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रैन बसेरो में तीन वक्त का खाना मुहैया कराने के लिए याचिका, दिल्ली सरकार से जवाब तलब
‘‘रैन बसेरों में रहने वाले अधिकतर लोगों के पास दस्तावेज नहीं हैं। उनमें से कुछ अंतर राज्यीय मजूदर हैं जिनके पास दिल्ली का राशन कार्ड नहीं है और इसलिए कामगारों के पास अपना और बच्चों का पेट भरने का बहुत सीमित विकल्प है।’’
भाषा
08 May 2021
दिल्ली उच्च न्यायालय

नयी दिल्ली: दिल्ली उच्च न्यायालय में शुक्रवार को एक जनहित याचिका दायर कर महामारी और कर्फ्यू के मद्देनजर रैन बसेरों में रह रहे लोगों को तीन वक्त का खाना देने के लिए राष्ट्रीय राजधानी की सरकार और दिल्ली शहरी आश्रय सुधार बोर्ड (डीयूएसआईबी) को निर्देश देने का अनुरोध किया गया है।

मुख्य न्यायाधीश डीएन पटेल और न्यायमूर्ति जसमीत सिंह ने दिल्ली सरकार और डीयूएसआईबी को नोटिस जारी कर बंधुआ मुक्ति मोर्चा (बीएमएम) की याचिका पर जवाब तलब किया है।

हाशिये पर रह रहे लोगों के लिए काम करने वाले संगठन के रूप में पंजीकृत बीएमएम ने अपनी याचिका में पिछले साल अक्टूबर में डीयूएसआईबी को बोर्ड की 29वीं बैठक में लिए गए फैसले को लागू करने का अनुरोध किया है जिसमें रैन बसेरों में तीन वक्त का खाना देने की बात की गई थी।

दिल्ली सरकार के स्थायी वकील संतोष के त्रिपाठी ने अदालत को हालांकि बताया कि तीन वक्त का खाना देने की योजना पिछले साल ही बंद कर दी गई थी और अब दो वक्त का खाना दिया जा रहा है।

संगठन की ओर से पेश वकील अनुप्रदा सिंह ने पीठ से कहा कि कोविड-19 की दूसरी लहर और कर्फ्यू की वजह से कामगारों को रोजगार नहीं मिल रहा और वे आर्थिक रूप से परेशानी का सामना कर रहे हैं।

उन्होंने कहा, ‘‘रैन बसेरों में रहने वाले अधिकतर लोगों के पास दस्तावेज नहीं हैं। उनमें से कुछ अंतर राज्यीय मजूदर हैं जिनके पास दिल्ली का राशन कार्ड नहीं है और इसलिए कामगारों के पास अपना और बच्चों का पेट भरने का बहुत सीमित विकल्प है।’’

बीएमएम ने अदालत से अनुरोध किया वह डीयूएसआईबी और दिल्ली सरकार को राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र के रैन बसेरों में रहने वाले लोगों को ‘ साबुन, सेनिटाइजर, मास्क’ देने का निर्देश दें।

Delhi High court
Arvind Kejriwal
AAP government
Rain basero

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