NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
ट्रंप प्रशासन के प्रतिबंधों को हटाने के बाद परमाणु समझौते में लौटने का ईरान का वादा
हालांकि बाइडन प्रशासन ने पहले प्रतिबंधों को उठाने से इनकार कर दिया है और इस समझौते में शामिल होने से पहले जेसीपीओए में ईरान के पूरी तरह पालन करने की पूर्व शर्त रखी है।
पीपल्स डिस्पैच
08 Feb 2021
ट्रंप प्रशासन के प्रतिबंधों को हटाने के बाद परमाणु समझौते में लौटने का ईरान का वादा

रविवार 7 फरवरी को ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला खामेनी ने कहा कि, "अमेरिका अपने प्रतिबंधों को बयानों और कागजों पर नहीं बल्कि हकीकत में उठा लेता है और ईरान इन प्रतिबंधों में छूट की पुष्टि कर लेता है तो वह जेसीपीओएए [ज्वाइंट कम्प्रीहेंसिव प्लान ऑफ एक्शन] की शर्तों में लौट आएगा।" खामेनी राजतंत्र से अपने त्याग और 1979 में इस्लामिक क्रांति में शामिल होने की बरसी के मौके पर वायु सेना के अधिकारियों को संबोधित कर रहे थे।

खामेनी ने जोर देकर कहा कि अमेरिकियों और यूरोपीय लोगों को ईरान पर अपनी खुद की कोई भी शर्त थोपने का कोई अधिकार नहीं है क्योंकि उन्होंने जेसीपीओए या ईरान परमाणु समझौते के नियमों का उल्लंघन किया है। वह सेक्रेट्री ऑफ स्टेट एंथनी ब्लिंकन की मांग पर प्रतिक्रिया दे रहे थे। उनकी मांग थी कि अमेरिका को इस समझौते में फिर से शामिल होने के क्रम में ईरान को पहले इस समझौते के लिए अपने सभी शर्तों पर वापस लौटना होगा।

जेसीपीओए पर साल 2015 में ईरान और अमेरिका के साथ पांच अन्य देशों द्वारा हस्ताक्षर किया गया था। हालांकि, डोनाल्ड ट्रम्प ने इस समझौते को एकपक्षीय होने का आरोप लगाते हुए साल 2018 में एकतरफा तरीके से हटने की घोषणा की थी और ईरान को इसके मिसाइल कार्यक्रम और इसकी क्षेत्रीय नीतियों सहित इस समझौते पर फिर से चर्चा करने के लिए मजबूर करने के लिए ईरान पर अपने तथाकथित "अधिकतम दबाव" अभियान के तहत विभिन्न एकतरफा प्रतिबंध लगाए गए थे।

तेहरान इस समझौते का पालन करने और ईरान को अमेरिकी प्रतिबंधों से बचाने के लिए प्रभावी उपाय करने के लिए अपने यूरोपीय हस्ताक्षरकर्ताओं को चेतावनी देने के बाद पिछले साल इस समझौते के लिए अपनी कुछ प्रतिबद्धताओं से वापस होना शुरू कर दिया। इसने यह सुनिश्चित किया है कि ये सभी कदम जेसीपीओए के प्रावधानों के तहत रहें और एक बार जब अमेरिका इस समझौते में शामिल हो जाता है और प्रतिबंधों को हटा देता है तो यह कुछ ही दिनों के भीतर पूरी तरह पालन करने लगेगा।

रविवार को सीबीएस न्यूज के साथ अपने साक्षात्कार के दौरान एक सवाल का जवाब देते हुए राष्ट्रपति जो बाइडन ने अमेरिका के दृष्टिकोण को दोहराया। यह सवाल पूछे जाने पर कि क्या अमेरिका इस समझौते के उल्लंघन को रोकने के लिए तेहरान के लिए अपने प्रतिबंधों को हटाएगा तो इस पर बाइडन ने नकारात्मक में जवाब दिया।

बाइडन ने अपने चुनाव प्रचार के दौरान ट्रम्प के फैसले को पलटने और इस समझौते में फिर से शामिल होने का वादा किया था। हालांकि, उनके पदभार संभालने के बाद से उनके प्रशासन ने कड़ा रुख अपनाया है जिसको लेकर ईरान ने आरोप लगाया है कि प्रशासन ईरान के खिलाफ ट्रम्प की गलत नीतियों का फायदा उठाने की कोशिश कर रहा है।

IRAN
America
trump administration
Ali Khamenei

Related Stories

और फिर अचानक कोई साम्राज्य नहीं बचा था

ईरानी नागरिक एक बार फिर सड़कों पर, आम ज़रूरत की वस्तुओं के दामों में अचानक 300% की वृद्धि

असद ने फिर सीरिया के ईरान से रिश्तों की नई शुरुआत की

क्या दुनिया डॉलर की ग़ुलाम है?

सऊदी अरब के साथ अमेरिका की ज़ोर-ज़बरदस्ती की कूटनीति

यूक्रेन में छिड़े युद्ध और रूस पर लगे प्रतिबंध का मूल्यांकन

पड़ताल दुनिया भर कीः पाक में सत्ता पलट, श्रीलंका में भीषण संकट, अमेरिका और IMF का खेल?

अमेरिका ने ईरान पर फिर लगाम लगाई

ईरान पर विएना वार्ता गंभीर मोड़ पर 

लखनऊ में नागरिक प्रदर्शन: रूस युद्ध रोके और नेटो-अमेरिका अपनी दख़लअंदाज़ी बंद करें


बाकी खबरें

  • सबरंग इंडिया
    सुप्रीम कोर्ट द्वारा नियुक्त समिति ने आशीष मिश्रा को दी गई जमानत रद्द करने की सिफारिश की
    02 Apr 2022
    सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार को 4 अप्रैल, 2022 तक एसआईटी द्वारा जारी रिपोर्ट का जवाब देने का निर्देश दिया
  • विजय विनीत
    यूपी बोर्डः पेपर लीक प्रकरण में "अमर उजाला" ने जेल जाने वाले अपने ही पत्रकारों से क्यों झाड़ लिया पल्ला?
    02 Apr 2022
    "मीडिया घरानों पर काबिज पूंजीपति भाजपा सरकार की जी-हुजूरी में चारणयुग को भी मात देने लगे हैं। इससे बड़े शर्म की बात और क्या हो सकती है कि जिन मीडिया संस्थानों के पत्रकारों को सरकार और सरकारी मशीनरी…
  • तारो जूनिगा सिल्वा
    चिली की नई संविधान सभा में मज़दूरों और मज़दूरों के हक़ों को प्राथमिकता..
    02 Apr 2022
    संवैधानिक सभा की प्रक्रिया में श्रमिक खुद की एक यूनियन  भी बना रहे हैं ताकि श्रमिक अधिकारों को प्राथमिकता दी जा सके।
  • एम.ओबैद
    बीजेपी बिहार की सत्ता हासिल करना चाहती है या नीतीश सौंपना चाहते हैं!
    02 Apr 2022
    "नीतीश कुमार को लेकर जो अटकलें सरेआम हैं, वे कोई नई नहीं हैं। पिछले विधानसभा चुनाव के बाद से ये चर्चा तेज है। उसी समय से इसकी सुगबुगाहट थी कि कम सीट मिलने पर भी नीतीश कुमार को सीएम बनाया गया है।"
  • तारिक अनवर
    सोनभद्र के ग्रामीणों को बीमार, अपंग बनाते पीने के पानी में मिले दूषित पदार्थ  
    02 Apr 2022
    फ़्लोरोसिस, सिलिकोसिस, कैंसर, टीबी आदि जैसी बीमारियों से पीड़ित इन ग्रामीणों का आरोप है कि सोनभद्र और सिंगरौली में स्थित थर्मल प्लांट से रसायनों का ख़तरनाक़ मिश्रण भू-जल और मिट्टी में रिस रहा है।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License