा उपाध्यक्ष पद चुनाव को लेकर सदन में शक्ति परीक्षण होगा।
भाषा
23 Mar 2021
bihar

पटना: बिहार में सत्तारूढ़ राजग (NDA) और विपक्षी महागठबंधन के बीच एक बार फिर बुधवार को विधानसभा उपाध्यक्ष पद चुनाव को लेकर सदन में शक्ति परीक्षण होगा। दोनों ही खेमों के उम्मीदवारों ने उपाध्यक्ष पद के लिए अपने-अपने नामांकन दाखिल कर दिए हैं।

जदयू के वरिष्ठ नेता और पूर्व मंत्री महेश्वर हजारी ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार व अन्य की मौजूदगी के बीच मंगलवार को अपना नामांकन दाखिल किया।

वहीं, राजद के विधायक भूदेव चौधरी की ओर से उनके प्रस्तावकों, भाई वीरेंद्र और आलोक मेहता (राजद), अजीत शर्मा (कांग्रेस), राम रत्न सिंह (भाकपा) अजय सिंह (माकपा) और महबूब आलाम (भाकपा माले) ने नामांकन पत्र दाखिल किया।

संख्या बल एनडीए के उम्मीदवार के पक्ष में लग रहा है, क्योंकि 243 सदस्यीय विधानसभा में राजग के 125 विधायक हैं। इसके अलावा बसपा के एक विधायक तथा एक निर्दलीय विधायक को भी एनडीए के पाले में लाया गया है और दोनों को राज्य कैबिनेट में स्थान दिया गया है।

राजद विधायक ललित यादव ने कहा, “ विपक्ष (विधानसभा) अध्यक्ष और उपाध्यक्ष, दोनों का निर्वाचन सर्वसम्मति से कराने के पक्ष में रहा है। राज्य विधानसभा में एक परंपरा है कि अध्यक्ष सत्तारूढ़ गठबंधन का होता है जबकि उपाध्यक्ष विपक्ष का होता है।”

उन्होंने कहा, “ पिछले साल जब अध्यक्ष का चुनाव हो रहा था तब हमारे नेता तेजस्वी यादव के इस आशय के प्रस्ताव को सत्तारूढ़ गठबंधन ने ठुकरा दिया था। नतीजतन, हमने तब अपना उम्मीदवार खड़ा किया और अब भी यही कर रहे हैं।”

भाजपा नेता विजय कुमार सिन्हा विधानसभा अध्यक्ष निर्वाचित हुए। उन्होंने राजद के अवध बिहारी चौधरी को शिकस्त दी थी।

पिछले साल हुए विधानसभा चुनाव में राजग के घटक दलों में भाजपा ने सबसे ज्यादा सीटें जीती थी। लिहाजा विधानसभा अध्यक्ष का पद भाजपा को मिला और उपाध्यक्ष पद के लिए जदयू ने अपना उम्मीदवार खड़ा किया है।

पिछली बार नीतीश कुमार की पार्टी जदयू के विजय चौधरी विधानसभा अध्यक्ष थे जबकि भाजपा के अमरेंद्र प्रताप सिंह उपाध्यक्ष थे।

Bihar Assembly
vice president of bihar election
rjd vs jdu
nda vs jdu
bihar election

Related Stories

बिहार: विधानसभा स्पीकर और नीतीश सरकार की मनमानी के ख़िलाफ़ भाकपा माले का राज्यव्यापी विरोध

बिहार: तीन विधायकों के बीजेपी में शामिल होने के बाद भी साहनी ने रखा संयम, बोले- निषाद कोटा के लिए करेंगे संघर्ष

फ़ासीवाद से कैसे नहीं लड़ना चाहिए?

विधानसभा में बल प्रयोग के विरोध में कल बिहार बंद, तेजस्वी ने कहा डरने वाले नहीं, लड़ाई जारी रहेगी

बिहार: विपक्षी विधायकों ने मनाया "धिक्कार दिवस', समानांतर सदन चलाया, मुख्यमंत्री से माफ़ी की मांग

बिहार में पुलिस बल के हाथों क्यों कुचली गयी विधायिका?

बिहार में सुशासन नहीं, गड़बड़ियों की है बहार!

भारत एक मौज: 'लव जिहाद', कपिल मिश्रा की दिवाली और भी बहुत कुछ

चुनावी माहौल को केवल हार-जीत के लिहाज से आंकेंगे तो कुछ भी हासिल नहीं होगा!

बंगाल में गठबंधन के लिए बिहार से सीख : ज्यादा नहीं, बल्कि जिताऊ सीटें लड़ने पर ज़ोर


बाकी खबरें

  • EVM
    रवि शंकर दुबे
    यूपी चुनाव: इस बार किसकी सरकार?
    09 Mar 2022
    उत्तर प्रदेश में सात चरणों के मतदान संपन्न होने के बाद अब नतीजों का इंतज़ार है, देखना दिलचस्प होगा कि ईवीएम से क्या रिजल्ट निकलता है।
  • moderna
    ऋचा चिंतन
    पेटेंट्स, मुनाफे और हिस्सेदारी की लड़ाई – मोडेरना की महामारी की कहानी
    09 Mar 2022
    दक्षिण अफ्रीका में पेटेंट्स के लिए मोडेरना की अर्जी लगाने की पहल उसके इस प्रतिज्ञा का सम्मान करने के इरादे पर सवालिया निशान खड़े कर देती है कि महामारी के दौरान उसके द्वारा पेटेंट्स को लागू नहीं किया…
  • nirbhaya fund
    भारत डोगरा
    निर्भया फंड: प्राथमिकता में चूक या स्मृति में विचलन?
    09 Mar 2022
    महिलाओं की सुरक्षा के लिए संसाधनों की तत्काल आवश्यकता है, लेकिन धूमधाम से लॉंच किए गए निर्भया फंड का उपयोग कम ही किया गया है। क्या सरकार महिलाओं की फिक्र करना भूल गई या बस उनकी उपेक्षा कर दी?
  • डेविड हट
    यूक्रेन विवाद : आख़िर दक्षिणपूर्व एशिया की ख़ामोश प्रतिक्रिया की वजह क्या है?
    09 Mar 2022
    रूस की संयुक्त राष्ट्र में निंदा करने के अलावा, दक्षिणपूर्वी एशियाई देशों में से ज़्यादातर ने यूक्रेन पर रूस के हमले पर बहुत ही कमज़ोर और सतही प्रतिक्रिया दी है। विशेषज्ञों का कहना है कि ऐसा दूसरों…
  • evm
    विजय विनीत
    यूपी चुनाव: नतीजों के पहले EVM को लेकर बनारस में बवाल, लोगों को 'लोकतंत्र के अपहरण' का डर
    09 Mar 2022
    उत्तर प्रदेश में ईवीएम के रख-रखाव, प्रबंधन और चुनाव आयोग के अफसरों को लेकर कई गंभीर सवाल उठे हैं। उंगली गोदी मीडिया पर भी उठी है। बनारस में मोदी के रोड शो में जमकर भीड़ दिखाई गई, जबकि ज्यादा भीड़ सपा…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License