NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
भारत
राजनीति
राहुल की अगुवाई में राष्ट्रपति से मिला कांग्रेस का प्रतिनिधिमंडल, कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग
राहुल ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘राष्ट्रपति से हमने कहा कि ये कानून किसान विरोधी हैं और इससे मजदूरों और किसानों का बहुत नुकसान होने जा रहा है तथा किसान इन कानूनों के खिलाफ खड़ा है।’’  
भाषा
24 Dec 2020
राहुल की अगुवाई में राष्ट्रपति से मिला कांग्रेस का प्रतिनिधिमंडल
Image courtesy: Twitter

नयी दिल्ली: कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी की अगुवाई में पार्टी के एक प्रतिनिधिमंडल ने बृहस्पतिवार को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात की और केंद्रीय कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग की।

राष्ट्रपति से मुलाकात के बाद राहुल गांधी ने कहा कि सरकार को संसद का संयुक्त सत्र बुलाना चाहिए और इन कानूनों को वापस लेना चाहिए।

उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ‘‘राष्ट्रपति से हमने कहा कि ये कानून किसान विरोधी हैं और इससे मजदूरों और किसानों का बहुत नुकसान होने जा रहा है तथा किसान इन कानूनों के खिलाफ खड़ा है।’’

गांधी ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री को यह नहीं सोचना चाहिए कि ये मजदूर और किसान वापस चले जाएंगे। जब तक ये कानून वापस नहीं लिए जाते तब तक ये किसान पीछे नहीं हटेंगे।’’

उन्होंने कहा, ‘‘संयुक्त सत्र बुलाइए और कानूनों को वापस लीजिए।’’

कांग्रेस नेता ने दावा किया कि अगर प्रधानमंत्री ने कानून वापस नहीं लिए तो सिर्फ भाजपा और आरएसएस को नहीं, बल्कि देश को नुकसान होने जा रहा है।

उन्होंने कहा कि दो करोड़ हस्ताक्षरों के साथ राष्ट्रपति को ज्ञापन दिया गया है।

Congress
Rahul Gandhi
Ramnath Kovind
Agriculture Laws
Farm Bills
Congressional delegation

Related Stories

हार्दिक पटेल भाजपा में शामिल, कहा प्रधानमंत्री का छोटा सिपाही बनकर काम करूंगा

राज्यसभा सांसद बनने के लिए मीडिया टाइकून बन रहे हैं मोहरा!

ED के निशाने पर सोनिया-राहुल, राज्यसभा चुनावों से ऐन पहले क्यों!

ईडी ने कांग्रेस नेता सोनिया गांधी, राहुल गांधी को धन शोधन के मामले में तलब किया

राज्यसभा चुनाव: टिकट बंटवारे में दिग्गजों की ‘तपस्या’ ज़ाया, क़रीबियों पर विश्वास

मूसेवाला की हत्या को लेकर ग्रामीणों ने किया प्रदर्शन, कांग्रेस ने इसे ‘राजनीतिक हत्या’ बताया

केरल उप-चुनाव: एलडीएफ़ की नज़र 100वीं सीट पर, यूडीएफ़ के लिए चुनौती 

कांग्रेस के चिंतन शिविर का क्या असर रहा? 3 मुख्य नेताओं ने छोड़ा पार्टी का साथ

‘आप’ के मंत्री को बर्ख़ास्त करने से पंजाब में मचा हड़कंप

15 राज्यों की 57 सीटों पर राज्यसभा चुनाव; कैसे चुने जाते हैं सांसद, यहां समझिए...


बाकी खबरें

  • भाषा
    हड़ताल के कारण हरियाणा में सार्वजनिक बस सेवा ठप, पंजाब में बैंक सेवाएं प्रभावित
    28 Mar 2022
    हरियाणा में सोमवार को रोडवेज कर्मी देशव्यापी दो दिवसीय हड़ताल में शामिल हुए जिससे सार्वजनिक परिवहन सेवाएं बाधित हुईं। केंद्र की कथित गलत नीतियों के विरुद्ध केंद्रीय ट्रेड यूनियनों के एक संयुक्त मंच ने…
  • आज का कार्टून
    कार्टून क्लिक: “काश! हमारे यहां भी हिंदू-मुस्लिम कार्ड चल जाता”
    28 Mar 2022
    पाकिस्तान एक मुस्लिम बहुल और इस्लामिक देश है। अब संकट में फंसे इमरान ख़ान के सामने यही मुश्किल है कि वे अपनी कुर्सी बचाने के लिए कौन से कार्ड का इस्तेमाल करें। व्यंग्य में कहें तो इमरान यही सोच रहे…
  • भाषा
    केरल में दो दिवसीय राष्ट्रव्यापी हड़ताल के तहत लगभग सभी संस्थान बंद रहे
    28 Mar 2022
    राज्य द्वारा संचालित केरल राज्य सड़क परिवहन निगम (केएसआरटीसी) की बसें सड़कों से नदारत रहीं, जबकि टैक्सी, ऑटो-रिक्शा और निजी बसें भी राज्यभर में नजर नहीं आईं। ट्रक और लॉरी सहित वाणिज्यिक वाहनों के…
  • शिव इंदर सिंह
    विश्लेषण: आम आदमी पार्टी की पंजाब जीत के मायने और आगे की चुनौतियां
    28 Mar 2022
    सत्ता हासिल करने के बाद आम आदमी पार्टी के लिए आगे की राह आसन नहीं है। पंजाब के लोग नई बनी सरकार से काम को ज़मीन पर होते हुए देखना चाहेंगे।
  • सुहित के सेन
    बीरभूम नरसंहार ने तृणमूल की ख़ामियों को किया उजागर 
    28 Mar 2022
    रामपुरहाट की हिंसा ममता बनर्जी की शासन शैली की ख़ामियों को दर्शाती है। यह घटना उनके धर्मनिरपेक्ष राजनीति की चैंपियन होने के दावे को भी कमज़ोर करती है।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License