NewsClick

NewsClick
  • English
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • हमारे लेख
  • हमारे वीडियो
search
menu

सदस्यता लें, समर्थन करें

image/svg+xml
  • सारे लेख
  • न्यूज़क्लिक लेख
  • सारे वीडियो
  • न्यूज़क्लिक वीडियो
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • विज्ञान
  • संस्कृति
  • भारत
  • अंतरराष्ट्रीय
  • अफ्रीका
  • लैटिन अमेरिका
  • फिलिस्तीन
  • नेपाल
  • पाकिस्तान
  • श्री लंका
  • अमेरिका
  • एशिया के बाकी
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें
सब्सक्राइब करें
हमारा अनुसरण करो Facebook - Newsclick Twitter - Newsclick RSS - Newsclick
close menu
राजनीति
अंतरराष्ट्रीय
यूएस सीनेट ने ट्रंप की युद्ध शक्तियों को सीमित करने के लिए प्रस्ताव पारित किया
रिपब्लिकन नियंत्रित सीनेट द्वारा पारित किया गया यह प्रस्ताव पिछले महीने डेमोक्रेट्स-नियंत्रित हाउस ऑफ़ रिप्रेजेंटेटिव द्वारा पारित किए गए प्रस्ताव के समान है।
पीपल्स डिस्पैच
14 Feb 2020
यूएस सीनेट

संयुक्त राज्य अमेरिका के सीनेट ने गुरुवार 13 फ़रवरी को एक साधारण बहुमत के साथ ईरान पर राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की युद्ध शक्तियों को सीमित करने का एक प्रस्ताव पारित किया है।

इस प्रस्ताव का मसौदा डेमोक्रेटिक सीनेटर टिम कैन द्वारा तैयार किया गया था और उन्होंने ही इसे पेश किया। इसे 8 रिपब्लिकन ने समर्थन दिया था और 55 वोट पक्ष में और 45 विपक्षी वोटों के साथ इसे पास किया गया। रिपब्लिकन सीनेटर सुसान कोलिन्स ने प्रस्ताव को सह-प्रायोजित किया। अमेरिकी सीनेट में रिपब्लिकन 53 की संख्या के साथ बहुमत में है।

इस प्रस्ताव के अनुसार राष्ट्रपति ट्रंप के भविष्य में ईरान पर कोई भी मिलिट्री कार्रवाई करने से पहले कांग्रेस से अनुमति लेना अनिवार्य होगा। प्रस्ताव में पिछले महीने ट्रंप द्वारा ईरानी जनरल क़सीम सुलेमानी की हत्या के क़दम की भी आलोचना की गई।

कैन के अनुसार, किसी भी आक्रामक युद्ध के लिए कांग्रेस के साथ बहस और वोट की आवश्यकता होती है।

पिछले महीने प्रतिनिधि सभा ने इसे के जैसा लेकिन एक अलग प्रस्ताव पारित किया था। हालाँकि, यह बाध्यकारी नहीं था। अगर यह वर्तमान संकल्प लेता है तो यह बाध्यकारी हो सकता है, यदि ट्रंप इसे वीटो ना करना चाहें। डेमोक्रेटिक पार्टी-नियंत्रित हाउस ने इस महीने के अंत में प्रस्ताव पर चर्चा करने का फ़ैसला लिया है।

राष्ट्रपति के अंतिम वीटो को ख़त्म करने के लिए, प्रस्ताव को अमेरिकी कांग्रेस के दोनों सदनों में दो तिहाई बहुमत का समर्थन चाहिए। सीनेट की रचना को देखते हुए यह फ़िलहाल असंभव लग रहा है।

ईरान के संदर्भ में ट्रंप की नीतियों डेमोक्रेट और रिपब्लिकन दोनों ने आलोचना की है। ट्रंप 2015 में पूर्व राष्ट्रपति बराक़ ओबामा द्वारा किए गए ईरान के साथ ऐतिहासिक सौदे से पीछे हट गए और इसके ख़िलाफ़ प्रतिबंध लगाए। जनरल सुलेमानी की हत्या करने के ट्रंप के प्रशासनिक क़दम पर प्रतिकृया देते हुए ईरान ने 8 जनवरी को ईरान में यूएस फ़ौजियों के बेस पर जवाबी हमला किया। 100 से ज़्यादा फ़ौजियों को दिमाग़ी चोटें आई थीं। इराक़ी संसद ने सभी विदेशी सेनाओं की टुकड़ी को देश से चले जाने के लिए एक प्रस्ताव भी पारित कर दिया था। इराक़ में क़रीब 5000 अमेरिकी फ़ौजी हैं।

 

US senate
Donald Trump
republican
republican party
trump on iran

Related Stories

गर्भपात प्रतिबंध पर सुप्रीम कोर्ट के लीक हुए ड्राफ़्ट से अमेरिका में आया भूचाल

ईरान नाभिकीय सौदे में दोबारा प्राण फूंकना मुमकिन तो है पर यह आसान नहीं होगा

एक साल पहले हुए कैपिटॉल दंगे ने अमेरिका को किस तरह बदला या बदलने में नाकाम रहा

2021 : चीन के ख़िलाफ़ अमेरिका की युद्ध की धमकियों का साल

दुनिया क्यूबा के साथ खड़ी है

रिपोर्ट के मुताबिक सभी प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं की जलवायु योजनायें पेरिस समझौते के लक्ष्य को पूरा कर पाने में विफल रही हैं 

अमेरिका में प्रतिबंधात्मक मतदाता क़ानूनों की बाढ़

अमेरिका के ईरान जाने के रास्ते में कंटीली झाड़ियां 

मोदी अकेले नहीं :  सभी ‘दक्षिण-पंथी सत्तावादी’ कोविड-19 से निपटने में बुरी तरह विफल साबित हुए

रूस और चीन के साथ संपर्क बनाए रखना चाहते हैं बाइडेन


बाकी खबरें

  • एम. के. भद्रकुमार
    हिंद-प्रशांत क्षेत्र में शक्ति संतुलन में हो रहा क्रांतिकारी बदलाव
    30 May 2022
    जापान हाल में रूस के ख़िलाफ़ प्रतिबंध लगाने वाले अग्रणी देशों में शामिल था। इस तरह जापान अपनी ताकत का प्रदर्शन कर रहा है।
  • उपेंद्र स्वामी
    दुनिया भर की: कोलंबिया में पहली बार वामपंथी राष्ट्रपति बनने की संभावना
    30 May 2022
    पूर्व में बाग़ी रहे नेता गुस्तावो पेट्रो पहले दौर में अच्छी बढ़त के साथ सबसे आगे रहे हैं। अब सबसे ज़्यादा वोट पाने वाले शीर्ष दो उम्मीदवारों में 19 जून को निर्णायक भिड़ंत होगी।
  • विजय विनीत
    ज्ञानवापी केसः वाराणसी ज़िला अदालत में शोर-शराबे के बीच हुई बहस, सुनवाई 4 जुलाई तक टली
    30 May 2022
    ज्ञानवापी मस्जिद के वरिष्ठ अधिवक्ता अभयनाथ यादव ने कोर्ट में यह भी दलील पेश की है कि हमारे फव्वारे को ये लोग शिवलिंग क्यों कह रहे हैं। अगर वह असली शिवलिंग है तो फिर बताएं कि 250 सालों से जिस जगह पूजा…
  • सोनिया यादव
    आर्यन खान मामले में मीडिया ट्रायल का ज़िम्मेदार कौन?
    30 May 2022
    बहुत सारे लोगों का मानना था कि राजनीति और सांप्रदायिक पूर्वाग्रह के चलते आर्यन को निशाना बनाया गया, ताकि असल मुद्दों से लोगों का ध्यान हटा रहे।
  • न्यूज़क्लिक रिपोर्ट
    हिमाचल : मनरेगा के श्रमिकों को छह महीने से नहीं मिला वेतन
    30 May 2022
    हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा ज़िले में मनरेगा मज़दूरों को पिछले छह महीने से वेतन नहीं मिल पाया है। पूरे  ज़िले में यही स्थिति है।
  • Load More
सब्सक्राइब करें
हमसे जुडे
हमारे बारे में
हमसे संपर्क करें

CC BY-NC-ND This work is licensed under a Creative Commons Attribution-NonCommercial-NoDerivatives 4.0 International License