NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
ट्रांस-विमेन की हत्या के दोषी अमेरिकी नौसैनिक के लिए डुटर्टे की माफ़ी से लोग नाराज़
मानवाधिकार समूह कारापाटन ने "अमेरिकी साम्राज्यवादी हितों के लिए चापलूसी" बताते हुए नौसैनिक को माफ़ करने की राष्ट्रपति के फैसले की निंदा की है।
पीपल्स डिस्पैच
08 Sep 2020
ट्रांस-विमेन की हत्या के दोषी अमेरिकी नौसैनिक के लिए डुटर्टे की माफ़ी से लोग नाराज़
(फोटो: एपीडब्ल्यूएलडी)

संयुक्त राज्य अमेरिका के एक नौसैनिक को फिलीपींस के राष्ट्रपति रोड्रिगो डुटर्टे ने क्षमा कर दिया है जिससे एक ट्रांसजेंडर विमेन की हत्या को लेकर उसके जेल की सजा समाप्त हो गई। जोसेफ स्कॉट पेम्बर्टन को क्षमा करने की ये घोषणा सोमवार 7 सितंबर को की गई जो साल 2014 में जेनिफर लाउड की हत्या के लिए 10 साल तक जेल की सजा काट रहा था। इस फैसले को लेकर विपक्ष ने यूएस के हितों का ध्यान रखने के लिए राष्ट्रपति के ख़िलाफ़ कड़ी आलोचना की।

दिसंबर 2015 में एक स्थानीय अदालत द्वारा उसे इस हत्या के आरोप के लिए दोषी ठहराने के बाद पेम्बर्टन के छह से बारह साल की जेल की सजा को इस क्षमा ने हल्का कर दिया। साल 2016 में एक अपीलीय अदालत ने उसकी अधिकतम सजा को घटाकर 10 साल कर दिया था। पेम्बर्टन को कभी जेल नहीं भेजा गया और उसे केवल कैंप एगिनाल्डो में फिलीपींस सशस्त्र बल के मुख्यालय के एक कस्टोडियल सेंटर में रखा गया।

लाउडे की हत्या के चलते पूरे फिलिपींस में ट्रांस-राइट एक्टिविस्ट और वामपंथी समूहों ने बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किया था जिन्होंने इसे ट्रांसफोबिक हमले के रूप बताते हुए इसकी निंदा की। एक्टिविस्टों ने इस हत्या को ट्रांसफ़ोबिक नहीं समझते हुए कार्रवाई न करने की अदालतों की आलोचना की है।

निरंतर सरकारों और अदालतों द्वारा पेम्बर्टन का व्यवहार जहां उसे केवल अमेरिका के इशारे पर एक प्रतिबंधित परिसर में रखा गया था विवाद का एक प्रमुख बिंदु रहा है। विपक्षी समूहों और यहां तक कि फिलीपींस की भूमिगत कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीपी) ने भी पेम्बर्टन को हिरासत को नहीं त्यागने को लेकर अमेरिकी प्रशासन की आलोचना की है।

विपक्षी नेताओं ने बताया कि फिलीपींस में तैनात अमेरिकी सैन्य कर्मियों का अक्सर स्थानीय क़ानूनों को तोड़ने पर भी विशेषाधिकार जैसा बर्ताव होता है। हत्या और उसके बाद की सुनवाई ने भी दोनों देशों के बीच विजिटिंग फोर्सेस एग्रीमेंट की समीक्षा करने को मजबूर किया जो फिलीपींस में अमेरिकी सैनिकों को विशेष सुरक्षा देते हैं।

इस क्षमा की घोषणा करने के बाद डुटर्टे ने अपने निर्णय का एक टेलीविजन संबोधन में बचाव करते हुए कहा कि उनके आलोचकों ने "पेम्बर्टन के साथ उचित व्यवहार नहीं किया है।" सीनेटर रीसा होन्टिवरस ने अपराधों को लेकर फिलिपिनो के लिए बेहद कठोर दंड देने का राष्ट्रपति का कपट बताया, जबकि अमेरिकी सैनिकों को संदेह का लाभ दिया गया।

लाउडे परिवार ने भी अपने क़ानूनी प्रतिनिधि वर्जीनिया लैक्सा सुएरेज़ के माध्यम से इस क्षमा को "अन्याय" बताते हुए निंदा की है। सुएरेज़ ने एक बयान में कहा, "यह न केवल जेनिफर लाउडे और परिवार के लिए एक अन्याय है बल्कि फिलिपिनवासी के साथ घोर अन्याय है।" इस बीच, ट्विटर पर भी विरोध तेज़ हो गया। हैशटैग #JusticeForJenniferLaude फिलीपींस के साथ साथ विश्व में टॉप ट्रेंड बन गया।

Philippines
Justice for Jennifer Laude
Filipino Women
American naval

Related Stories

फ़िलीपींस ने प्रतिबंधित कम्युनिस्ट पार्टी की राजनीतिक शाखा को "आतंकवादी" घोषित किया

फ़िलीपींस : सेना की गोलीबारी में एक नाबालिग़ सहित 3 आदिवासी मारे गए

फ़िलीपींस में पुलिस की छापेमारी में एक गिरफ़्तार और दो शांति कार्यकर्ताओं की मौत

फ़िलीपींस में आतंकवादियों की सूची की व्यापक निंदा की गई

फ़िलीपींस : 10 दिनों में 1,00,000 नए मामले, लॉकडाउन अगले सप्ताह तक बढ़ाया गया

9 राजनीतिक कार्यकर्ताओं की हत्या करने वाली पुलिस छापेमारी के मुद्दे पर डुटेर्टे सरकार के ख़िलाफ़ रोष

फ़िलीपींस के सेक्रेटरी ऑफ़ जस्टिस ने एंटी ड्रग ऑपरेशन में पुलिस की ग़लती मानी

विस्थापित जनजातीय छात्रों के स्कूल पर पुलिस छापेमारी को लेकर फ़िलीपींस में नाराज़गी

फ़िलिपींस : देश के क्रूर आतंकवाद विरोधी क़ानून के ख़िलाफ़ सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई शुरू

फ़िलीपींस : विश्वविद्यालयों ने "रेड-टैगिंग" पर सरकार के बयान की निंदा की


बाकी खबरें

  • सोनिया यादव
    समलैंगिक साथ रहने के लिए 'आज़ाद’, केरल हाई कोर्ट का फैसला एक मिसाल
    02 Jun 2022
    साल 2018 में सुप्रीम कोर्ट के ऐतिहासिक फैसले के बाद भी एलजीबीटी कम्युनिटी के लोग देश में भेदभाव का सामना करते हैं, उन्हें एॉब्नार्मल माना जाता है। ऐसे में एक लेस्बियन कपल को एक साथ रहने की अनुमति…
  • समृद्धि साकुनिया
    कैसे चक्रवात 'असानी' ने बरपाया कहर और सालाना बाढ़ ने क्यों तबाह किया असम को
    02 Jun 2022
    'असानी' चक्रवात आने की संभावना आगामी मानसून में बतायी जा रही थी। लेकिन चक्रवात की वजह से खतरनाक किस्म की बाढ़ मानसून से पहले ही आ गयी। तकरीबन पांच लाख इस बाढ़ के शिकार बने। इनमें हरेक पांचवां पीड़ित एक…
  • बिजयानी मिश्रा
    2019 में हुआ हैदराबाद का एनकाउंटर और पुलिसिया ताक़त की मनमानी
    02 Jun 2022
    पुलिस एनकाउंटरों को रोकने के लिए हमें पुलिस द्वारा किए जाने वाले व्यवहार में बदलाव लाना होगा। इस तरह की हत्याएं न्याय और समता के अधिकार को ख़त्म कर सकती हैं और इनसे आपात ढंग से निपटने की ज़रूरत है।
  • रवि शंकर दुबे
    गुजरात: भाजपा के हुए हार्दिक पटेल… पाटीदार किसके होंगे?
    02 Jun 2022
    गुजरात में पाटीदार समाज के बड़े नेता हार्दिक पटेल ने भाजपा का दामन थाम लिया है। अब देखना दिलचस्प होगा कि आने वाले चुनावों में पाटीदार किसका साथ देते हैं।
  • सरोजिनी बिष्ट
    उत्तर प्रदेश: "सरकार हमें नियुक्ति दे या मुक्ति दे"  इच्छामृत्यु की माँग करते हजारों बेरोजगार युवा
    02 Jun 2022
    "अब हमें नियुक्ति दो या मुक्ति दो " ऐसा कहने वाले ये आरक्षित वर्ग के वे 6800 अभ्यर्थी हैं जिनका नाम शिक्षक चयन सूची में आ चुका है, बस अब जरूरी है तो इतना कि इन्हे जिला अवंटित कर इनकी नियुक्ति कर दी…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License