NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
अमेरिकी नौसेना ने फ़ारस की खाड़ी में ईरानी जहाज़ों पर गोलीबारी की बात स्वीकारी
हालांकि अमेरिका द्वारा परमाणु समझौते में फिर से शामिल होने की प्रक्रिया को लेकर सकारात्मक रिपोर्टें सामने आई हैं लेकिन ईरानी जहाज़ों ने हाल ही में इस क्षेत्र में अमेरिका और इसके सहयोगियों द्वारा कई द्वेषपूर्ण कार्रवाई का सामना किया है।
पीपल्स डिस्पैच
28 Apr 2021
अमेरिकी नौसेना ने फ़ारस की खाड़ी में ईरानी जहाज़ों पर गोलीबारी की बात स्वीकारी

मंगलवार 27 अप्रैल को उकसावे की एक और कार्रवाई में अमेरिकी नौसेना ने स्वीकार किया कि उसने फ़ारस की खाड़ी क्षेत्र में तीन ईरानी जहाजों पर गोलीबारी की। अमेरिकी नौसेना के पांचवें बेड़े ने एक बयान में कहा कि ईरानी जहाजों पर गोली तब दागी गई जब वे सोमवार को स्थानीय समय के अनुसार सुबह 8 बजे के करीब गश्ती करने वाले उसके जहाज यूएसएस फायरबोल्ट और यूएससीजीसी बैरानॉफ के पास "अनावश्यक रूप से और बिना कारण के" आए।

इस बयान के अनुसार अमेरिकी नौसेना के जहाज "घटना के समय अंतरराष्ट्रीय जल क्षेत्र में नियमित समुद्री सुरक्षा ऑपरेशन कर रहे थे"। अमेरिकी नौसेना का दावा है कि उसने ईरानी जहाजों पर "चेतावनी के तौर पर गोली दागने" से पहले "कई चेतावनी" दिए थे जिसके बाद "वे एक सुरक्षित स्थान पर चले गए"।

ईरानी नौसेना ने अभी तक इस मुठभेड़ के बारे में कोई बयान जारी नहीं किया है। अगर पुष्टि की जाती है तो यह इस महीने की दूसरी घटना होगी। अमेरिकी नौसेना ने दावा किया है कि ईरानी रिवोल्यूशनरी गार्ड्स कॉर्प्स (आईआरजीसी) पोत ने 2 अप्रैल को एक अमेरिकी तट रक्षक जहाज को धमकी दी थी।

पिछले साल अमेरिका द्वारा आईआरजीसी कमांडर कासीम सुलीमानी की हत्या के बाद फारस की खाड़ी में अमेरिकी नौसेना की तैनाती में वृद्धि हुई थी। डोनाल्ड ट्रम्प प्रशासन ने कोई सबूत दिए बिना अपने सहयोगियों के संबंधित क्षेत्र में जहाजों पर कई हमलों के लिए ईरान को दोषी ठहराया था।

पिछले कुछ महीनों में बड़े मध्य पूर्व क्षेत्र में ईरानी जहाज़ पर हमले हुए हैं। इस महीने की शुरुआत में लाल सागर में एक ईरानी जहाज पर हमला किया गया था। मार्च में भूमध्य सागर में एक ईरानी जहाज पर हमला किया गया था। इन हमलों के लिए ईरान ने इस क्षेत्र के अमेरिका के करीबी सहयोगी इजरायल को दोषी ठहराया था।

शनिवार 24 अप्रैल को जब एक ईरानी फ्यूल टैंकर पर ड्रोन हमले में सीरिया के तट के पास हमला किया गया था तो कम से कम तीन सीरियाई लोगों की मौत हो गई थी जिनमें से दो चालक दल के सदस्य थे। सीरियन अरब न्यूज़ एजेंसी (एसएएनए) के अनुसार ये ड्रोन लेबनान के जल क्षेत्र से आया था।

पिछले महीने प्रकाशित एक रिपोर्ट में अमेरिकी अधिकारियों ने स्वीकार किया था कि इजरायल ने 2019 से सीरियाई जहाजों पर कई हमले किए हैं। इजरायल ने सीरिया में युद्ध की शुरुआत के बाद से सीरिया के अंदर कई हवाई हमलों के लिए लेबनानी हवाई क्षेत्र का इस्तेमाल किया है।

US Navy
IRAN
Persian Gulf
Persian Gulf politics
America
Biden administration

Related Stories

और फिर अचानक कोई साम्राज्य नहीं बचा था

ईरानी नागरिक एक बार फिर सड़कों पर, आम ज़रूरत की वस्तुओं के दामों में अचानक 300% की वृद्धि

असद ने फिर सीरिया के ईरान से रिश्तों की नई शुरुआत की

क्या दुनिया डॉलर की ग़ुलाम है?

सऊदी अरब के साथ अमेरिका की ज़ोर-ज़बरदस्ती की कूटनीति

यूक्रेन में छिड़े युद्ध और रूस पर लगे प्रतिबंध का मूल्यांकन

पड़ताल दुनिया भर कीः पाक में सत्ता पलट, श्रीलंका में भीषण संकट, अमेरिका और IMF का खेल?

अमेरिका ने ईरान पर फिर लगाम लगाई

ईरान पर विएना वार्ता गंभीर मोड़ पर 

लखनऊ में नागरिक प्रदर्शन: रूस युद्ध रोके और नेटो-अमेरिका अपनी दख़लअंदाज़ी बंद करें


बाकी खबरें

  • bulldozer
    न्यूज़क्लिक टीम
    दिल्ली: बुलडोज़र राजनीति के ख़िलाफ़ वामदलों का जनता मार्च
    11 May 2022
    देश के मुसलमानों, गरीबों, दलितों पर चल रहे सरकारी बुल्डोज़र और सरकार की तानाशाही के खिलाफ राजधानी दिल्ली में तमाम वाम दलों के साथ-साथ युवाओं, महिलाओं और संघर्षशील संगठनों ने उपराज्यपाल अनिल बैजल के…
  • qutub minar
    न्यूज़क्लिक टीम
    अब क़ुतुब मीनार, ताज महल से हासिल होंगे वोट? मुग़ल दिलाएंगे रोज़गार?
    11 May 2022
    बोल के लब आज़ाद हैं तेरे के इस एपिसोड में आज वरिष्ठ पत्रकार अभिसार शर्मा सवाल पूछ रहे हैं कि देश में कभी क़ुतुब मीनार के नाम पर कभी ताज महल के नाम पर विवाद खड़ा करके, सरकार देश को किस दिशा में धकेल रही…
  • sedition
    विकास भदौरिया
    राजद्रोह पर सुप्रीम कोर्ट: घोर अंधकार में रौशनी की किरण
    11 May 2022
    सुप्रीम कोर्ट का आज का आदेश और न्यायधीश डीवाई चंद्रचूड़ का हाल का बयान, जिसमें उन्होंने कहा था कि नागरिकों के असंतोष या उत्पीड़न को दबाने के लिए आपराधिक क़ानून का दुरुपयोग नहीं किया जाना चाहिए, एक आशा…
  • RAVIKANT CASE
    असद रिज़वी
    लखनऊ विश्वविद्यालय: दलित प्रोफ़ेसर के ख़िलाफ़ मुक़दमा, हमलावरों पर कोई कार्रवाई नहीं!
    11 May 2022
    प्रोफ़ेसर रविकांत चंदन हमले की FIR लिखाने के लिए पुलिस के आला-अफ़सरों के पास दौड़ रहे हैं, लेकिन आरोपी छात्रों के विरुद्ध अभी तक न तो पुलिस की ओर से क़ानूनी कार्रवाई हुई है और न ही विवि प्रशासन की ओर…
  • jaysurya
    विवेक शर्मा
    श्रीलंका संकट : आम जनता के साथ खड़े हुए खिलाड़ी, सरकार और उसके समर्थकों की मुखर आलोचना
    11 May 2022
    श्रीलंका में ख़राब हालात के बीच अब वहां के खिलाड़ियों ने भी सरकार और सरकार के समर्थकों की कड़ी निंदा की है और जवाब मांगा है। क्रिकेट जगत के कई दिग्गज अपनी-अपनी तरह से आम जनता के साथ एकजुटता और सरकार…
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License