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राजनीति
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वेनेज़ुएला में रविवार की सुबह एक कुत्सित सैन्य हमला नाकाम हुआ
वैश्विक महामारी के समय भी सीआईए और ट्रम्प प्रशासन का दूसरे देशों में सत्ता परिवर्तन का पुराना खेल जारी है।

 
विजय प्रसाद, ज़ोइ पीसी,  पाओला एस्ट्राडा, एना माल्डोनाडो
06 May 2020
KJ

रविवार, 3 मई की सुबह की शुरुआत होते ही तेज़ रफ़्तार से चलने वाली नावें कोलंबियाई समुद्र तटों से रवाना हो गयीं और वेनेज़ुएला की ओर बढ़ चलीं। इन नावों को समुद्री सीमा पार करने का कोई हक़ नहीं था। लेकिन, इसके बावजूद ये नावें वेनेजुएला के ला गुएरा समुद्र तट पर उतरीं। यह साफ़ तौर पर एक शत्रुतापूर्ण कार्रवाई थी, क्योंकि इन नौकाओं में भारी हथियार थे, जिनमें राइफ़ल और गोला-बारूद शामिल थे; संयुक्त राज्य अमेरिका के झंडे के अलावे इन नावों पर सवार लोगों के पास सैटेलाइट फ़ोन के साथ-साथ वर्दी और हेलमेट भी थे।

वेनेज़ुएला के अधिकारियों ने उन लोगों की इस घुसपैठ को रोक दिया। जो उनसे टकराए, उन लड़ाकुओं में से आठ मारे गये, जबकि दो को बंदी बना लिया गया। बंदी बनाये गये लड़ाकुओं में से एक का कहना है कि वह अमेरिकी सरकार का एजेंट है। ड्रग एनफोर्समेंट एजेंसी ने इस बात की पुष्टि के लिए किये गये कॉल का कोई जवाब नहीं दिया है।

नाकाम कर दिये गये हमले के घंटों बाद वेनेज़ुएला के आंतरिक मामलों के मंत्री नेस्टोर रेवरोल ने वेनेज़ुएला टेलीविज़न स्टेशनों से लोगों को बताया कि सरकार को कोलंबिया के स्रोतों और वेनेजुएला तट के अपने नियमित गश्ती दल से इस हमले की जानकारी मिली थी। वेनेजुएला के वरिष्ठ राजनेता डायोसादो कैबेलो ने कहा “हम उनकी किसी भी घुड़की को हल्के में नहीं ले सकते।”  उन्होंने आगे कहा "आज जो कुछ हुआ है, वह संयुक्त राज्य अमेरिका और उसके सहयोगियों की हताश होने की एक मिसाल है।"

लीमा समूह और शासन परिवर्तन

संयुक्त राज्य अमेरिका की सरकार निकोलस मादुरो के नेतृत्व में चल रही वेनेजुएला की सरकार को उखाड़ फेंकने और बोलीवियाई क्रांति को पलट देने के अपने मक़सद को लेकर पूरी तरह से स्पष्ट है। अगस्त 2017 में जिस समय संयुक्त राज्य अमेरिका, कनाडा, कोलम्बिया, और वाशिंगटन द्वारा सुदूर-दक्षिणपंथी और अधीनस्थ अन्य देशों ने मिलकर लीमा समूह का गठन किया था, उसी समय अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने "सैन्य विकल्प" को लेकर खुलकर अपनी बात रखी थी। इस लीमा समूह ने अपने मक़सद को लेकर एक उदार आवरण को बनाये रखने की कोशिश की, जिसमें उन्होंने इस बात का ऐलान किया कि वे "एक शांतिपूर्ण और बातचीत से होने वाले समझौते के ज़रिये (वेनेजुएला में) लोकतंत्र की बहाली में योगदान करना चाहते हैं।।" ट्रम्प ने अपनी इस उदार भाषा से पर्दा उठाते हुए "लोकतंत्र की बहाली" का मतलब बताया और उन्होंने कहा कि इसका सही मतलब सरकार को उखाड़ फेंकने के लिए सैन्य तख़्तापलट या सशस्त्र हस्तक्षेप से है।

जनवरी 2019 में संयुक्त राज्य अमेरिका की सरकार ने एक चतुर राजनयिक युद्धाभ्यास के साथ अपने इस दोहरेपने वाले वाले युद्ध को गहरा दिया था। अमेरिका ने ऐलान किया था कि एक मामूली राजनेता, जुआन गुआदो, वेनेजुएला के राष्ट्रपति हैं और देश के बाहर वेनेजुएला की पर्याप्त संपत्ति उनके पास है। वेनेजुएला में विद्रोह का एक प्रयास भले ही नाकाम हो गया हो, लेकिन वेनेजुएला के भीतर के बनिस्पत गुआदो के पास कोलंबिया के कुलीन वर्ग के बीच वाशिंगटन और डीसी में ज़्यादा दोस्त हैं। वेनेजुएला की सरकार को उखाड़ फेंकने का वह नाकाम प्रयास भी संयुक्त राज्य अमेरिका को रोक नहीं पाया था। सच्चाई तो यही है कि उस नाकामी ने इस क्षेत्र में अमेरिकी साज़िशों को और गहरा कर दिया था।

मई 2019 में सेनेटर लिंडसे ग्राहम ने वॉल स्ट्रीट जर्नल के पन्नों को दिखाते हुए इस मामले को सही साबित करने के लिए कहा कि "यू.एस. को ठीक उसी तरह वेनेजुएला में हस्तक्षेप करने की तैयारी करनी चाहिए, जिस तरह से हमने ग्रेनाडा में किया था।” ग़ौरतलब है कि 1983 में, अमेरिकी समुद्री बेड़े वैध सरकार को सत्ता से बेदखल करने और न्यू ज्वेल मूवमेंट को उखाड़ फेंकने के लिए ग्रेनाडा में उतरे थे। संयुक्त राज्य अमेरिका के सीनेटर ग्राहम ने लिखा, "इस क्षेत्र में सैन्य साज़-ओ-सामान को भेजा जाना चाहिए।" संयुक्त राज्य अमेरिका ने वेनेजुएला पर हमले की तैयारी करने के लिए ब्राजील और कोलम्बियाई सेना में अपने सहयोगी दलों का एक जत्था बनाने का प्रयास किया था। सौभाग्य से, फ़रवरी 2019 में लीमा समूह की बैठक में ब्राजील के उपराष्ट्रपति हैमिल्टन मौरो ने प्रेस को बताया कि ब्राजील, वेनेज़ुएला में सैन्य हस्तक्षेप के लिए अपने क्षेत्र का इस्तेमाल करने की अनुमति नहीं देगा। सभी पैमाने पर किये जाने वाले उस हमले की योजना को आख़िरकार रोक देना पड़ा।

COVID-19 और सत्ता परिवर्तन

जैसे ही COVID-19 दक्षिण अमेरिका की ओर बढ़ा, वैसे ही अमेरिकी सरकार ने वेनेज़ुएला सरकार पर दबाव बढ़ाना शुरू कर दिया। फ़रवरी 2020 में हुए म्यूनिख सुरक्षा सम्मेलन में अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ ने कहा कि अमेरिका "मादूरो को सत्ता से बाहर करना" चाहता है। मार्च में अमेरिका ने वेनेज़ुएला के ख़िलाफ़ प्रतिबंधों को कड़ा कर दिया, और फिर अमेरिकी ट्रेजरी डिपार्टमेंट ने अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष पर दबाव डाला कि वेनेजुएला को वैश्विक महामारी से निपटने के लिए आपातकालीन वित्तीय सहायत तक उसकी पहुंच नहीं होने दे। लेकिन, इसमें से कुछ भी काम नहीं आया। वेनेज़ुएला सरकार ने चीन, क्यूबा और रूस के साथ-साथ विश्व स्वास्थ्य संगठन से मिलने वाली अंतर्राष्ट्रीय सहायता के साथ संक्रमण की श्रृंखला को तोड़ने के लिए लोगों को लामबंद किया।

अमेरिकी सरकार ने इस घटनाक्रम से ध्यान भटकाने की कोशिश की। कहा गया कि राष्ट्रपति मादुरो और उनके वरिष्ठ नेता नशीली दवाओं की तस्करी में लगे हुए हैं। इस भ्रम पैदा करने वाले दावे के एवज में कोई सुबूत पेश नहीं किया गया, हालांकि नशीली दवाओं के व्यापार में कोलम्बियाई राजनेताओं के दोषी पाये जाने के पर्याप्त सुबूत हैं। ट्रम्प ने वेनेज़ुएला सरकार को धमकाने और उसकी आबादी को डराने के लिए के वेनेज़ुएला के तट पर बने रहने के लिए अपनी एक नौसैनिक टुकड़ियों को अधिकृत कर दिया। ट्रम्प प्रशासन ने 30 अप्रैल को वेनेज़ुएला पर दबाव बढ़ाने के लिए पश्चिमी गोलार्ध में " इनहैंस्ड डिपार्टमेंट ऑफ़ डिफ़ेंस काउंटरनार्कोटिक ऑपरेशन इन द वेस्टर्न हेमिस्फ़ेयर " नामक मिशन में अमेरिकी सशस्त्र बलों की सहायता के लिए चयनित रिजर्व बलों के कुछ हिस्सों को सक्रिय कर दिया। ये सभी संकेत वेनेज़ुएला के लोगों के ख़िलाफ़ अमेरिका और उसके कोलंबियाई सहयोगियों की ओर तरफ़ से हो रही शरारत की ओर इशारा करते हैं।

साज़िशें

वेनेज़ुएला की चारों तरफ़ साज़िशें रची गयीं, साज़िश रचने वाले दरअस्ल सैन्य और नशीली दवाओं की दुनिया के हिस्सों से आने वाले लोगों के साथ-साथ अमेरिकी ख़ुफिया और कोलम्बियाई पैरामिलिट्री के घिनौने और सबसे विवादित लोगों का एक समूह था। 2019 में हुए एक छोटे से हमले की उस साज़िश को अब बेपर्दा किया जा चुका है, उसके बारे में एसोसिएटेड प्रेस के जोशुआ गुडमैन ने अच्छी तरह से एक-एक विवरण लिखा है। उस साज़िश का नेतृत्व जॉर्डन गौड्रेउ ने किया था, जिसने इराक़ और अफ़ग़ानिस्तान स्थित अमेरिकी सेना में एक चिकित्सक के रूप में काम किया था और बाद में एक निजी सुरक्षा ठेकेदार बन गया; वह उसी क्लीवर अल्काला के साथ काम करता था, जो वेनेजुएला का एक पूर्व सैन्य अधिकारी था, जिसने छापेमारी के लिए कुछ सौ वेनेजुएला के सैन्य भगोड़ों को एक साथ लामबंद किया था। अल्काला अब नशीली दावाओं के व्यापार में शामिल होने के आरोप में संयुक्त राज्य अमेरिका की जेल में बंद है। गौड्रेयू और अल्काला को ट्रम्प के अंगरक्षक कीथ शिलर और क्राफ्ट फूड्स के रोएन क्राफ्ट की तरफ़ से समर्थन हासिल था। सीआईए के शरारती साहसिक कार्यों को अंजाम देने वाले उस पूरे ऑपरेशन की भनक उसी तरह पहले ही लग गयी थी,जैसे 1961 में क्यूबा के प्लाया गिरोन पर आक्रमण करने में सीआईए विफल रहा था।

इस बात की संभावना दिखती है कि मई 2020 में और अधिक हुए हालिया हमले कोलम्बिया में अल्काला द्वारा स्थापित सैन्य भगोड़े के सैन्य शिविर के बाहर से हुआ था। छापेमारी में शामिल लोगों में से एक शख़्स कैप्टन रॉबर्ट लेविद कॉलिना था, जिसे पेंतेरा के नाम से भी जाना जाता है। कॉलीना 30 अप्रैल, 2019 को जुआन गुएदो की ओर से हुई तख़्तापलट की कोशिश में शामिल था, और अल्काला का क़रीबी सहयोगी है।

वेनेजुएला के रक्षा मंत्री, व्लादिमीर पद्रिनो लोपेज़ ने कहा कि सरकार और वेनेज़ुएला के लोगों ने उस हमले को नाकाम कर दिया था और ऐसे अन्य साज़िशों के ख़िलाफ़ वे आगे भी सतर्क रहेंगे। वेनेज़ुएला की बोलिवेरियन क्रांति की एक विशेषता यह भी रही है कि वह ख़ुद की रक्षा के लिए आबादी को लामबंद करती है; पैडरिनो ने कहा, "हम खुद ही विद्रोही होने की घोषणा करते हैं" उन्होंने आगे कहा,”वेनेज़ुएला अब ‘स्थायी सतर्कता’ की स्थिति में है”।

वैश्विक महामारी के समय भी सीआईए और ट्रम्प प्रशासन का दूसरे देशों में सत्ता परिवर्तन का पुराना खेल जारी है। जिस तरह 1961 में प्लाया गिरोन में साज़िशें नाकाम रही थीं,उसी तरह वेनेज़ुएला के लोगों ने 2020 में ला गुयारा की इस साज़िश को नाकाम कर दिया है।

 

लेखक विजय प्रसाद एक भारतीय इतिहासकार, संपादक और पत्रकार हैं। वह इंडिपेंडेंट मीडिया इंस्टिट्यूशन की एक परियोजना, ग्लोबट्रॉट्टर में एक राइटिंग फ़ेलो और चीफ़ कोरोस्पोंडेंट हैं। वह लेफ्टवर्ड बुक्स के मुख्य संपादक और ट्राईकॉन्टिनेंटल: इंस्टीट्यूट फ़ॉर सोशल रिसर्च के निदेशक हैं। उन्होंने बीस से ज़्यादा किताबें लिखी हैं, जिनमें द डार्कर नेशंस और द पुअरर नेशंस शामिल हैं। उनकी हालिया किताब ‘वाशिंगटन बुल्लेट्स’ है, जिसका परिचय ईवो मोरालेस आयमा ने लिखा है।

पाओला एस्ट्राडा इंटरनेशनल पीपुल्स असेंबली के सचिवालय में कार्यरत हैं और एएलबीए मूवमेंट्स (बोलिवेरियन एलायंस फ़ॉर द पीपल्स ऑफ़ आवर अमेरिका के सामाजिक आंदोलनों का महाद्वीपीय समन्वय) के ब्राजीलियन चैप्टर की सदस्य हैं।

एना माल्डोनाडो फ़्रांटे फ़्रांसिस्को डी मिरांडा (वेनेज़ुएला) में हैं। ज़ो पीसी पीपल्स डिस्पैच साथ काम करने वाली एक पत्रकार हैं और लैटिन अमेरिका में जन आंदोलनों की रिपोर्टिंग करती हैं। वह कोलंबिया में कांग्रेसो डी लॉस पुब्लोस के साथ भी जुड़ी हुई हैं।

यह लेख इंडिपेंडेंट मीडिया इस्टिट्यूशन की एक परियोजना, ग्लोबेट्रोटेर की ओर से तैयार किया गया है।

 

मूल रूप से अंग्रेज़ी में लिखे गए इस आलेख को आप नीचे दिए गए लिंक पर क्लिक करके पढ़ सकते हैं-

Defeat of a Dirty Military Incursion into Venezuela on a Sunday Morning

 

 

Maduro Venezuela
Coup Attempt
Venezuela Armed Incursion
USA
Donald Trump.

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