NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
भारत
राजनीति
ई-श्रम पोर्टल पर पंजीकरण कराने वाले कामगारों में सबसे अधिक कृषि क्षेत्र से
इस पोर्टल पर पंजीकरण कराने वाले कामगारों की सबसे अधिक संख्या कृषि क्षेत्र से जुड़े कामगारों की है। पिछले साल अगस्त से शुरू हुए इस पोर्टल पर अब तक क़रीब 10 करोड़ से अधिक कृषि क्षेत्र के कामगारों ने अपना पंजीकरण करवाया है।
न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
11 Jan 2022
Agriculture

केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्रालय के अधीन पिछले साल अगस्त में शुरु किए गए ई-श्रम पोर्टल में असंगठित क्षेत्र के करीब 21 करोड़ कामगारों ने अब तक अपना पंजीकरण कराया है। ई-श्रम योजना में पंजीकरण करने वालों की संख्या में तेजी से वृद्धि हो रही है। इस योजना में पंजीकरण करने वालों को सरकार की सभी प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष योजनाओं का सीधा लाभ मिलेगा। इसमें कंस्ट्रक्शन वर्कर, माइग्रेंट वर्कर,गिग एंड प्लैटफॉर्म वर्कर, स्ट्रीट वेंडर, डोमेस्टिक वर्कर, एग्रीकल्चर वर्कर तथा अन्य असंगठित कामगार अपना पंजीकरण करा सकते हैं और इसका लाभ उठा सकते हैं।

पंजीकरण कराने वाले 20 करोड़ कामगारों की विवरण के अनुसार सामान्य श्रेणी के 25.80 प्रतिशत, अनुसूचित जाति के 21.98 प्रतिशत और अनुसूचित जनजाति के 6.93 प्रतिशत कामगार हैं जबकि 45.29 प्रतिशत पंजीकरण के साथ ओबीसी कामगारों की संख्या सबसे अधिक है।

श्रम और रोजगार मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार 6 जनवरी को पूरे देश से इस पोर्टल पर कुल 37 लाख 23 हजार 639 लोगों पंजीकरण करवाया था। कुल आवेदनों में से 52.83 प्रतिशत महिलाएं हैं जबकि 47.17 प्रतिशत पुरुष हैं जिन्होंने अपना पंजीकरण करवाया है।

देश भर में इस पोर्टल पर पंजीकरण कराने वाले कामगारों की सबसे अधिक संख्या कृषि क्षेत्र से जुड़े कामगारों की है। पिछले साल अगस्त से शुरू हुए इस पोर्टल पर अब तक करीब 10करोड़ से अधिक कृषि क्षेत्र के कामगारों ने अपना पंजीकरण करवाया है। डोमेस्टिक एवं हाउस होल्ड सेक्टर के करीब 2,17,20,455कामगारों ने पंजीकरण कराया। पंजीकरण के मामले में ये क्षेत्र दूसरे स्थान पर रहा। वहीं कंस्ट्रक्शन क्षेत्र के 1,97,12,061, अपारेल के1,30,07,367 और मिसलेनियस श्रेणी के82,33,805 कामगारों ने ई-श्रम पोर्टल पर अपना पंजीकरण कराया है।

इस पोर्टल पर देश भर में सबसे अधिक लोगों ने उत्तर प्रदेश से पंजीकरण कराया है। इस राज्य से पंजीकरण कराने वालों की संख्या करीब 7करोड़ को पार कर गई है। वहीं दूसरे स्थान पर पश्चिम बंगाल है जहां से पंजीकरण कराने वालों की संख्या करीब ढ़ाई करोड़ पहुंच चुकी है। तीसरे स्थान पर बिहार है जहां से असंगठित क्षेत्र के कामगारों करीब दो करोड़ से अधिक लोगों ने पंजीकरण कराया है। गत सोमवार की शाम तक बिहार के 2 करोड़ 11 लाख 47हजार 280 कामगारों का निबंधन हो गया है। 

इनमें 1 करोड़ 19 लाख 55 हजार 95महिलाएं हैं जो कुल का 56.93 प्रतिशत हैं। 

जबकि 91 लाख 92 हजार 123 पुरूष कामगारों ने पंजीकरण कराया है जो कुल पंजीकरण का 43.47 प्रतिशत है।

बिहार की बात करें तो साढ़े तीन करोड़ कामगारों का पंजीकरण करने का लक्ष्य तय किया गया है। 31 दिसंबर तक मात्र डोढ़ करोड़ कामगारों का ही पंजीकरण हो सका था लेकिन इसके बाद कामगारों के पंजीकरण में तेजी आई। श्रम एवं रोजगार मंत्रालय ने बीते 26अगस्त को देशभर के लगभग 43.7 करोड़ असंगठित श्रमिकों को ई-श्रम पोर्टल से जोड़ने का लक्ष्य तय किया है।

श्रम पोर्टल से कामगारों को जोड़ने का उद्देश्य यह है कि देश के सभी असंगठित क्षेत्र के कामगारों तक सरकारी सामाजिक सुरक्षा योजनाओं का लाभ पहुंचे। असंगठित कामगार जो विभिन्न क्षेत्रों में कार्य करते हैं उनका पहचान पत्र और आधार कार्ड की तर्ज पर इनके कार्य के अनुसार रिकॉर्ड तैयार किया जाना है जिससे कामगारों के आर्थिक व सामाजिक उत्थान के लिए योजनाएं बनाकर काम की जा सके। इस पोर्टल पर कोई व्यक्ति स्वयं या सहज वसुधा केंद्र के माध्य पंजीकरण करा सकते हैं। पंजीकरण के समय कामगारों को जन्म तिथि, होम टाउन, मोबाइल नंबर और सामाजिक श्रेणी जैसे अन्य आवश्यक जानकारी देने के अलावा आधार कार्ड नंबर और बैंक खाते का विवरण देना होगा। इसके बाद कामगारों को एक ई-श्रम कार्ड जारी किया जाएगा जो 12 अंकों का एक विशिष्ट नंबर होगा।

पंजीकरण के बाद, असंगठित कामगारों को प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना(पीएमएसबीवाई) के तहत ₹2 लाख का आकस्मिक कवर मिलेगा साथ ही अन्य सभी सामाजिक सुरक्षा योजनाओं को ई-श्रम पोर्टल के माध्यम से वितरित किया जाएगा।

E-shram portal
E-sharm card
Agriculture workers
Union Ministry of Labor and Employment
unorganised sector workers

Related Stories

किसानों और सत्ता-प्रतिष्ठान के बीच जंग जारी है

देशभर में घटते खेत के आकार, बढ़ता खाद्य संकट!

ग्राउंड रिपोर्ट: पूर्वांचल में 'धान का कटोरा' कहलाने वाले इलाके में MSP से नीचे अपनी उपज बेचने को मजबूर किसान

किसानों के लिए सबसे महत्वपूर्ण मुद्दा है कृषि उत्पाद का मूल्य

लड़ाई अंधेरे से, लेकिन उजाला से वास्ता नहीं: रामराज वाली सरकार की किसानों के प्रति उदासीनता

खेती- किसानी में व्यापारियों के पक्ष में लिए जा रहे निर्णय 

प्रतिदिन प्रति व्यक्ति महज़ ₹27 किसानों की कमाई का आंकड़ा सुनकर आपको कैसा लगता है?

मांग की कमी से जूझ रही भारतीय अर्थव्यवस्था को ₹27 प्रतिदिन प्रति व्यक्ति कमाई देने वाला कृषि क्षेत्र उबार सकता है?

किसान-आंदोलन राष्ट्रीय जनान्दोलन बनने की ओर!

किसान आंदोलन के 9 महीने : किसान आंदोलन की ऐतिहासिक जन कार्रवाइयां


बाकी खबरें

  • संदीपन तालुकदार
    वैज्ञानिकों ने कहा- धरती के 44% हिस्से को बायोडायवर्सिटी और इकोसिस्टम के की सुरक्षा के लिए संरक्षण की आवश्यकता है
    04 Jun 2022
    यह अध्ययन अत्यंत महत्वपूर्ण है क्योंकि दुनिया भर की सरकारें जैव विविधता संरक्षण के लिए अपने  लक्ष्य निर्धारित करना शुरू कर चुकी हैं, जो विशेषज्ञों को लगता है कि अगले दशक के लिए एजेंडा बनाएगा।
  • सोनिया यादव
    हैदराबाद : मर्सिडीज़ गैंगरेप को क्या राजनीतिक कारणों से दबाया जा रहा है?
    04 Jun 2022
    17 साल की नाबालिग़ से कथित गैंगरेप का मामला हाई-प्रोफ़ाइल होने की वजह से प्रदेश में एक राजनीतिक विवाद का कारण बन गया है।
  • न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    छत्तीसगढ़ : दो सूत्रीय मांगों को लेकर बड़ी संख्या में मनरेगा कर्मियों ने इस्तीफ़ा दिया
    04 Jun 2022
    राज्य में बड़ी संख्या में मनरेगा कर्मियों ने इस्तीफ़ा दे दिया है। दो दिन पहले इन कर्मियों के महासंघ की ओर से मांग न मानने पर सामूहिक इस्तीफ़े का ऐलान किया गया था।
  • bulldozer politics
    न्यूज़क्लिक टीम
    वे डरते हैं...तमाम गोला-बारूद पुलिस-फ़ौज और बुलडोज़र के बावजूद!
    04 Jun 2022
    बुलडोज़र क्या है? सत्ता का यंत्र… ताक़त का नशा, जो कुचल देता है ग़रीबों के आशियाने... और यह कोई यह ऐरा-गैरा बुलडोज़र नहीं यह हिंदुत्व फ़ासीवादी बुलडोज़र है, इस्लामोफ़ोबिया के मंत्र से यह चलता है……
  • आज का कार्टून
    कार्टून क्लिक: उनकी ‘शाखा’, उनके ‘पौधे’
    04 Jun 2022
    यूं तो आरएसएस पौधे नहीं ‘शाखा’ लगाता है, लेकिन उसके छात्र संगठन अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) ने एक करोड़ पौधे लगाने का ऐलान किया है।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License